scorecardresearch
 

14300 साल पहले आया था धरती पर सबसे भयानक सौर तूफान... फिर आएगा ऐसा ही तूफान!

14,300 साल पहले का सौर तूफान धरती पर आए सबसे बड़े तूफानों में से एक था. आज की दुनिया के लिए एक चेतावनी है. भारत जैसे देश, जो अंतरिक्ष और तकनीक में आगे बढ़ रहे हैं, को ऐसे तूफानों से बचने की तैयारी करनी होगी. यह खोज हमें सूरज की ताकत और अपनी कमजोरियों को समझने का मौका देती है.

Advertisement
X
14 हजार पहले जो सौर तूफान आया था, वो फिर से आ सकता है. (प्रतीकात्मक फोटोः गेटी)
14 हजार पहले जो सौर तूफान आया था, वो फिर से आ सकता है. (प्रतीकात्मक फोटोः गेटी)

लगभग 14300 साल पहले धरती पर अब तक का सबसे शक्तिशाली सौर तूफान आया था. फिनलैंड की ओउलु यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों ने पेड़ों के जीवाश्म छल्लों में रेडियोकार्बन की मात्रा का अध्ययन कर यह खोज की. यह तूफान आज की तकनीक पर निर्भर दुनिया के लिए बड़ा खतरा बन सकता है. 

क्या है सौर तूफान?

सूरज से निकलने वाली तेज ऊर्जा और चार्ज्ड कण (प्रोटॉन) जब धरती के वायुमंडल से टकराते हैं, तो इसे सौर तूफान कहते हैं. ये कण धरती के चुंबकीय क्षेत्र को हिला देते हैं और रेडियोकार्बन (कार्बन-14) नामक रेडियोधर्मी तत्व की मात्रा बढ़ा देते हैं. वैज्ञानिक इस रेडियोकार्बन की मदद से पुरानी चीजों की उम्र पता करते हैं.

यह भी पढ़ें: बाढ़-पहाड़-पठार और मुल्क का बंटाधार... PAK की लोकेशन है कि दोधारी तलवार!

14300 साल पुराना तूफान

वैज्ञानिकों ने पेड़ों के पुराने छल्लों में रेडियोकार्बन की असामान्य वृद्धि देखी. नए शोध से पता चला कि यह 12,350 ईसा पूर्व (जनवरी से अप्रैल) में आए एक सौर तूफान की वजह से था. यह तूफान इतना शक्तिशाली था कि इसने 2003 के हेलोवीन सौर तूफान से 500 गुना ज्यादा ऊर्जा धरती पर भेजी. उस समय यूरोप में मैमथ शिकारी रहते थे, जिन्होंने शायद आसमान में चमकती औरोरा बोरियालिस (उत्तरी रोशनी) देखी होगी. 

Advertisement

Deadliest solar storm

पहले के सौर तूफान

वैज्ञानिकों ने पहले भी पांच बड़े सौर तूफानों का अध्ययन किया, जो 994 ईस्वी, 775 ईस्वी, 663 ईसा पूर्व, 5259 ईसा पूर्व और 7176 ईसा पूर्व में आए थे. इनमें सबसे ताकतवर 775 ईस्वी का तूफान था, जिसका जिक्र पुराने चीनी और एंग्लो-सैक्सन दस्तावेजों में मिलता है. लेकिन 12,350 ईसा पूर्व का तूफान इससे भी 18% ज्यादा शक्तिशाली था.

आज के लिए खतरा

आज हमारी दुनिया सैटेलाइट, बिजली ग्रिड और संचार सिस्टम पर निर्भर है. ऐसे में इतना बड़ा सौर तूफान भारी नुकसान कर सकता है. 1859 के कैरिंगटन तूफान ने टेलीग्राफ तारों को जलाया था. 2003 का हेलोवीन तूफान, जो इससे दस गुना कमजोर था. इसने सैटेलाइट की कक्षा को बिगाड़ दिया. 2024 का गैनन तूफान भी सैटेलाइटों को हिलाकर रख गया. अगर 12,350 ईसा पूर्व जैसा तूफान आज आए तो यह सैटेलाइट, बिजली और इंटरनेट को पूरी तरह ठप कर सकता है.

यह भी पढ़ें: दुनिया में पहली बार हुआ ब्लैडर ट्रांसप्लांट... सात साल बाद पीड़ित ने किया ढंग से पेशाब

Deadliest solar storm

नया मॉडल, नई खोज

पहले वैज्ञानिकों के पास बर्फ युग (आइस एज) के रेडियोकार्बन डेटा को समझने का सही तरीका नहीं था. लेकिन ओउलु यूनिवर्सिटी की शोधकर्ता क्षेनिया गोलुबेंको और उनकी टीम ने एक नया केमिस्ट्री-क्लाइमेट मॉडल बनाया. इसकी मदद से उन्होंने इस प्राचीन तूफान की ताकत और समय (12,350 ईसा पूर्व) का सटीक अनुमान लगाया. यह खोज 15 मई 2025 को अर्थ एंड प्लैनेटरी साइंसेज लेटर जर्नल में छपी.

Advertisement

यह तूफान सबसे खराब परिदृश्य है. हमें इसके खतरे को समझना होगा ताकि भविष्य में सैटेलाइट, बिजली ग्रिड, और संचार सिस्टम को बचाया जा सके. वैज्ञानिक अब ऐसे तूफानों का अध्ययन कर रहे हैं ताकि हमारी तकनीक को सुरक्षित किया जा सके.

---- समाप्त ----
Live TV

Advertisement
Advertisement