दुनिया में कुछ ऐसे देश हैं, जिनका वीज़ा पाने के लिए आम आदमी को अपनी पूरी ज़िंदगी की कमाई भी शायद पर्याप्त न हो. ये वीज़ा मुख्य रूप से निवेश या "गोल्डन वीज़ा" प्रोग्राम के जरिए मिलते हैं और इनकी कीमत लाखों डॉलर में होती है.
व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कैरोलिन लेविट ने बताया कि राष्ट्रपति ट्रंप का भाषण दुनियाभर में अमेरिकी धाक और आठ महीनों की सरकार की उपलब्धियों पर केंद्रित होगा.
कतर पर इजरायल के हमले और गाजा पर इजरायल के कब्जे को अमेरिका के समर्थन के बाद मुस्लिम देश एकजुट हो रहे हैं. जॉर्डन, कतर, सऊदी अरब समेत 57 मुस्लिम देशों ने अमेरिका पर भरोसा न होने की बात कहकर अब नेटो जैसा एक नया सैन्य संगठन 'अरब नेटो' खड़ा करने की बात कही है. जिसमें पाकिस्तान ने परमाणु हमले का प्रस्ताव रखा है.
बेंजामिन नेतन्याहू ने इजरायल की विस्तारवादी नीति का समर्थन करते हुए कहा कि वो 'ग्रेटर इजरायल' के दृष्टिकोण से बहुत जुड़े हुए हैं. उनके इस बयान पर सऊदी अरब समेत सभी मुस्लिम देश भड़क गए हैं और बयान जारी कर अपनी नाराजगी जता रहे हैं.
भारत ने सोमवार को ईरान से 290 भारतीय नागरिकों और एक श्रीलंकाई नागरिक को निकाला. यह घटना अमेरिका द्वारा ईरान के तीन परमाणु स्थलों पर बमबारी के बाद फारस की खाड़ी के देश और इजरायल के बीच बढ़ते तनाव के बीच हुई है.
मिडिल ईस्ट में अपनी ताकत बढ़ाने के मकसद से ही ईरान परमाणु हथियार हासिल करना चाहता है, जो न सिर्फ इजरायल और अमेरिका बल्कि सऊदी अरब और यूएई जैसे देशों के लिए चिंता का विषय बन चुका है. इजरायल की तरफ मुस्लिम देश भी नहीं चाहते कि ईरान परमाणु हथियार बनाए, क्योंकि इससे सबसे ज्यादा खतरा उन्हीं देशों को हो सकता है.
ईरान पर इजरायल के हमले को लेकर उसके पड़ोसी लगभग उसके साथ दिख रहे हैं. तुर्की, मिस्र जैसे ईरान के पड़ोसियों ने हमले के लिए इजरायल की निंदा की है और उनका कहना है कि इजरायल पूरे क्षेत्र को युद्ध में धकेलना चाहता है.
शुक्रवार को इजरायल ने ईरान के परमाणु और सैन्य ठिकानों पर हमला कर दिया जिसमें ईरान को भारी नुकसान हुआ है. इस हमले को लेकर मध्य-पूर्व के देश इजरायल की आलोचना कर रहे हैं. वहीं, जॉर्डन ने कहा है कि अगर उसके एयरस्पेस का उल्लंघन होगा तो इसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
अम्मान में भारतीय दूतावास द्वारा मृतक के परिवार को भेजे गए एक पत्र के मुताबिक, वह केरल का रहने वाला था, जो तीन अन्य लोगों के साथ टूरिस्ट वीजा पर जॉर्डन गया था. जॉर्डन के सुरक्षा बलों ने कथित तौर पर शख्स को उस समय गोली मार दी, जब वह अपने एक साथी के साथ अवैध रूप से देश की सीमा पार करने की कोशिश कर रहा था.
जॉर्डन में इजरायली दूतावास के पास गोलीबारी हुई है. एक सूत्र ने रॉयटर्स को बताया कि गोलीबारी की इस घटना में एक बंदूकधारी को मार गिराया गया है जबकि तीन पुलिसकर्मी इस दौरान घायल हुए हैं जिन्हें उपचार के लिए नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया है.
