
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शुक्रवार को लैंड फॉर जॉब स्कैम में बड़ी कार्रवाई की. ईडी ने दिल्ली, बिहार और यूपी में 15 ठिकानों पर छापेमारी की है. ये छापेमारी लालू यादव और उनके करीबियों के यहां पड़े हैं. इससे पहले सीबीआई ने इस मामले में लालू यादव और राबड़ी देवी से पूछताछ भी की थी.
कहां कहां पड़े छापे?
- ईडी की छापेमारी यूपी, बिहार, मुंबई और दिल्ली के 15-20 ठिकानों पर चल रही है.
- ईडी ने दिल्ली में फ्रेंड्स कॉलोनी में तेजस्वी यादव के घर पर भी रेड डाली है.
- पटना में आरजेडी के पूर्व विधायक अबु दोजाना के घर पर भी छापे पड़े हैं.
- लालू यादव के समधी जितेंद्र यादव के गाजियाबाद स्थित आवास पर ईडी ने छापेमारी की है. लालू यादव के चौथे नंबर की बेटी रागिनी की शादी जितेन्द्र के बेटे राहुल से हुई है.
- लालू यादव की बेटी चंदा और हेमा के यहां भी छापेमारी चल रही है.
- अब्दुल दोजाना के करीबी माने जाने वाले सीए आरएस नाइक के ठिकानों पर रांची में भी ईडी की रेड.
- समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, लालू की बेटी मीसा के यहां भी ईडी की टीम पहुंची है.

बीजेपी का 2024 में सफाया हो जाएगा- आरजेडी
ईडी के एक्शन पर आरजेडी प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा, बीजेपी को लोकतंत्र पर भरोसा नहीं रह गया है. राजनीति के तहत केंद्रीय एजेंसियों से एक्शन करवाया जा रहा है. बीजेपी का 2024 में सफाया हो जायेगा. कल बीजेपी विपक्ष में बैठेगी तो उनके ठिकानों पर सीबीआई और ईडी पहुंचेगी.
लालू और राबड़ी से हुई पूछताछ
इससे पहले सीबीआई ने सोमवार को पटना में राबड़ी देवी के आवास पर उनसे पूछताछ की थी. इसके अगले दिन सीबीआई की टीम दिल्ली में मीसा भारती के घर पहुंची थी. यहां सीबीआई ने लालू यादव से कई घंटों तक पूछताछ की थी. लालू यादव अभी दिल्ली में मीसा भारती के घर पर ही रुके हैं.
क्या है लैंड फॉर जॉब स्कैम?
लैंड फॉर जॉब स्कैम का यह केस 14 साल पुराना है. उस वक्त लालू यादव रेल मंत्री थे. दावा है कि लालू यादव ने रेल मंत्री रहते हुए रेलवे में लोगों को नौकरी देने के बदले उनकी जमीन लिखवा ली थी. बताते चलें कि लालू यादव 2004 से 2009 तक रेल मंत्री रहे थे.
सीबीआई ने इस मामले में 18 मई को केस दर्ज किया था. सीबीआई के मुताबिक, लोगों को पहले रेलवे में ग्रुप डी के पदों पर सब्स्टीट्यूट के तौर पर भर्ती किया गया और जब उनके परिवार ने जमीन का सौदा किया, तब उन्हें रेगुलर कर दिया गया.
सीबीआई का कहना है कि पटना में लालू यादव के परिवार ने 1.05 लाख वर्ग फीट जमीन पर कथित तौर पर कब्जा कर रखा है. इन जमीनों का सौदा नकद में हुआ था. यानी, लालू परिवार ने नकद देकर इन जमीनों को खरीदा था. सीबीआई के मुताबिक, ये जमीनें बेहद कम दामों में बेच दी गई थीं.
ईडी का दावा- आवेदनों को अप्रूव करने में जल्दबाजी दिखाई गई
रेलवे में नौकरी के बदले रिश्वत में जमीन लेने के आरोपों के मामले में सीबीआई जांच कर रही है. वहीं, मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में ईडी जांच कर रही है. सीबीआई ने इस मामले में चार्जशीट भी दाखिल कर दी. इस मामले में लालू यादव के करीबी व पूर्व विधायक भोला यादव और हृदयानंद चौधरी भी अभियुक्त हैं. आरजेडी नेता लालू यादव के ओएसडी रहे भोला यादव को सीबीआई ने 27 जुलाई को गिरफ्तार किया था. भोला 2004 से 2009 के बीच तत्कालीन रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव के ओएसडी थे.
ED के मुताबिक, कुछ उम्मीदवारों के आवेदनों को अप्रूव करने में जल्दबाजी दिखाई गई. कुछ आवेदनों को तीन दिनों में ही अप्रूव कर दिया गया. पश्चिम मध्य रेलवे और पश्चिम रेलवे ने उम्मीदवारों के आवेदनों को बिना पूरे पते के भी अप्रूव कर दिया और नियुक्त कर दिया.
- कुल मिलाकर लालू यादव एंड फैमिली ने कथित तौर पर 7 उम्मीदवारों को जमीन के बदले नौकरी दी थी. इनमें से पांच जमीनों की बिक्री हुई थी, जबकि दो गिफ्ट के तौर पर दे दी गई थी.
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15 मार्च को कोर्ट के सामने होना है पेश
लैंड फॉर जॉब स्कैम के मामले में हाल ही में दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने लालू यादव के परिवार को समन जारी किया है. इस मामले में लालू यादव, राबड़ी देवी और उनकी बेटी मीसा भारती को 15 मार्च को अदालत में पेश होना है.