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Bihar Election Result 2025 Live: मधेपुरा विधानसभा सीट पर RJD को दोबारा मिली जीत
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मधेपुरा, कोसी नदी के किनारे बसा बिहार के मिथिला क्षेत्र का एक जिला है. यह अपने पूजनीय हिंदू मंदिरों, कोसी की विनाशकारी बाढ़ और बी.पी. मंडल की जन्मस्थली के रूप में जाना जाता है. बी.पी. मंडल वही राजनीतिक शख्सियत हैं, जिनकी अध्यक्षता में गठित आयोग ने अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लिए आरक्षण की सिफारिश की थी. यह जिला बाहुबलियों और कानून व्यवस्था की खराब स्थिति के लिए भी चर्चित रहा है, हालांकि हाल के वर्षों में यहां स्थापित एल्पस्टॉम लोकोमोटिव फैक्ट्री के कारण इसे नई पहचान मिली है. इस फैक्ट्री में 12,000 हॉर्सपावर की बिजली से चलने वाली इंजन बनाई जाती हैं.
लेकिन मधेपुरा की सबसे बड़ी पहचान राजनीति में उसके महत्त्व से जुड़ी है, जहां कभी करीबी दोस्त रहे लालू प्रसाद यादव और शरद यादव कट्टर प्रतिद्वंद्वी बन गए. मजे की बात यह है कि इन दोनों नेताओं का मधेपुरा से पहले कोई सीधा संबंध नहीं था. लालू का जन्म बिहार के गोपालगंज जिले में हुआ, जबकि शरद यादव मध्य प्रदेश के रहने वाले थे. बिहार का मुख्यमंत्री बनने के बाद लालू ने शरद यादव को मधेपुरा की राजनीति में लाया, लेकिन बाद में दोनों के बीच इतनी कड़वाहट आ गई कि 1999 के लोकसभा चुनाव में लालू को शरद यादव के हाथों करारी हार का सामना करना पड़ा.
इस यादव राजनीति में एक और चर्चित नाम पप्पू यादव का है, जो अपराध की दुनिया से राजनीति में आए और यहां अपनी ताकत दिखाते रहे. पर विडंबना यह है कि मधेपुरा ने कभी भी इन तीनों यादव नेताओं को पूरी तरह से स्वीकार नहीं किया, क्योंकि इनमें से हर कोई यहां कभी न कभी चुनाव हार चुका है.
मधेपुरा 1981 में जिला बना, हालांकि 1845 से यह एक अनुमंडल के रूप में अस्तित्व में था. यह मधेपुरा लोकसभा सीट के अंतर्गत आने वाले छह विधानसभा क्षेत्रों में से एक है. इस सीट का एक अनोखा रिकॉर्ड है, 1957 में इसके गठन के बाद से अब तक हुए 17 विधानसभा चुनावों में केवल यादव समुदाय के नेताओं को ही चुना गया है. यही प्रवृत्ति लोकसभा चुनावों में भी देखने को मिलती है. 1967 और 1968 के पहले दो चुनावों को छोड़कर, तब से लेकर अब तक हर बार यहां से यादव उम्मीदवार ही विजयी रहे हैं.
एक दिलचस्प तथ्य यह भी है कि भारतीय जनता पार्टी (BJP) कभी भी इस यादव बहुल सीट को नहीं जीत पाई और यहां उसकी राजनीतिक उपस्थिति नगण्य रही है. कांग्रेस पार्टी ने यहां चार बार जीत हासिल की, लेकिन 1985 के बाद बिहार में उसकी गिरावट शुरू हो गई. संयुक्त सोशलिस्ट पार्टी, जनता पार्टी, जनता दल और जनता दल (यूनाइटेड) ने यहां से दो-दो बार जीत दर्ज कीं एक बार एक निर्दलीय उम्मीदवार भी जीता, जबकि लालू प्रसाद यादव की राष्ट्रीय जनता दल (RJD) ने अब तक चार बार जीत दर्ज की है. वर्तमान में, आरजेडी इस सीट पर जीत की हैट्रिक बना चुकी है, जिसमें चंद्रशेखर यादव ने 2015, 2020 और 2021 के विधानसभा चुनावों में जीत हासिल की.
