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Crime Katha: पहले सास फिर पति का कत्ल, पड़ोसी राज्य में लाश के टुकड़े... एक बीवी की खूनी साजिश जान कर उड़ जाएंगे होश

कोई आम इंसान जिसका जुर्म की दुनिया से कोई नाता नहीं होता, लेकिन जब वो कोई जुर्म करता है तो पुलिस और कानून भी हैरान रह जाते हैं. क्राइम कथा में इस बार आपको बताएंगे एक ऐसी शातिर महिला की कहानी, जिसने एक नहीं दो-दो कत्ल किए और कानून की आंखों में धूल झोंकती रही.

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कातिल बहू वंदना कलिता की कहानी सुनकर पुलिस भी हैरान रह गई थी
कातिल बहू वंदना कलिता की कहानी सुनकर पुलिस भी हैरान रह गई थी

Crime Katha: कई ऐसे शातिर बदमाश और अपराधी होते हैं, जो कानून से खिलवाड़ करने की कोशिश करते हैं. पुलिस को चकमा देते हैं. बार-बार पुलिस के हाथ से निकल जाते हैं. वो सुबूतों को मिटाते हैं. गवाहों को धमकाते हैं. लेकिन एक ना एक दिन ऐसा है, जब वे पकड़े जाते हैं. ये तो बात रही पेशेवर अपराधियों की. लेकिन कई मामलों में ऐसा भी होता है कि कोई आम इंसान जिसका जुर्म की दुनिया से कोई नाता नहीं होता, लेकिन जब वो कोई जुर्म करता है तो पुलिस और कानून भी हैरान रह जाते हैं. क्राइम कथा में इस बार आपको बताएंगे एक ऐसी शातिर महिला की कहानी, जिसने एक नहीं दो-दो कत्ल किए और एक साल तक कानून की आंखों में धूल झोंकती रही. 

29 अगस्त 2022, गुवाहाटी
उस दिन एक परेशान महिला जिले के नूनमाटी पुलिस थाने में पहुंची. वहां जाकर वंदना कलिता नाम की उस महिला ने पुलिस को एक तहरीर दी और बताया कि उसके 32 वर्षीय पति अमरज्योति डे और 62 साल की सास शंकरी डे कहीं लापता हो गए हैं. उसने दोनों को तलाश करने की कोशिश की लेकिन वो नहीं मिले. पुलिस को यह बात बताकर वो महिला रोने लगी. पुलिस ने उसकी शिकायत सुनने के बाद उसे मदद का भरोसा दिया और कहा कि वे जल्द ही उसके पति और सास को ढूंढ निकालेंगे. इसके बाद पुलिस ने उसकी तहरीर पर मामला दर्ज कर लिया और मामले की गंभीरता को समझते हुए छानबीन शुरू कर दी. 

कजिन ने दर्ज कराई दूसरी शिकायत
पुलिस लापता हुए मां-बेटे का सुराग लगाने की कोशिश कर रही थी. उनके बारे में सभी थानों को इत्तिला दी गई थी. आस-पास के जिलों में भी पुलिस को उनके बारे में बताया गया. लेकिन उनका कोई सुराग नहीं मिला. फिर भी पुलिस अपना काम कर रही थी. नवंबर का महीना आ चुका था. तलाश जारी थी. इसी दौरान एक शख्स नूनमाटी पुलिस थाने पहुंचा. उसने खुद को लापता हुए अमरज्योति डे का कजिन बताते हुए पुलिस को एक तहरीर दी. जिसमें अमरज्योति डे और उनकी मां शंकरी डे के लापता होने की शिकायत के साथ-साथ अमरज्योति की पत्नी वंदना पर भी शक जाहिर किया गया था. साथ ही तहरीर में वादी ने बताया कि कुछ दिन पहले उनकी लापता आंटी के बैंक खाते से पैसे निकाल गए थे.  

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फरवरी में दोबारा थाने आई थी वंदना
अब पुलिस के पास एक ही मामले की दो शिकायतें दर्ज थी. लेकिन दोनों ही शिकायतों में एक फर्क था. वो ये कि नई शिकायत में पहली शिकायत दर्ज कराने वाली वंदना कलिता पर ही शक जाहिर किया गया था. अब पुलिस भी अलग-अलग एंगल से मामले की छानबीन कर रही थी. साल बदल चुका था. इसी दौरान 14 फरवरी 2023 को वंदना कालिता एक बार फिर पुलिस थाने पहुंची और वहां अपने पति और सास के बारे में पूछताछ की. पुलिस ने उसे जांच जारी होने की बात कहकर वहां से रवाना कर दिया.

