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क्या इटावा में व्यक्तिगत मामले को सियासत में उलझाकर जातिगत लड़ाई की कोशिश हुई? देखें हल्ला बोल

क्या इटावा में व्यक्तिगत मामले को सियासत में उलझाकर जातिगत लड़ाई की कोशिश हुई? देखें हल्ला बोल

क्या कथावाचक की जाति होनी चाहिए? क्या कथावाचक सिर्फ ब्राह्मण हो सकता है? ये सवाल उत्तर प्रदेश के इटावा के एक मामले से उठा है और जाति की सियासत का बड़ा मुद्दा बनता जा रहा है, क्योंकि समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इसे PDA- यानी पिछडा-दलित-अल्पसंख्यक के अधिकार से जोड़ दिया है. देखें हल्ला बोल.

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