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PAK की हाइपरसोनिक मिसाइल रणनीति पर शशि थरूर की चेतावनी, बोले– भारत नज़रअंदाज़ नहीं कर सकता

इंडिया टुडे टीवी के कंसल्टिंग एडिटर राजदीप सरदेसाई के साथ एक इंटरव्यू में कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने पाकिस्तान की राजनीतिक और आर्थिक स्थिति, चीन के प्रभाव और क्षेत्रीय सुरक्षा मुद्दों पर बात की.

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शशि थरूर ने पाकिस्तान और चीन सहित कई मुद्दों पर बात की (File Photo: PTI)
शशि थरूर ने पाकिस्तान और चीन सहित कई मुद्दों पर बात की (File Photo: PTI)

कांग्रेस नेता शशि थरूर ने शुक्रवार को चेतावनी देते हुए कहा कि पाकिस्तान की बदलती मिलिट्री स्ट्रैटेजी, खासकर हाइपरसोनिक मिसाइल टेक्नोलॉजी और एसिमेट्रिक डेटरेंस पर उसके फोकस को भारत नज़रअंदाज़ नहीं कर सकता. इंडिया टुडे टीवी के कंसल्टिंग एडिटर राजदीप सरदेसाई के साथ एक खास इंटरव्यू में, शशि थरूर ने जनरल आसिम मुनीर के बढ़ते प्रभाव और पाकिस्तान में बढ़ते भारत विरोधी कट्टरपंथ पर बात की, जिस पर उन्होंने जवाब दिया कि भारत ने पाकिस्तान के साथ पिछले अनुभवों से सीखा है और उसे पूरी तरह तैयार रहना चाहिए.

उन्होंने कहा, "ड्रोन, रॉकेट और मिसाइलों की बौछार के बाद, अब वे हाइपरसोनिक टेक्नोलॉजी पर काम कर रहे हैं." 

थरूर ने आगे कहा कि देश का नया मिलिट्री सिद्धांत, जिसे एसिमेट्रिक डेटरेंस के नाम से जाना जाता है, ऐसी चीज़ नहीं है जिसे हम हल्के में नज़रअंदाज़ कर सकें.

'नाम मात्र की नागरिक सरकार...'

पाकिस्तान की अंदरूनी स्थिति पर ज़ोर देते हुए, शशि थरूर ने देश को 'बहुत समस्याग्रस्त' बताया, जहां नाममात्र की सरकार है, जिस पर ज़्यादातर सेना का दबदबा है. उन्होंने आर्थिक कमज़ोरी और विदेशी मदद पर निर्भरता को ऐसे कारक बताया, जो सैन्य दुस्साहस को बढ़ावा दे सकते हैं.

थरूर ने कहा, "पाकिस्तान कई लेवल पर बहुत समस्याग्रस्त देश है. यह नाममात्र की नागरिक सरकार है, जिसे सेना ने बनाया है और जिस पर सेना का दबदबा है, इसलिए वहां की पॉलिसी विकल्पों के मामले में सेना का एजेंडा हमेशा हावी रहेगा."

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कांग्रेस सांसद ने पाकिस्तान की आर्थिक कमज़ोरी पर भी ज़ोर दिया. थरूर ने कहा, "यह आर्थिक रूप से कमज़ोर है. इसे कई अंतरराष्ट्रीय और पश्चिमी डोनर्स से बहुत सारा पैसा मिला है, और इससे इसे कुछ समय के लिए सहारा मिल सकता है, लेकिन आर्थिक कमज़ोरी अक्सर मिलिट्री एडवेंचर की ओर ले जाती है."

थरूर ने दोनों देशों की अर्थव्यवस्थाओं की तुलना करते हुए कहा कि पाकिस्तान की GDP ग्रोथ 2.7 फीसदी है, जबकि भारत की ग्रोथ करीब 7 फीसदी या उससे ज़्यादा है. उन्होंने उन सेक्टर्स में पाकिस्तान के बढ़ते कदमों पर भी ज़ोर दिया, जहां भारत की मज़बूत मौजूदगी है, और कहा कि यह देश टेक्सटाइल और एग्रीकल्चर जैसे सेक्टर्स में विस्तार कर रहा है, जिससे क्षेत्रीय बाज़ारों में मुकाबला बढ़ सकता है.

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पाकिस्तान-यूएस रिश्तों पर क्या बोले थरूर?

इसके बाद चर्चा पाकिस्तान के संयुक्त राज्य अमेरिका के साथ बढ़ते संबंधों और वैश्विक भू-राजनीति में बड़े बदलावों पर हुई. दोनों देशों के बीच बढ़ते द्विपक्षीय संबंधों पर चर्चा करते हुए, थरूर ने कहा कि पाकिस्तान ने अमेरिका को मिनरल एक्सेस दिया है और अपने क्रिप्टोकरेंसी बिज़नेस को ज़ैकरी विटकॉफ और डोनाल्ड ट्रंप के बेटों से जुड़ी एक कंपनी को ट्रांसफर कर दिया है.

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उन्होंने आगे कहा कि सऊदी अरब के समर्थन और चीन के बैकअप से, पाकिस्तान भारत के साथ जुड़ने के लिए कम मजबूर महसूस कर सकता है. 

शशि थरूर ने कहा, "इसमें कोई शक नहीं कि दुनिया में टेक्टोनिक प्लेट्स बदल रही हैं, और हम उथल-पुथल के दौर में प्रवेश कर रहे हैं. सवाल यह नहीं है कि कौन किसे काबू में करेगा, बल्कि हम उन लोगों को कैसे मैनेज करेंगे जिन्हें काबू में नहीं किया जा सकता."

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चीन और क्षेत्रीय मुद्दों पर बात करते हुए, थरूर ने बांग्लादेश के बारे में बात की, और कहा कि वह देश अपनी समस्याओं से जूझ रहा है. उनके पास एनर्जी की कमी है, महंगाई का दबाव है, और निवेशकों का भरोसा कम हो रहा है.

कांग्रेस सांसद ने यह भी चेतावनी दी है कि पाकिस्तान के साथ रक्षा समझौतों पर बांग्लादेश की बातचीत से पता चलता है कि इस समय, वे सच में यह इंप्रेशन देना चाहते हैं कि भारत उनका दुश्मन है.

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