जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला को अपने कैबिनेट मंत्रियों के साथ नौहट्टा स्थित शहीदों के कब्रिस्तान में जाकर पुष्पांजलि अर्पित करने के लिए दीवार फांदना पड़ा. रविवार को नेशनल कॉन्फ्रेंस के कई नेताओं को 'शहीद दिवस' मनाने से रोकने के लिए नज़रबंद कर दिया गया था.
अमरनाथ यात्रा 2025 में श्रद्धालुओं का उत्साह चरम पर है. रविवार को 17,317 लोगों ने बाबा बर्फानी के दर्शन किए, जिससे कुल संख्या 2 लाख को पार कर गई. 3 जुलाई से शुरू हुई यात्रा 9 अगस्त तक चलेगी. बच्चों, महिलाओं, साधु-संतों और सुरक्षा बलों सहित हजारों श्रद्धालु प्रतिदिन कठिन पहाड़ी रास्तों से गुफा तक पहुंचकर आस्था का परिचय दे रहे हैं.
आज बौद्ध धर्म गुरु दलाई लामा लद्दाख के दौरे पर पहुंचे. उनके हजारों अनुयायी लेह लद्दाख में उनके स्वागत के लिए मौजूद थे. लामा एक महीने तक लद्दाख में रहेंगे. इस दौरान उनकी हर एक गतिविधि पर चीन की नजर रहेगी. जब भी दलाई लामा लद्दाख आते हैं, चीन की चिंताएं बढ़ जाती हैं. वे एकमात्र ऐसे धार्मिक गुरु हैं जिनके पीछे पूरा लद्दाख और वहां की आबादी हमेशा खड़ी रही है.
जम्मू-कश्मीर के सीमावर्ती इलाकों में रहने वाले लोग भारत-पाकिस्तान तनाव और गोलाबारी से प्रभावित हुए हैं. राजौरी, पुंछ, बारामूला और कुपवाड़ा जिलों में पाकिस्तानी गोलाबारी से तबाही हुई है. कई लोग मारे गए और उनकी संपत्तियों को नुकसान पहुंचा. सरकार और प्रशासन ने 1000 से अधिक बंकर बनाने का वादा किया था, जिसमें सामुदायिक और व्यक्तिगत बंकर शामिल थे. यह भी वादा किया गया था कि काम युद्ध स्तर पर शुरू होगा. हालांकि, जंग के हालात खत्म हुए दो-तीन महीने हो चुके हैं, लेकिन बंकर बनाने की प्रक्रिया अभी तक शुरू नहीं हुई है.
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तान की भारी गोलाबारी में जम्मू-कश्मीर के पूंछ, राजौरी, उरी और कुपवाड़ा सेक्टरों के बॉर्डर इलाके सबसे ज्यादा प्रभावित हुए. सैकड़ों घर पूरी तरह तबाह हो गए और लोग अपनी जान बचाने के लिए सुरक्षित स्थानों पर पलायन को मजबूर हुए. अब जब लोग वापस लौट रहे हैं और अपने जीवन को दोबारा शुरू करने की कोशिश कर रहे हैं, तो सरकार की तरफ से दिए जा रहे मुआवजे को वो नाकाफी और असंवेदनशील मान रहे हैं.
गुरु पूर्णिमा के पावन अवसर पर अमरनाथ यात्रा की छड़ी मुबारक की यात्रा पहलगाम से शुरू हो गई है. आज के दिन पहलगाम में छड़ी मुबारक की विशेष पूजा की गई. यह परंपरा सदियों से चली आ रही है, जब पुराने समय में साधु-संतों की अमरनाथ यात्रा के दौरान उनकी रक्षा के लिए छड़ी मुबारक उनके साथ चलती थी.
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तानी गोलाबारी में पूंछ, राजौरी, उरी और कुपवाड़ा के सैकड़ों घर तबाह हो गए. सरकार ने 1000 बंकर बनाने का वादा किया था, लेकिन अभी तक काम शुरू नहीं हुआ. मुआवजा भी बाजार दर के मुकाबले बेहद कम है, जिससे लोगों में नाराजगी है.
Pahalgam Attack से Kashmir का सबसे बड़ा पर्यटन सीजन तबाह, तीन दशकों में सबसे कम पर्यटक पहुंचे
बिहार में चुनाव से पहले मतदाता सूची पुनरीक्षण को लेकर राजनीतिक घमासान जारी है. महागठबंधन ने आरोप लगाया है कि फर्जी मतदाताओं को सूची से बाहर करने के नाम पर उनके समर्थित वोटरों को हटाने की साजिश रची जा रही है. इस मुद्दे पर राहुल गांधी और तेजस्वी यादव सहित महागठबंधन के नेताओं ने विरोध प्रदर्शन किया. देखें ब्रेकिंग न्यूज.
अमरनाथ यात्रा 3 जुलाई से शुरू हो चुकी है और पहले ही हफ्ते में 1,10,000 अमरनाथ यात्री दर्शन कर चुके हैं. श्रद्धालुओं में यात्रा को लेकर भारी उत्साह और जोश है, जिससे इस बार यात्रियों की संख्या काफी अच्छी रहने की उम्मीद है. पहलगाम आतंकी हमले के बाद यह आशंका जताई जा रही थी कि यात्रा पर इसका असर पड़ेगा, लेकिन फिलहाल ऐसा नहीं हुआ है.
पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद कश्मीर घाटी का पर्यटन व्यवसाय बुरी तरह प्रभावित हुआ है. पिछले तीन-चार साल से नए रिकॉर्ड तोड़ रहा पर्यटन एक ही झटके में थम गया, जिससे पर्यटकों का कश्मीर आना रुक गया. इस स्थिति से निपटने और सुरक्षा व्यवस्था पर हिले भरोसे को बहाल करने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं.
इस साल की अमरनाथ यात्रा की समय सीमा कम कर दी गई है और पहलगाम आतंकी हमले के बाद सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं. इसके बावजूद अमरनाथ यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं के उत्साह में कोई कमी नहीं है. यह पहले दिन ही साफ दिखा जब हजारों की तादाद में दोनों रास्तों, पहलगाम और बालटाल, से श्रद्धालु अमरनाथ गुफा पहुंचे.
कल श्रीनगर के अलग-अलग इलाकों से आठ मुहर्रम का जुलूस निकला, जिसमें एक जुलूस सिटी सेंटर यानी लाल चौक की तरफ भी बढ़ा. प्रशासन, जिसमें जिला अधिकारी, संभागीय प्रशासन, पुलिस और शिया संगठन शामिल थे, ने जुलूस से कई दिन पहले बात की थी. यह तय हुआ था कि जुलूस सुबह जल्दी निकलेगा, निर्धारित रास्तों पर चलेगा और गैर-राजनीतिक रहेगा, यानी सिर्फ धार्मिक होगा.
रामबन में अमरनाथ यात्रा के दौरान पांच बसों के आपस में टकराने से बड़ा हादसा टल गया. शनिवार सुबह चंदरकोट इलाके में एक बस के ब्रेक फेल होने से नियंत्रण खो गया और वह सामने खड़ी चार बसों से टकरा गई. हादसे में 36 यात्री हल्की चोटें लेकर घायल हुए, कोई गंभीर नहीं.
हिंदू धर्म की तीन सबसे बड़ी धार्मिक यात्राओं - अमरनाथ यात्रा, कैलाश मानसरोवर यात्रा और कांवड़ यात्रा - का विस्तृत विश्लेषण किया गया है. ये तीनों ही यात्राएं भक्तों की तपस्या, संघर्ष और भक्ति की परीक्षा मानी जाती हैं. शिवभक्त जून, जुलाई, अगस्त और सितंबर के महीने में इन यात्राओं को करते हैं, और हर साल लाखों श्रद्धालु अपने आराध्य के दर्शनों के लिए इन पर जाते हैं.
भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान जम्मू कश्मीर के दौरे पर हैं. उन्होंने कश्मीर में कृषि क्षेत्र में हो रहे नवाचारों का उल्लेख किया. बताया गया कि सघन बागवानी के कारण सेब का उत्पादन 10 गुना तक बढ़ गया है. भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (ICAR) भी विश्वविद्यालयों के साथ मिलकर अनुसंधान कर रहा है. कृषि मंत्री ने सिंधु जल समझौते को रद्द करने के भारत के फैसले को महत्वपूर्ण बताया.
श्रीनगर में मुहर्रम के जुलूस के दौरान ईरान और हिजबुल्लाह के झंडे लगाए गए. प्रशासन और पुलिस ने सार्वजनिक जगहों से इन झंडों को पहले हटाया था, लेकिन जुलूस में फिर से ऐसे झंडे दिखने से विवाद बढ़ गया. ईरान के समर्थन में नारेबाजी की गई और ईरान के सर्वोच्च लीडर अयातुल्लाह अली खामनेई की तस्वीरें भी हाथों में थीं.
श्रीनगर में मुहर्रम के जुलूस के दौरान ईरान और हिज्बुल्लाह के झंडे लगाए गए. प्रशासन और पुलिस ने सार्वजनिक जगहों से इन झंडों को पहले हटाया था, लेकिन जुलूस में फिर से ऐसे झंडे दिखने से विवाद बढ़ गया. ईरान के समर्थन में नारेबाजी की गई और ईरान के सर्वोच्च लीडर आयतुल्लाह अली खामेनेई की तस्वीरें भी हाथों में देखी गई.
बालटाल की पहाड़ियों के बीच अमरनाथ यात्रा के लिए एक विशाल टेंट सिटी बसाई गई है. अमरनाथ यात्रा करने वाले यात्रियों के लिए यहां पर व्यापक व्यवस्था की गई है. अलग-अलग राज्यों से आए भक्तों के लिए लंगर स्थापित किए गए हैं, जहां शिव जी और नंदी की मूर्तियां भी लगी हैं.
अनंतनाग की पहाड़ियों में फिर गूंज उठा “हर-हर महादेव”! अमरनाथ यात्रा का शुभारंभ हो गया है और पहला जत्था बाबा बर्फानी की गुफा तक पहुंच चुका है. प्रशासन की चौकस निगरानी और हाईटेक इंतज़ामों के बीच श्रद्धालुओं की आस्था अपने चरम पर है.
गुरुवार से इस साल की अमरनाथ यात्रा शुरू हो गई है. यात्रा के पहले दिन लगभग 20,000 श्रद्धालु अमरनाथ गुफा पहुंचे और उन्होंने दर्शन किए. इस यात्रा के संबंध में एक महत्वपूर्ण विषय सामने आया है. गर्मी के कारण शिवलिंग का आकार घटता जा रहा है. इस स्थिति से श्रद्धालुओं की रुचि में कमी आने की आशंका जताई जा रही है.