उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद से हैरान करने वाली घटना सामने आई है. मोदीनगर थाना क्षेत्र के मानवतापुरी इलाके की रहने वाली एक गर्भवती महिला ने ऑटो में ही दो जुड़वा बच्चों- एक बेटा और एक बेटी को जन्म दिया. सबसे हैरान करने वाली बात यह रही कि यह डिलीवरी सड़क पर, ऑटो में कपड़े की ओट लेकर कराई गई. मोदीनगर में सीएचसी के बाहर एक ऑटो, गर्भवती महिला का प्रसव कक्ष बन गया, जिससे प्रशासन की सुस्त व्यवस्था फिर सवालों के घेरे में आ गई.
जानकारी के मुताबिक, महिला के पति सुदर्शन पेशे से सिलाई के कामगार हैं. सोमवार सुबह अचानक पत्नी को तेज प्रसव पीड़ा हुई. घबराए पति ने फौरन स्वास्थ्य विभाग में तैनात आशा कार्यकर्ता से संपर्क किया. सीएचसी की आशा कार्यकर्ता ने कुछ देर में पहुंचने का आश्वासन तो दिया, लेकिन बदकिस्मती से उसकी स्कूटी रास्ते में ही खराब हो गई.
उधर महिला की हालत बिगड़ती जा रही थी और प्रसव पीड़ा बढ़ने लगी. मजबूरी में पति ने तुरंत एक ऑटो किया और पत्नी को सीएचसी अस्पताल ले जाने लगे, लेकिन रास्ते में ही दर्द असहनीय हो गया. हालात ऐसे बन गए कि ऑटो को सीएचसी के बाहर ही रोकना पड़ा. जहां वहां मौजूद लोगों और पति ने मिलकर कपड़े की आड़ में महिला की डिलीवरी करवाई. कुछ ही देर में महिला ने जुड़वा बच्चों - एक बेटे और एक बेटी को जन्म दे दिया.
डिलीवरी के बाद मोदीनगर सीएससी में तैनात स्टाफ भी पहुंचा, जहां मौजूद मेडिकल स्टाफ ने तुरंत महिला और नवजातों की देखभाल शुरू की. मिली जानकारी के मुताबिक जच्चा और दोनों बच्चे फिलहाल पूरी तरह स्वस्थ हैं. खास बात यह है कि महिला की पहले से ही पांच बेटियां हैं, और अब जुड़वा बच्चों में एक बेटा और एक और बेटी मिलने से परिवार खुशी से फूला नहीं समा रहा.
साफ है कि यह मामला ना सिर्फ स्वास्थ्य विभाग की सुस्ती को उजागर करता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि किस तरह मामूली चूक एक बड़ी घटना का कारण बन सकती थी. गनीमत रही कि समय रहते सब कुछ ठीक रहा, वरना मामला बिगड़ सकता था. हालांकि जुड़वा बच्चों को पाकर उनका परिवार बेहद खुश है.