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एट्रोसिटी एक्ट पर CM शिवराज का बड़ा ऐलान, ग्वालियर-चंबल में हुई हिंसा से जुड़े मुकदमे होंगे वापस

मध्य प्रदेश के ग्वालियर चंबल संभाग में एट्रोसिटी एक्ट (Atrocity Act) को लेकर 2018 में हुई हिंसक घटनाओं से जुड़े सभी केस सरकार वापस लेगी. यह ऐलान मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chouhan) ने किया है. उन्होंने कहा कि गलतफहमी के कारण ऐसी स्थिति हो गई थी.

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मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान. (File Photo)
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान. (File Photo)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • 2018 में ग्वालियर चंबल संभाग में सवर्णों व दलितों में हुआ था विवाद
  • सीएम बोले- कुछ गलतफहमियों की वजह से बन गई थी यह स्थिति

मध्य प्रदेश में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chouhan) ने बड़ी घोषणा की है. सीएम शिवराज सिंह चौहान ने घोषणा करते हुए कहा है कि अप्रैल 2018 में ग्वालियर-चंबल संभाग में एट्रोसिटी एक्ट (Atrocity Act) को लेकर हुई हिंसा में जिन लोगों के खिलाफ केस दर्ज हुआ, उसे वापस लिया जाएगा. इसका लाभ अनुसूचित जाति, जनजाति और सामान्य वर्ग को मिलेगा.

दरअसल, 2018 के विधानसभा चुनाव से पहले एट्रोसिटी एक्ट को लेकर ग्वालियर चंबल संभाग में जमकर हिंसा हुई थी. इस घटना के चलते दलित और सवर्णों के बीच विवाद की स्थिति बन गई थी और हिंसक घटना में 6 लोगों की मौत हो गई थी. इसके बाद दोनों पक्षों के कई लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया था.

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अब शिवराज सरकार ने इन सभी केसों को वापस लेने का फैसला किया है. खुद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने इसकी घोषणा करते हुए कहा कि कुछ गलतफहमियों के कारण यह स्थिति बनी थी. पिछले दिनों दोनों समाज के लोगों ने ग्वालियर में उनसे मुलाकात की थी. इस दौरान केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और कैबिनेट के कई मंत्री भी मौजूद थे. 2018 में जो सवर्णों और दलितों के बीच विवाद को लेकर सवर्णों पर एट्रोसिटी एक्ट के तहत जो मामले दर्ज किए गए थे, वहीं दलितों पर भी जो केस दर्ज किए गए थे, उन सभी को वापस लेने का फैसला सरकार ने किया है.

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