मुंबई वन ऐप आज से पब्लिक के लिए सार्वजनिक कर दिया गया है. यह मोबाइल ऐप यात्रियों को सिंगल QR-आधारित डिजिटल टिकट बुक करने की सुविधा देता है. जिसे मेट्रो, मोनोरेल, बसों और लोकल ट्रेनों जैसी सुविधाओं के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है. बता दें कि बीते दिन यानी 8 अक्टूबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस मुंबई वन ऐप लॉन्च किया था.
आज सुबह से ऐप उपलब्ध
अधिकारियों के अनुसार, मुंबई मेट्रोपॉलिटन रीजन डेवलपमेंट अथॉरिटी (MMRDA) द्वारा विकसित किया गया यह ऐप 9 अक्टूबर की सुबह 5 बजे से डाउनलोड के लिए उपलब्ध है और सुबह 8:30 बजे तक इस मोबाइल एप्लिकेशन को 500 से अधिक लोग डाउनलोड कर चुके थे. बताया जा रहा है कि अब तक हर सार्वजनिक परिवहन ऑपरेटर का अपना अलग डिजिटल टिकटिंग प्लेटफॉर्म था, लेकिन ‘मुंबई वन’ से अब कई पेपर टिकट या अलग-अलग बुकिंग की जरूरत खत्म हो जाएगी.
हालांकि, यात्रियों को इस एप्लीकेशन के माध्यम से सबअर्बन ट्रेनों के 'सीजन' या रिटर्न यात्रा टिकट बुक करने की सुविधा नहीं मिल सकेगी. पूरे मुंबई मेट्रोपॉलिटन रीजन के लिए विकसित इस डिजिटल टिकटिंग प्लेटफॉर्म की मदद से लोग यात्रा प्लान कर सकेंगे और 11 सार्वजनिक परिवहन ऑपरेटरों के बीच टिकट बुक कर सकेंगे.
‘वन नेशन, वन मोबिलिटी’ की ओर बढ़ रहा देश
बता दें कि नवी मुंबई इंटरनेशनल एयरपोर्ट और मुंबई मेट्रो 3 के अंतिम चरण के उद्घाटन के दौरान ऐप लॉन्च करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने बताया था कि हर ट्रांसपोर्ट मोड को दूसरे से जोड़ा जा रहा है. यात्रा को आसान बनाने के प्रयास किए जा रहे हैं ताकि किसी को एक सेवा से दूसरी सेवा में बदलते समय परेशानी न हो सके. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि देश ‘वन नेशन, वन मोबिलिटी’ के विजन की ओर बढ़ रहा है. ‘मुंबई वन’ ऐप उसी दिशा में एक और कदम है. अब मुंबईकरों को टिकट के लिए लंबी कतारों में खड़ा नहीं होना पड़ेगा.
11 सार्वजनिक परिवहन ऑपरेटरों को जोड़ता है ये APP
यह ऐप 11 सार्वजनिक परिवहन ऑपरेटरों की सेवाओं को जोड़ने का काम करता है, जिनमें सबअर्बन रेलवे, मेट्रो लाइन 1, 2A, 3 और 7, नवी मुंबई मेट्रो, मोनोरेल और BEST, TMT (ठाणे), NMMT (नवी मुंबई), KDMT (कल्याण डोंबिवली) और MBMT (मीरा-भायंदर) शामिल हैं.
बताया जा रहा है कि यह ऐप कैशलेस और कॉन्टैक्टलेस लेन-देन को भी सपोर्ट करने में मदद करेगा. MMRDA ने दावा किया है कि ‘मुंबई वन’ उपयोगकर्ताओं पर कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लगाएगा, अथॉरिटी ने दावा किया है कि यह सिस्टम प्रतिदिन 50 लाख ट्रांज़ैक्शन को संभाल सकता है, और इसका यूजर बेस एक साल के अंदर 10 लाख से बढ़कर 50 लाख तक पहुंचने की उम्मीद है.