ऐसे हुआ इस केस का खुलासा
हालांकि पुलिस अब उस पर नजर रख रही थी. उसका नंबर भी सर्विलांस पर था. पुलिस उसकी लोकेशन ट्रेस कर रही थी. इसी दौरान पुलिस को उसकी गतिविधियों पर शक हुआ और पुलिस ने फरवरी 2023 में वंदना को उसके एक साथी के साथ गुवाहाटी से गिरफ्तार कर लिया. अब बारी थी तीसरे किरदार की तो उसे भी पुलिस ने तिनसुकिया जिले से दबिश देकर गिरफ्तार कर लिया. वंदना के दोनों दोस्तों की शिनाख्त धंती डेका (32) और अरूप डेका (27) तौर पर की गई. जब पुलिस ने तीनों से पूछताछ की तो ऐसी खूनी साजिश निकलकर सामने आई, जिसे जानकर सब हैरान रह गए.

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घरवालों के खिलाफ जाकर की थी शादी
पुलिस को छानबीन के दौरान पता चला कि करीब 12 साल पहले वंदना और अमरज्योति ने अपने परिवारों की मर्जी के खिलाफ जाकर शादी की थी. हालांकि बाद में अमरज्योति की मां शंकरी डे अपनी बहू और इस शादी को स्वीकार कर लिया था. यही नहीं शंकरी अपने बेटे और बहू की रुपये पैसों से भी मदद करती थी. लेकिन बाद में अमरज्योति और वंदना के बीच झगड़ा होने लगा. अक्सर दोनों किसी ना किसी बात पर झगड़ते रहते थे.

जिम में नौकरी करने लगी थी वंदना
घर में विवाद और झगड़े की वजह से वंदना भी खासी परेशान रहने लगी थी. इसी वजह से उसने एक जिम में नौकरी कर ली. वो फिटनेस ट्रेनर के तौर पर वहां काम करती थी. शुरुआत में उसकी सास शंकरी ने उसका साथ दिया. वो उसे काम के लिए प्रोत्साहन देती थी. लेकिन ये सब ज्यादा दिनों तक नहीं चला. अचानक शंकरी डे बदल गई और वो बहू को सर्पोट करने की बजाय पीछे हट गई थी. यहीं से वंदना और उसकी सास के रिश्ते में खटास आ गई थी. 

वंदना ने बनाया खौफनाक प्लान
अब वंदना के मन में कुछ और ही चल रहा था. वो अपनी सास और पति को रास्ते से हटाने का मन बना चुकी थी. उसके दिलो दिमाग में रात दिन बस यही चल रहा था कि कैसे उन दोनों को रास्ते से हटाया जाए. उसे इस बात का अहसास भी था कि ये काम अकेले करना मुमकिन नहीं था. लिहाजा वंदना ने अपने दो दोस्तों को अपनी सारी कहानी सुनाई और उन्हें भी अपने खौफनाक प्लान में शामिल कर लिया. अब बस उसे सही मौके की तलाश थी.

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26 जुलाई 2022, चांदमारी - गुवाहाटी
उस दिन दोपहर का वक्त था. अमरज्योति किसी काम से बाहर गया हुआ था. घर में शंकरी और उनकी बहू वंदना अकेली थीं. शकंरी को ज़रा भी अंदाजा नहीं था कि अगले कुछ पलों में उनके साथ क्या होने वाला था. वो अपने में आराम कर रही थीं. तभी वंदना वहां पहुंची और बेड पर चढ़ गई. इससे पहले उसकी सास शंकरी कुछ समझ पाती, वंदना ने उनके नाक और मुंह पर तकिया रख दिया. शंकरी छटपटाती रही तड़पती रही लेकिन वंदना ने उसे नहीं छोड़ा और कुछ देर बाद शंकरी का शरीर शांत हो गया. वो दम तोड़ चुकी थी. अब वंदना ने अपने प्लान मुताबिक फौरन अपने दो दोस्तों को कॉल करके अपने घर बुला लिया. वे दोनों शख्स वहां पहुंच चुके थे. अब तीनों मिलकर पहले तेजधार हथियार से शंकरी की लाश के तीन टुकड़े कर दिए और फिर उन टुकड़ों को पॉलिथीन में बांधकर कार की डिग्गी डाला और पड़ोसी राज्य मेघालय की तरफ निकल गए. बॉर्डर क्रॉस करने के बाद उन्होंने शंकरी की लाश के टुकड़ों को अलग-अलग जगहों पर फेंक दिया और वापस गुवाहाटी लौट आए. 

