मनीष तिवारी ने चुनाव सुधार पर चर्चा करते हुए कहा कि लोकतंत्र के दो मुख्य भागीदार 98 करोड़ मतदाता और राजनीतिक दल हैं. उन्होंने बताया कि देश में चुनाव आयोग की स्थापना एक न्यूट्रल अंपायर की आवश्यकता को देखकर हुई थी. उन्होंने यह भी बताया कि पिछले 78 साल में सबसे बड़ा चुनाव सुधार राजीव गांधी की सरकार ने किया था, जब मतदान की उम्र 18 वर्ष कर दी गई. मनीष तिवारी ने कहा कि आज चुनाव आयोग की निष्पक्षता पर सवाल उठ रहे हैं और 2023 में बने चुनाव कानून में सुधार आवश्यक है.