बिहार के नतीजों में एनडीए को शानदार सफलता मिली है. एनडीए ने 200 से ज्यादा सीट जीतीं, वहीं महागठबंधन 35 सीटों पर सिमट गया. लेकिन इस चुनाव में जेडीयू के मुस्लिम उम्मीदवारों का प्रदर्शन उम्मीद के मुताबिक नहीं है.
इस बार जेडीयू ने केवल 4 मुस्लिम उम्मीदवारों को टिकट दिया था. ये सीटें हैं आमौर, अररिया, जोकिहाट और चैनपुर. यह संख्या 2020 के 10-11 मुस्लिम उम्मीदवारों से काफी कम थी, जहां कोई भी जेडीयू का मुस्लिम कैंडिडेट जीत नहीं पाया था. इस बार भी एक ही उम्मीदवार जीत पाया है.
जेडीयू के मुस्लिम उम्मीदवारों का प्रदर्शन
सीट उम्मीदवार रुझान
बिहार चुनाव की विस्तृत कवरेज के लिए यहां क्लिक करें
बिहार विधानसभा की हर सीट का हर पहलू, हर विवरण यहां पढ़ें
आमौर सबा जफर (JDU) हार
अररिया शगुफ्ता अजीम (JDU) हार
जोकिहाट मंजर आलम (JDU) हार
चैनपुर जमा खान (JDU) जीत
बिहार के पल-पल बदलते नतीजों को जानने के लिए यहां क्लिक करें
दरअसल इस बार माना जा रहा था कि मुस्लिम समुदाय जेडीयू को वोट नहीं देने वाला है. इस पीछे वक्फ बिल पर जेडीयू का रुख, बांग्लादेशी घुसपैठियों का मुद्दा, SIR, बिहार में मुसलमानों के वोटिंग का परंपरागत ट्रेंड जैसी वजहें मानी जा रही थी. इसके अलावा राष्ट्रीय जनता दल को अपने परंपरागत MY समीकरण पर भरोसा था. तेजस्वी को भरोसा था कि उन्हें मुस्लिम उम्मीदवारों का वोट मिलेगा, इसके अलावा उन्हें यादव वोटों पर भी भरोसा था.
बिहार चुनाव में 79 मुस्लिम कैंडिडेट
बिहार चुनाव में सभी प्रमुख पार्टियों ने कुल मिलाकर 79 मुस्लिम उम्मीदवारों को टिकट दिया है. उनमें से केवल दो महिलाएं थी
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 सीटवार रिजल्ट चेक करने के लिए यहां क्लिक करें
इन 79 में 23 टिकट असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी एआईएमआईएम और 21 प्रशांत किशोर की पार्टी जन सुराज ने दिए हैं. लेकिन दोनों ने ही किसी महिला को उम्मीदवार नहीं बनाया.
बता दें कि राष्ट्रीय जनता दल ने 18 मुसलमान उम्मीदवारों को मैदान में उतारा है, जबकि कांग्रेस ने अपने खाते की 61 सीटों में से 10 सीटों पर मुस्लिम प्रत्याशियों को टिकट दिया है. महागठबंधन में शामिल वाम दलों ने दो मुस्लिम उम्मीदवारों को टिकट दिया है.