भारत और चीन के बीच बॉर्डर पर जारी विवाद को सुलझाने के लिए लगातार बातचीत का सिलसिला जारी है. सोमवार को भी दोनों देशों के बीच ब्रिगेडियर कमांडर, कमांडर ऑफिसर लेवल की बातचीत हो रही है. मई से जारी इस विवाद को सुलझाने के लिए अब लगभग हर रोज ही दोनों देशों के अफसर बात कर रहे हैं.
सोमवार को PP14 इलाके के पास बातचीत हो रही है. जिसमें गलवान इलाके में सैनिकों को वापस भेजने और फिर अप्रैल से पहले जैसी सामान्य स्थिति कायम करने को लेकर चर्चा जारी है.
अबतक दोनों देशों के बीच पांच राउंड की बातचीत हो गई है, जिसमें मेजर जनरल लेवल, कॉर्प्स कमांडर लेवल, लेफ्टिनेंट जनरल लेवल की बातचीत हुई है. हालांकि, अभी तक कोई ठोस नतीजा नहीं निकला है.
बीते दिनों खबर आई थी कि दोनों देशों की सेनाओं ने मामले को शांत करने के लिए कुछ किमी. तक अपने सैनिकों को पीछे हटा लिया है. हालांकि, भारत चीन की सेना को पूरी तरह से हटाना चाहता है और अप्रैल से पहले की स्थिति वापस लाना चाहता है.
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दोनों देशों की सेनाएं मई की शुरुआत में पेंगोंग झील के पास आमने-सामने आ गई थीं. तब दोनों के सैनिकों के बीच हाथापाई तक की नौबत आ गई थी. उसी के बाद चीन ने उस पार अपने सैनिकों की संख्या बढ़ा ली, साथ ही कुछ निर्माण भी किया. जिसका भारत ने विरोध किया और भारत ने भी सैनिकों की संख्या बढ़ाई. हालांकि, भारत की ओर से बातचीत के रास्ते को पूरी तरह से खुला रखा गया.
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह बीते दिनों में कई बार बयान दे चुके हैं कि चीन के साथ हर लेवल पर बात हो रही है और सरकार देश का मस्तक नहीं झुकने देगी. दूसरी ओर कांग्रेस नेता राहुल गांधी लगातार इस मसले पर सरकार पर हमलावर हैं. राहुल गांधी ने आरोप लगाया है कि चीनी हमारे लद्दाख में घुस गए हैं और सरकार मौन बैठी है.