हिज्बुल्लाह चीफ हसन नसरल्लाह के खात्मे और दक्षिणी लेबनान में इजरायल के ग्राउंड ऑपरेशन के बाद मंगलवार आधी रात को ईरान ने इजरायल पर ताबड़तोड़ मिसाइलें दागीं. वहीं इस बीच जॉर्डन ने अपने एयरस्पेस बंद कर दिए हैं. देखिए VIDEO
गाजा में इजरायल की गोलीबारी से भागकर फिलिस्तीनियों ने दक्षिणी शहर रफाह में शरण ली थी लेकिन वहां भी उनकी जान सुरक्षित नहीं है. रविवार से ही इजरायल रफाह में हवाई हमले कर रहा है जिसमें विस्थापितों की जान जा रही है. इस हमले पर अरब लीग और इस्लामिक देशों का संगठन ओआईसी कड़ी प्रतिक्रिया दे रहे हैं.
ईरान ने आधी रात को इजरायल पर ताबड़तोड़ मिसाइल अटैक करके पूरी दुनिया को चौंका दिया था. तभी से कयास लगाए जा रहे थे कि इजरायल जवाबी कार्रवाई जरूर करेगा और अब उस हमले के ठीक एक हफ्ते बाद शुक्रवार को इजरायल ने ईरान पर हमला कर दिया. लेकिन ये हमला सिर्फ ईरान पर नहीं हुआ बल्कि दो और देशों पर इजरायल ने अटैक किया है.
इजरायल और ईरान के बीच चल रहे तनाव ने अरब देश जॉर्डन को धर्मसंकट में डाल दिया है. खबर आई थी कि ईरान की तरफ से इजरायल पर दागी गई मिसाइलों और ड्रोनों को नष्ट करने में जॉर्डन ने भी मदद की थी जिसके बाद देश में इसका काफी विरोध हुआ. इसे देखते हुए जॉर्डन सरकार को इजरायल के लिए भी कड़े शब्दों का इस्तेमाल करना पड़ा.
इजरायल और जॉर्डन के बीच स्थित मृत सागर एक बेहद ही खूबसूरत पर्यटन स्थल है जहां पर्यटकों की भीड़ लगी रहती है. यहां का पानी सामान्य समुद्री पानी से 10 गुना ज्यादा नमकीन है जो इसे बाकी जलाशयों से बहुत अलग बनाता है.
इजरायल की जंग के बीच जॉर्डन में अमेरिका के सैन्य ठिकाने पर हमला हुआ है. हमले में तीन अमेरिकी सैनिक मारे गए हैं और कम से कम 25 घायल हुए हैं. राष्ट्रपति जो बाइडेन ने इसके लिए ईरान समर्थित समूहों को जिम्मेदार ठहराया है. बताया जा रहा है कि हालिया हमला सीरिया से किया गया है.
अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने जॉर्डन के विदेश मंत्री से मुलाकात की. इस दौरान दोनों ने इजरायल-हमास जंग को लेकर बात की. बता दें कि इस जंग को मध्य-पूर्व देशों में फैलने से रोकने के लिए अमेरिका पूरी कोशिश कर रहा है. जंग शुरू होने बाद से इन देशों में ब्लिंकन का ये चौथा दौरा है. देखें अमेरिका की बड़ी खबरें.
ब्लिंकन का ये दौरा ऐसे समय में हुआ, जब बेरूत में ड्रोन हमले में हमास के एक नेता को मार गिराया गया था. ब्लिंकन इससे पहले भी मिडिल ईस्ट का दौरा कर चुके हैं. उन्होंने नवंबर में इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से मुलाकात की थी.
बयान जारी करते हुए जॉर्डन के विदेश मंत्री ने कहा कि गाजा पर उग्र इजरायली युद्ध की अस्वीकृति और निंदा की जानी चाहिए. इजरायल निर्दोष लोगों को मार रहा है और एक अभूतपूर्व मानवीय तबाही का कारण बन रहा है. जॉर्डन ने इजरायल के विदेश मंत्रालय से यह भी कहा कि वह अपने राजदूत रोजेल रचमन को बता दें कि वे वापस अम्मान न लौटें.
इजरायली हमले का खतरा देखते हुए जॉर्डन ने अमेरिका से पैट्रियट मिसाइल सिस्टम तैनात करने की मांग की है. जॉर्डन आर्मी के प्रवक्ता ने कहा कि मिडिल-ईस्ट में बढ़ते तनाव और संघर्ष के समय अपनी सीमा की रक्षा को मजबूत करने के लिए वाशिंगटन को कहा है.
जॉर्डन के किंग अब्दुल्ला द्वितीय ने बड़ा ऐलान किया है. किंग अब्दुल्ला ने कहा है कि वो इस युद्ध के शरणार्थियों को जॉर्डन और मिस्र में नहीं घुसने देंगे.