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मैं भाग्य हूं: दूसरों की बात भी सुनें, फिर करें फैसला

मैं भाग्य हूं: दूसरों की बात भी सुनें, फिर करें फैसला

कई बार ऐसा होता है कि आप अपनी बात को लेकर अड़ जाते हैं कि आप ही सही हैं और बाकी सब गलत हैं. लेकिन ये भी हो सकता है कि आपको सिक्के का एक ही पहलू दिखाई दे रहा हो, इसलिए आपको दूसरों की बात को भी सुनना चाहिए और कभी भी बेकार की बहस में नहीं पड़ना चाहिए. दूसरों की बात सुनकर ही सही-गलत का फैसला करना चाहिए.

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