आरजेडी की पकड़ मजबूत होने का एक कारण 2007 में लालू द्वारा मधेपुरा में एल्पस्टॉम लोकोमोटिव फैक्ट्री लाना भी रहा. हालांकि, यह परियोजना 2015 में नरेंद्र मोदी सरकार के कार्यकाल में आगे बढ़ी और 2018 में प्रधानमंत्री मोदी ने इसका उद्घाटन किया, फिर भी आरजेडी ने इसका राजनीतिक लाभ उठाया.
हालांकि, मोदी सरकार का योगदान पूरी तरह नजरअंदाज नहीं हुआ. 2024 के लोकसभा चुनावों में बीजेपी की सहयोगी जदयू (JD(U)) ने मधेपुरा की सभी छह विधानसभा सीटों पर बढ़त हासिल की. जदयू ने लगातार दो बार मधेपुरा लोकसभा सीट पर जीत दर्ज की है. यहां की जनता आमतौर पर विधानसभा चुनावों में आरजेडी का समर्थन करती है, जबकि लोकसभा चुनावों में जदयू के पक्ष में मतदान करती है. अब देखना यह है कि 2025 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी के नेतृत्व वाला एनडीए इस रुझान को बदलने में सफल हो पाता है या नहीं.
मधेपुरा विधानसभा क्षेत्र में यादव मतदाता सबसे अधिक संख्या में हैं, जो कुल मतदाताओं का लगभग 32% हैं. अनुसूचित जाति के मतदाता लगभग 17.51% हैं, जबकि मुस्लिम मतदाता करीब 11.1% हैं. यहां के 88.78% मतदाता ग्रामीण क्षेत्र से हैं, जबकि केवल 11.23% मतदाता शहरी क्षेत्र से आते हैं.
2020 के विधानसभा चुनावों में मधेपुरा में कुल 3,30,734 पंजीकृत मतदाता थे, जिनमें से 62.13% ने मतदान किया था. 2024 के लोकसभा चुनावों तक यह संख्या बढ़कर 3,51,561 हो गई. 2025 के विधानसभा चुनावों के लिए मतदाता सूची का अभी इंतजार है.
(अजय झा)
Nikhil Mandal
JD(U)
Rajesh Ranjan Alias Pappu Yadav
JAP(L)
Saakar Suresh Yadav
LJP
Shashi Kumar
IND
Vikram Kumar
IND
Lalan Kumar
IND
Lalo Rishidev
IND
Suresh Kumar
IND
Nota
NOTA
Amardeep Kumar
IND
Ravindra Kumar Sah
IND
Dinesh Yadav Urf Fauji
IND
Mandev Tanti
IND
Ranbeer Ranjan
IND
Sunil Kumar Suman
PSS
Janeshwar Sharma
LJP(S)
Gyandev Bachan
LSP(L)
Upendra Kamat
IND
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के पहले चरण में बंपर वोटिंग ने कई रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं, जिसमें मतदान का आंकड़ा 60% के पार जाता दिख रहा है. चुनावी चर्चा का केंद्र एसआइआर (विशेष गहन पुनरीक्षण) प्रक्रिया भी है, जिसके तहत करीब 65 लाख मतदाताओं के नाम सूची से हटाए गए. आज तक के संवाददाता साहिल और सुजीत के बीच इस बात पर बहस हुई कि क्या बढ़े हुए मतदान प्रतिशत का कारण सच में मतदाताओं का उत्साह है.
