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नशीली दवाओं, मादक पदार्थों को पकड़ने वाले अफसरों को अब मिलेगा ज्‍यादा इनाम

इस नीति के मुताबिक किसी अधिकारी को अब एक बार में अधिकतम 50 हजार रुपये का इनाम मिल सकता है, लेकिन अपने पूरे करियर के दौरान वह इस तरह से अधिकतम 20 लाख रुपये इनाम का ही हकदार होगा.

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प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर
प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर

सरकार ने नशीली दवाओं, मादक पदार्थों को पकड़ने वाले अफसरों और इस कार्य में सहयोग करने वाले मुखबिरों और अन्‍य सहयोगियों को ज्‍यादा इनाम देने का निर्णय लिया है. यही नहीं इनाम देने के तरीके में भी बदलाव किया गया है. इस बारे में केंद्र सरकार ने नई गाइडलाइन जारी कर दी है.

गृह मंत्रालय द्वारा जारी बयान के अनुसार इस बारे में गाइडलाइन अक्‍टूबर माह में ही जारी की गई है. इस नीति के मुताबिक किसी अधिकारी को अब एक बार में अधिकतम 50 हजार रुपये का इनाम मिल सकता है, लेकिन अपने पूरे करियर के दौरान वह इस तरह से अधिकतम 20 लाख रुपये इनाम का ही हकदार होगा. हालांकि अन्‍य लोगों को भी अब एक बार में अधिकतम 2 लाख रुपये का इनाम दिया जा सकता है. लेकिन यह सेंट्रल रिवॉर्ड्स कमेटी की जांच के बाद ही इस पर मुहर लगेगी.

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पॉलिसी के अनुसार इनाम की 50 फीसदी राशि मामला चलने के पहले ही दी जात सकती है, लेकिन इसके लिए केमिकल लैब का रिजल्‍ट पॉजिटिव होना चाहिए. नीति के अनुसार किसी मुखबिर को इनाम देने से पहले इनाम मंजूर करने वाली अथॉरिटी को तथ्‍यों की पड़ताल करनी होगी, जैसे सूचना कितनी सही है, इसमें कितना जोखिम जुडा है और मुखबिर से किस हद तक मदद मिली है. इसके लिए शीर्ष एजेंसी नार्कोटिक्‍स कंट्रोल ब्‍यूरो को बनाया गया है.

नीति में कहा गया है कि इनाम देने को बिल्‍कुल आम चलन न बना दिया जाए.

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