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विदेश मंत्री के बाद पाकिस्तान के प्रधानमंत्री को न्योता, क्या भारत आएंगे शहबाज शरीफ?

पाकिस्तान की ओर से बार-बार भारत के साथ रिश्ते सुधारने की अपील के बाद विदेश मंत्री एस जयशंकर ने पाकिस्तान के विदेश मंत्री और चीफ जस्टिस ऑफ पाकिस्तान को शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन में आने का निमंत्रण भेजा है. मई 2023 में गोवा में होने वाले इस सम्मेलन में शामिल होने के लिए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ को भी जल्द ही निमंत्रण भेजा जाएगा.

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फोटो- भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ
फोटो- भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की अपील के बाद भारत ने पाकिस्तान के विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो जरदारी और चीफ जस्टिस को शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के बैठक में भारत आने का न्योता दिया है.

मई 2023 में गोवा में होने वाले इस सम्मेलन में शामिल होने के लिए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ को भी जल्द ही निमंत्रण भेजा जाएगा.

इस साल शंघाई सहयोग संगठन की अध्यक्षता भारत कर रहा है. अध्यक्ष देश के निमंत्रण को एक रेगुलर रूटीन माना जाता है. लेकिन पाकिस्तान को न्योता देना इसलिए भी मायने रखता है क्योंकि दोनों देशों के बीच रिश्ते काफी खराब चल रहे हैं.

महंगाई और नकदी का संकट झेल रहे पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने हाल ही में पीएम मोदी से बातचीत की अपील की थी. पाकिस्तान की ओर से बार-बार भारत के साथ रिश्ते सुधारने की अपील के बाद विदेश मंत्री एस जयशंकर ने बुधवार को पाकिस्तान के विदेश मंत्री और चीफ जस्टिस ऑफ पाकिस्तान को शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन में आने का निमंत्रण भेजा था. 

अधिकारिक जानाकारी के अनुसार, एससीओ शिखर सम्मेलन की बैठक का निमंत्रण भारतीय उच्चायोग ने इस्लामाबाद में पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय को दिया है. हालांकि, अभी भी यह स्पष्ट नहीं है कि पाकिस्तान निमंत्रण स्वीकार करेगा या नहीं.

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एक दशक बाद पाकिस्तान के किसी शीर्ष नेता का होगा भारत दौरा

एससीओ शिखर सम्मेलन के अध्यक्ष देश के लिए निमंत्रण को एक रेगुलर रूटीन माना जाता है. लेकिन पाकिस्तान को न्यौता देना इसिलए भी मायने रखता है क्योंकि दोनों देशों के बीच रिश्ते काफी खराब चल रहे हैं.

अगर पाकिस्तान यह न्योता स्वीकार करता है तो एक दशक बाद पाकिस्तान के किसी शीर्ष नेता का पहला भारत दौरा होगा. इससे पहले अंतिम बार पाकिस्तान की पूर्व विदेश मंत्री हिना रब्बानी खार जुलाई 2011 में भारत आईं थीं.

शहबाज शरीफ ने पीएम मोदी से की थी अपील

हाल ही में 'अल अरबिया' चैनल को दिए इंटरव्यू में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने पीएम मोदी से बातचीत की अपील की थी. इंटरव्यू के दौरान शहबाज शरीफ ने कहा था, "भारत के साथ तीन युद्धों से हम सबक सीख चुके हैं. अब हम शांति से रहना चाहते हैं. हम एक दूसरे के पड़ोसी देश हैं और दोनों को एक दूसरे के साथ ही रहना है. भारत के साथ युद्ध पाकिस्तान के लोगों के लिए और अधिक दुख, गरीबी और बेरोजगारी ही लाई है." 

इसके जवाब में भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा था कि भारत पाकिस्तान के साथ अच्छे पड़ोसी संबंधों की उम्मीद करता है. लेकिन उससे पहले पाकिस्तान आतंकवाद और हिंसा मुक्त माहौल बनाए.  

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रूस और चीन को भी न्योता

पाकिस्तान के अलावा भारत ने मध्य एशियाई देशों के साथ-साथ चीन और रूस के विदेश मंत्रियों को भी निमंत्रण भेजा है. चीन और रूस को जी-20 समिट के लिए भी आमंत्रित किया गया है.

शंघाई सहयोग संगठन में भारत और पाकिस्तान के अलावा चीन,रूस, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान है.

इससे पहले भी भारत ने दिया था निमंत्रण

अगस्त 2015 में भी भारत ने पाकिस्तान के विदेश मंत्री सरताज अजीज को भारत आने का निमंत्रण दिया था. लेकिन भारत ने अजीज को हुर्रियत नेताओं से मिलने से परहेज करने के लिए कहा था जिसके बाद पाकिस्तानी विदेश मंत्री ने दौरा रद्द कर दिया था.

 

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