
बिहार विधानसभा की सभी 243 सीटों के परिणाम आ चुके हैं. रानीगंज सीट पर अचमित ऋषिदेव (JDU) और अविनाश मंगलम ऋषिदेव (RJD) के बीच मुकाबला रहा. इस रोमांचक मुकाबले में अचमित ऋषिदेव (JDU) ने महज 2304 वोटों से जीत दर्ज की. रानीगंट सीट पर तीसरे चरण के तहत 58.6% वोटिंग हुई थी.
इस बार चुनाव आयोग ने कोरोना के मद्देनजर वोटिंग के दौरान कई दिशा-निर्देश जारी किए थे, जिसमें मतदान कर्मियों द्वारा इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों (ईवीएम) की स्वच्छता, मास्क पहनना, थर्मल स्कैनिंग, सेनिटाइजर और पानी की उपलब्धता और अन्य मापदंडों का पालन सुनिश्चत कराया जाना शामिल था.

2015 विधानसभा चुनाव में रानीगंज से जेडीयू के अचमित ऋषिदेव जीते थे. उन्होंने बीजेपी के रामजी दास ऋषिदेव को पटखनी दी थी. अचमित ऋषिदेव को 77717, जबकि रामजी दास ऋषिदेव को 62787 वोट मिले थे. 2015 के चुनाव में बीजेपी और जेडीयू अलग-अलग मैदान में उतरे थे.
सीट का इतिहास
इससे पहले रानीगंज सीट पर 15 बार चुनाव हुए है. पहली बार चुनाव 1957 में हुआ था, तब इस सीट से कांग्रेस पार्टी के राम नारायण मंडल ने जीत दर्ज की थी. पिछले 15 चुनाव की बात की जाए तो 5 बार कांग्रेस, 3 बार बीजेपी, 2 बार जनता दल, 2 बार निर्दलीय, एक-एक बार जनता पार्टी, आरजेडी और जेडीयू ने जीत दर्ज करने में कामयाबी हासिल की है. यह सीट 1962 के बाद से आरक्षित (SC) है.
पिछड़ा क्षेत्र माना जाता है
रानीगंज विधानसभा सीट अररिया जिले में है, जो पिछड़ा क्षेत्र माना जाता है. 2011 की जनगणना के अनुसार, अररिया जिले की लगभग आबादी 28,11,569 है, जबकि रानीगंज विधानसभा सीट की आबादी करीब 482592 है. यहां की अर्थव्यवस्था मुख्य रूप से कृषि पर निर्भर करती है. इस जिला का मुख्य कृषि उत्पादन धान, मक्का और जूट हैं. 2006 में भारत सरकार ने अररिया जिला को देश के 250 सबसे पिछड़े जिलों में से एक नाम दिया था.