शंकरी डे की तलाश 
जब अमरज्योति डे वापस आया और उसने अपनी मां के बारे में पूछा तो वंदना ने बताया कि वो किसी काम से बाहर गई हैं. अभी तक लौटकर नहीं आई. इसके बाद वो अपने पति के साथ मिलकर शंकरी डे को तलाश करने का नाटक करती रही. वक्त बीतता जा रहा था. अब वंदना को उस मौके का इंतजार था, जब वो अपने पति को रास्ते से हटा सके. इस दौरान वे शंकरी को तलाश करते रहे, लेकिन पुलिस के पास नहीं गए.

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17 अगस्त 2022, नरेंगी - गोवाहाटी
पुलिस के मुताबिक, आखिर वंदना को 17 अगस्त के दिन वो मौका मिल ही गया था, जिसकी उसे तलाश थी. उस दिन अमरज्योति डे और वंदना नरेंगी में अपने फ्लैट पर आए हुए थे. वो दोनों वहां अकेले थे. इसी दौरान वंदना ने अपने दोनों करीबी दोस्तों को फोन करके वहीं बुला लिया. अब मौका मिलते ही वंदना ने अपने दोनों साथियों के साथ मिलकर अमरज्योति पर एक रॉड से हमला कर दिया. उन्होंने उस पर इतने वार किए कि उसकी मौत हो गई. अब बारी थी लाश को ठिकाने लगाने की. लिहाजा, उन तीनों ने शंकरी की तरह ही अमरज्योंति की लाश 5 टुकड़े कर दिए. और फिर उन टुकड़ों को पॉलिथीन में पैक कर लिया. फिर उन पांच पॉलिथीन बैग्स को उन्होंने कार की डिग्गी में रखा और मेघालय की तरफ चल पड़े. फिर बॉर्डर पार करके उन्होंने लाश के टुकड़ों को अलग-अलग जगहों पर फेंक दिया और वापस लौट गुवाहाटी लौट गए.

मेघालय से बरामद हुए लाश के टुकड़े
पकड़े जाने के बाद वंदना कलिता ने पूछताछ के दौरान पुलिस के सामने दावा करते हुए बताया कि उसका पति नशा करता था, इतना ही नहीं, उसकी कई लड़कियों के साथ दोस्ती थी. इन सबकी वजह से ही उन दोनों के बीच आए दिन झगड़े हुआ करते थे. पूछताछ के बाद गुवाहाटी पुलिस तीनों आरोपियों को पड़ोसी राज्य के उन ठिकानों पर ले गई, जहां उन्होंने शंकरी डे और अमरज्योति की लाश के टुकड़े फेंके थे. इस काम लिए मेघालय पुलिस की मदद ली गई. और आरोपियों की निशानदेही पर पहले चेरापूंजी के पास खासी हिल्स से शंकरी डे की लाश के टुकड़े बरामद किए गए. बाद में दूसरी जगह से अमरज्योति की लाश के टुकड़े भी पुलिस ने बरामद कर लिए. 

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अहम सुबूतों की बरामदगी
पुलिस ने इस केस की छानबीन के दौरान मुख्य आरोपी वंदना और धंती के मोबाइल फोन, लाश के टुकड़ों को ले जाने वाली कार, दोनों मृतकों के एटीएम कार्ड, फटे हुए कपड़े और एक कंबल भी बरामद किया. ये वही कंबल था, जिसमें शंकरी डे की लाश को लपेटा गया था. ये सभी बरामद सामान फोरेंसिक जांच के लिए भेज दिया गया. पुलिस ने केस खुलासा करने के बाद वंदना समेत तीनों आरोपियों को अदालत में पेश किया. जहां से उन्हें जेल भेज दिया गया.
 

 

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