scorecardresearch
 

दिल्ली के स्कूलों में सुरक्षा का रियलिटी चेक- CCTV नदारद, आईकार्ड की पूछ नहीं

दिल्ली के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले किसी भी छात्र-छात्रा के पास कोई पहचान पत्र नहीं है.

Advertisement
X
स्कूलों में बच्चों की सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ी है
स्कूलों में बच्चों की सुरक्षा को लेकर चिंता बढ़ी है

गुरुग्राम के रेयान इंटरनेशनल स्कूल में दूसरी क्लास के मासूम स्टूडेंट प्रद्युम्न की हत्या के बाद आजतक ने राजधानी दिल्ली के स्कूलों की सुरक्षा को लेकर रियलिटी चेक किया. राजधानी में रहने वाले बच्चों के परिजन यह जानकर सदमे में चले जाएंगे कि आज तक ने रियलिटी चेक में पाया कि दिल्ली सरकार के अंतर्गत आने वाले स्कूलों में कहीं भी सीसीटीवी कैमरे लगे ही नहीं हैं. यानि राजधानी के सरकारी स्कूलों में किसी पर कोई निगरानी नहीं है.

स्टूडेंट्स के पास आइडेंटिटी कार्ड तक नहीं

आप यह जानकर भी हैरान रह जाएंगे कि दिल्ली के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले किसी भी छात्र-छात्रा के पास कोई पहचान पत्र नहीं है. इस पर एक स्कूल के टीचर ने सफाई देते हुए कहा कि 8वीं क्लास तक के बच्चों के लिए ही आइडेंटिटी कार्ड का फंड आता है, ऐसे में आठवीं से ऊपर किसी भी क्लास के स्टूडेंट के पास आइडेंटिटी कार्ड नहीं है.

Advertisement

वहीं रियलिटी चेक के दौरान कई बच्चों ने आजतक से कहा कि उन्हें स्कूल के बाहर खुद को स्टूडेंट साबित करने में बड़ी परेशानी होती है.

थर्ड पार्टी स्टाफ की वेरिफिकेशन नहीं

स्कूल में प्रवेश करते ही आजतक की टीम को जो गार्ड मिला, वह एक प्राइवेट एजेंसी द्वारा नियुक्त था. हालांकि यह व्यवस्था भी कामचलाऊ ही नजर आई, क्योंकि गार्ड खुली धूप में बैठा हुआ था, न गार्ड के लिए किसी कमरे की व्यवस्था थी और न ही अंदर सूचना भेजने के लिए गार्ड के पास कोई फोन/वाकी टाकी. यहां तक कि विभिन्न परिस्थितियों से निपटने के लिए गार्ड के पास कोई डंडा या हथियार भी नहीं था.

गार्ड ने बताया कि पूरे स्कूल में 3 हजार बच्चे हैं, पर स्कूल की सुरक्षा के लिए केवल 3 गार्ड रखे गए हैं, वह भी बगैर किसी सुविधा के.

इस मसले पर दिल्ली सरकार के शिक्षकों की संस्था जीएसटीए के महासचिव अजयवीर यादव ने बताया कि कई बार दिल्ली सरकार को मांग पत्र भेजे जा चुके हैं.

रियलिटी चेक के दौरान दिल्ली के सरकारी स्कूलों में साफ-सफाई तो खूब नजर आई, लेकिन सुरक्षा इंतजाम बिल्कुल नजर नहीं आए.

वसंत कुंज रेयान स्कूल में बस ड्राइवरों का 9 साल से पुलिस वेरिफिकेशन नहीं

Advertisement

आजतक की एक टीम आज रेयान इंटरनेशनल स्कूल के वसंत कुंज ब्रांच का जायजा लेने भी पहुंची. वसंत कुंज के रेयान इंटरनेशनल स्कूल के एक बस ड्राइवर ने आजतक की टीम से कबूला कि पिछले 9 साल में उनका पुलिस वेरिफिकेशन ही नही करवाया गया है.

वसंत कुंज रेयान इंटरनेशनल स्कूल में बच्चों को स्कूल पहुंचाने के बाद सुबह 9 बजे बसों की लंबी कतार के साथ ड्राइवर एक फॉर्म भरने में व्यस्त थे. रियलिटी चेक के दौरान बस ड्राइवरों के पास आईडी कार्ड तक मौजूद नहीं था.

आईडी कार्ड के सवाल पर किसी ड्राइवर ने कहा कि आईडी कार्ड कपड़े के साथ धुल गया तो किसी ने घर पर भूल जाने का बहाना बनाया. हैरान करने वाली बात यह रही कि बस के फर्स्ट एड बॉक्स में एक्सपायर हो चुकी क्रीम और डेटॉल की शीशी रखी मिली. मतलब साफ है कि वसंत कुंज के रेयान इंटरनेशनल स्कूल ने दुर्घटना की स्थिति में बच्चों की प्राथमिक चिकित्सा तक का इंतजाम नहीं किया है.

इस बीच कई बस ड्राइवर पुलिस वेरिफिकेशन फॉर्म लिए भी नजर आए. सभी ड्राइवरों ने कबूल किया कि उनका पुलिस वेरिफिकेशन नहीं हुआ है. कई ड्राइवरों बताया कि वे 9 साल से रेयान इंटरनेशनल स्कूल की बस चला रहे हैं, लेकिन कभी पुलिस वेरिफिकेशन नही हुआ.

Advertisement

यह सारी कुव्यवस्था साफ बताती है कि गुरुग्राम के रेयान इंटरनेशनल स्कूल में इतना बड़ा हादसा होने के बाद भी रेयान ग्रुप प्रबंधन ने कोई सबक नहीं लिया है और बच्चों की सुरक्षा के साथ खिलवाड़ जारी रखी हैं.

एक दिन पहले ही आजतक की टीम नोएडा एक्सटेंशन स्थित रेयान इंटरनेशनल स्कूल भी रियलिटी चेक के लिए गई थी और वहां भी कई तरह की गड़बड़ियां और सुरक्षा खामियां नजर आई थीं.

 

Advertisement
Advertisement