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ड्रोन ट्रायल फेल! ऋषिकेश एम्स से ब्लड लेकर भेजा गया कोटद्वार, लैंडिंग के समय हुआ क्रैश

अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) ऋषिकेश ड्रोन के जरिए पर्वतीय इलाकों में दवा भेजने की कोशिश को झटका लग गया. कोटद्वार बेस हॉस्पिटल के लिए भेजा गया ड्रोन लैंडिंग के वक्त दुर्घटनाग्रस्त हो गया. हालांकि इस घटना में किसी शख्स हो कोई नुकसान नहीं हुआ.

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ऋषिकेश एम्स पर्वतीय इलाकों में मेडिकल सर्विस शुरू करने की कर रहा कोशिश
ऋषिकेश एम्स पर्वतीय इलाकों में मेडिकल सर्विस शुरू करने की कर रहा कोशिश

ऋषिकेश एम्स का पहाड़ के दुर्गम इलाकों में ड्रोन से मेडिकल सहायता भेजने का ट्रायल फेल हो गया. ड्रोन को सोमवार को कोटद्वार बेस हॉस्पिटल के लिए ब्लड कंपोनेंट लेकर भेजा गया था लेकिन वह सुरक्षित नहीं उतर पाया. ड्रोन रास्ते में ही दुर्घटनाग्रस्त हो गया. 

जानकारी के मुताबिक एम्स की कार्यकारी निदेशक प्रोफेसर मीनू सिंह ने सोमवार को दोपहर 12:45 बजे ड्रोन को ऋषिकेश एम्स से कोटद्वार बेस हॉस्पिटल के लिए रवाना किया था, करीब डेढ़ घंटे बाद भी वह कोटद्वार के सिडकुल क्षेत्र जशोधरपुर में एक लिप्टिस के पेड़ से टकरा गया. ड्रोन का पायलट बेस हॉस्पिटल कोटद्वार की छत पर ड्रोन का इंतजार कर रहा था, तभी उसे मैसेज से जानकारी मिली कि ड्रोन कोटद्वार क्षेत्र में ही कहीं आपातकालीन लैंडिंग कर चुका है. जब मौके पर जाकर देखा तो ड्रोन पेड़ से टकराकर पूरी तरह टूट गया था.

ड्रोन की पायलट स्नेह ने बताया कि यह ट्रायल फ्लाइट थी, जो कि टेक्निकल फॉल्ट या मौसम के कारण पेड़ से टकरा गया जबकि ड्रोन की 400 फीट ऊंचाई तक उड़ने की क्षमता है. अन्य जानकारियां जांच के बाद ही पता चल पाएगी. वहीं कोतवाली प्रभारी मणि भूषण श्रीवास्तव ने बताया कि ड्रोन के क्रैश होने से किसी और का नुकसान नहीं हुआ है.

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मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक एक्स ऋषिकेश की ओर से टिहरी के बौराड़ी में ड्रोन के जरिए कम समय के भीतर दवा पहुंचाने का सफल प्रयोग किया गया था. अगले चरण में यमकेश्वर क्षेत्र में ड्रोन से दवा भेजने का काम किया गया. अब ब्लड कंपोनेंट कोटद्वार भेजने की योजना थी, लेकिन यह प्रयोग फेल हो गया.


 

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