बदलाव के मुद्दे के बीच भी अगर कोई सबसे बड़ा एनडीए का खेवनहार है तो वह महिला वोटर यानि नारी शक्ति है जो जातीय समीकरण से हटकर नीतीश और मोदी के नाम पर आज भी मजबूती से खड़ी है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सहरसा में एक जनसभा को संबोधित करते हुए आरजेडी और कांग्रेस पर तीखा हमला बोला और बिहार में 'जंगलराज' के दिनों की याद दिलाई. पीएम मोदी ने कहा, 'हमारे सहरसा के बहादुर डीएसपी सत्यपाल सिंह जी जंगलराज वालों को ठीक कर रहे थे, उन पर नकेल कस रहे थे, लेकिन इसकी कीमत उनको अपनी जान देकर चुकानी पड़ी.'
मधेपुरा में जनशक्ति जनता दल प्रत्याशी संजय यादव की चुनावी सभा में पहुंचे तेज प्रताप यादव ने राजद उम्मीदवार प्रोफेसर चंद्रशेखर पर तीखा हमला बोला. उन्होंने सभा के दौरान कहा, देखिए बहरूपिया का गाड़ी जा रहा है. तेज प्रताप ने चंद्रशेखर को शिक्षा मंत्री रहते भ्रष्टाचार और लूट का जिम्मेदार ठहराते हुए जनता से उनके झांसे में न आने की अपील की.
बिहार के मधेपुरा में जनशक्ति जनता दल के प्रत्याशी संजय यादव की चुनावी सभा के दौरान तेज प्रताप यादव ने राजद उम्मीदवार प्रोफेसर चंद्रशेखर पर जमकर हमला बोला. मंच से बोलते हुए तेज प्रताप ने कहा, देखिए बहरूपिया का गाड़ी जा रहा है और लोगों से अपील की कि वे चंद्रशेखर के झांसे में न आएं.
बिहार चुनाव से पहले राजद में बगावत के सुर तेज़ हो गए हैं. पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव के बेटे शांतनु यादव ने पार्टी पर वादाखिलाफी का आरोप लगाया है. शांतनु ने कहा कि उनके पिता ने जननायक जनता दल को राजद में विलय कर दिया था, लेकिन अब वादे के बावजूद टिकट किसी और को दे दिया गया. उन्होंने कहा—'हम राजनीति में झाल बजाने नहीं आए हैं, पिता की विरासत को आगे बढ़ाएंगे.'
मधेपुरा के आलमनगर विधानसभा क्षेत्र से ई नवीन कुमार ने बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में RJD और VIP दोनों की तरफ से नामांकन दाखिल किया है. यह महागठबंधन के भीतर सीट शेयरिंग विवाद का नतीजा है. नवीन ने कहा कि वह पार्टी के आदेश के मुताबिक काम करेंगे.
चारा घोटाला में फर्जी बिलों के जरिए करोड़ों की हेराफेरी हुई, जिसमें मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव का नाम सामने आया. जून 1997 में राज्यपाल की अनुमति के बाद सीबीआई ने चार्जशीट दाखिल की और जांच जारी रखी. 2000 में बिहार का बंटवारा हुआ और झारखंड अलग राज्य बना. बाद में नीतीश कुमार के नेतृत्व में एनडीए सरकार बनी, जिसने अपराध और अपराधियों के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति अपनाई.
उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री ओ.पी. राजभर ने बिहार विधानसभा चुनाव पर कहा, "NDA गठबंधन के सामने यह (INDIA गठबंधन) लोग टिक नहीं पा रहे हैं. जनता ने वहां कांग्रेस को झेला है, RJD को झेला है...RJD के समय में वहां जंगलराज रहा, आज दलगत राजनीति से भी ऊपर उठकर देखा जाए तो बिहार में तीन चीजें मिल गई हैं.
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी की 'वोटर अधिकार यात्रा' मुजफ्फरपुर पहुंची है. यहां उन्होंने एक सभा को संबोधित किया. उन्होंने कहा कि देश में गुजरात मॉडल चल रहा है. गुजरात मॉडल 'चोरी का मॉडल' है. उन्होंने मध्य प्रदेश, हरियाणा और महाराष्ट्र में 'वोट चोरी' के आरोप लगाए. उन्होंने कहा कि देश में वोट चोरी की जा रही है और ये कि यात्रा में खुद लोग जुड़ रहे हैं. देखिए.