22 अप्रैल को कश्मीर के पहलगाम में आतंकी अटैक (Pahalgam Terror Attack) ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया. कल्पना भी नहीं की जा सकती थी कि जहां हर साल लाखों पर्यटक अपनी फैमिली के साथ छुट्टियां मनाने और जिंदगी की कुछ खूबसूरत यादें जोड़ने जाते हैं, वहां कुछ ऐसा भी हो जाएगा. आतंकवादियों ने 26 लोगों को पहचान पूछकर मार डाला. जान गवांने वालों में ज्यादातर पर्यटक ही थे.
किसी की हाल ही में शादी हुई थी, तो कोई पैसे जुटाकर अपने फैमिली के साथ उस डेस्टिनेशन पर खुशी के पल बिताने गया था, लेकिन उन्हें इन डरपोक आतंकवादियों के हमले (Terrorist Attack in J&K) का जरा भी इल्म नहीं था. इस घटना का आक्रोश जम्मू-कश्मीर से लेकर पूरे देश में है. लोगों का गुस्सा पाकिस्तान पर फूट रहा है. सोशल मीडिया से पूरी दुनिया तक में पाकिस्तान की इस करतूत की थू-थू हो रही है.
सरकार ने लिए कड़े फैसले
भारत सरकार ने पाकिस्तान की इस हरकत पर कड़े फैसले लिए हैं. बुधवार को PM मोदी की अध्यक्षता में हुई सीसीएस की बैठक में भारत ने सिंधु जल समझौते को तत्काल प्रभाव से रोक देने का फैसला लिया है. साथ ही पाकिस्तान में भारतीय दूतावास बंद कर दिया गया है और ऑटारी बॉर्डर भी सील कर दिए गए हैं. पाकिस्तानी राजनयिकों को 48 घंटे में देश छोड़ने का आदेश भी दिया है.
तरक्की की पटरी पर था कश्मीर
इस आतंकी हमले से ये तो साफ है कि पाकिस्तान को इसका करारा जवाब मिलेगा, लेकिन धारा 370 हटने के बाद से J&K में अमन और शांति लौट आई थी, उसपर ग्रहण लगाता हुआ नजर आ रहा है. जो टूरिज्म इंडस्ट्री वहां तेजी से फैल रही थी, अब उस इंडस्ट्री को बड़ झटका लगा है. लोगों के अंदर कश्मीर जाने को लेकर एक डर पैदा हो गया है.
हमले से इन सेक्टर्स पर होगा गहरा असर!
इस हमले का असर कश्मीर के सभी सेक्टर्स पर पड़ सकता है. खासकर पर्यटन पर ज्यादा प्रभाव दिखाई दे सकता है. वहां पर होटल, कंपनी खोलने और फल का व्यापार करने का इरादा रखने वाले निवेशकों का विश्वास हिल सकता है. इससे सालों की मेहनत के बाद वापस स्थिर हुई कश्मीर की आर्थिक प्रगति पटरी से उतर सकती है. इतना ही नहीं, कश्मीर के लोगों की इनकम पर भी गहरा असर दिखाई पड़ सकता है.
अभी तक मजबूत रही है कश्मीर की इकोनॉमी
अभी तक जम्मू और कश्मीर की आर्थिक प्रगति मजबूत रही है. 2024-25 के लिए इसकी रीयल GSDP 7.06% की दर से बढ़ने का अनुमान है, जबकि नॉमिनल GSDP ₹2.65 लाख करोड़ होने का अनुमान है, जो निरंतर तरक्की का संकेत है. 2019 और 2025 के बीच, केंद्र शासित प्रदेश ने 4.89% की चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर (CAGR) दर्ज की, जबकि प्रति व्यक्ति आय (Per Capita Income) वित्त वर्ष 25 में ₹1,54,703 तक पहुंचने की उम्मीद थी, जो साल-दर-साल 10.6% अधिक है.
यह शानदार तरक्की ऐसे ही नहीं है, बल्कि 2018 में आतंकवादी घटनाओं की संख्या 228 से घटकर 2023 में सिर्फ 46 रह गई थी, जो 99% की गिरावट है. यह अभी तक शांति का ही फायदा था, जिसने निवेश, पर्यटन का ध्यान कश्मीर की ओर खींचा.
21000 करोड़ दांव पर
इस हमले से सबसे ज्यादा नुकसान यहां के टूरिज्म को होगा. यह एक ऐसा सेक्टर है जो कश्मीर की GSDP में 7-8% का योगदान देता है. इकोनॉमिक सर्वे और बजट दस्तावेजों में पर्यटन क्षेत्र के लिए कोई खास आंकड़ा नहीं दिया गया है, लेकिन GSDP 2.65 लाख करोड़ रुपये होने के कारण पर्यटन का सालाना मूल्य 18,500–21,200 करोड़ रुपये के बीच है. सरकार ने अगले 4-5 वर्षों में जीएसडीपी में पर्यटन की हिस्सेदारी को 7% से बढ़ाकर कम से कम 15% करने का महत्वाकांक्षी लक्ष्य रखा है.
कश्मीर में चरम पर था पर्यटन
पहलगाम में आतंकी हमला ऐसे समय पर हुआ जब पर्यटकों का मौसम चरम पर था. इस हमले के कारण लोगों ने अपनी यात्रा रद्द कर दी है. खासकर पूर्वी भारत से आने वाले, सबसे ज्यादा 30% पर्यटक पश्चिम बंगाल से आते हैं. 2020 में 34 लाख पर्यटक आए थे, जबकि 2024 में यह संख्या बढ़कर 2.36 करोड़ हुई थी, जिसमें 65,000 विदेशी पर्यटक भी शामिल थे. 2025 की शुरुआत भी अच्छी रही थी. श्रीनगर के ट्यूलिप गार्डन में सिर्फ 26 दिनों में 8.14 लाख पर्यटक आए थे.
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