केंद्रीय गृहमंत्री पी. चिदंबरम ने पूर्व दूरसंचार मंत्री ए. राजा के आरोपों को ठुकराते हुए कहा है कि वे चाहते थे कि 2जी स्पेक्ट्रम का आवंटन बोली के जरिए ही हो.
चिदंबरम ने 2जी स्पेक्ट्रम आवंटन विवाद पर कहा कि दूरसंचार विभाग लाइसेंसों के लिये 2001 में तय दर बनाये रखना चाहता था, जबकि वित्त मंत्रालय की राय थी कि नई दर तय करने के लिये नीलामी होनी चाहिये.
चिदंबरम ने सफाई पेश करते हुए कहा, यूनिटेक और स्वान टेलीकॉम ने विदेशी भागीदारों को स्पेक्ट्रम नहीं बेचा, प्रवर्तकों द्वारा नये शेयर जारी कर उन्हें शामिल किया गया था.
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की उपस्थिति में प्रवर्तकों द्वारा नये शेयर जारी कर विदेशी भागीदारों को शामिल करने पर चर्चा की गई थी और यूनिटेक अथवा स्वान टेलीकॉम ने स्पेक्ट्रम नहीं बेचा था.
चिदंबरम ने कहा कि वित्त मंत्रालय ने केवल इस बात की परख की थी कि स्वान टेलिकॉम और यूनिटेक अपनी हिस्सेदारी बेच रहे हैं या नये शेयर जारी कर अपना हिस्सा कम कर रहे हैं.