जम्मू-कश्मीर के पहलगाम आतंकी हमले में मारे गए संतोष जगदाले की बेटी ने 'ऑपरेशन सिंदूर' पर बड़ी खुशी जताई. इस भयावह आतंकी हमले में निर्दोष लोगों की जान का बदला लेने के लिए सरकार और भारतीय सेना के प्रयासों की सराहना की.
एक न्यूज एजेंसी से बातचीत में असावरी जगदाले ने कहा, भारत ने 'ऑपरेशन सिंदूर' शुरू करके पहलगाम हमले के पीड़ितों को सच्ची श्रद्धांजलि दी और न्याय दिलाया. असावरी ने बताया कि ऑपरेशन का नाम पीड़ितों की विधवाओं के प्रति एकजुटता दर्शाता है.
उन्होंने कहा, ''हमारे रिश्तेदारों से हमें ऑपरेशन सिंदूर के बारे में फोन आए. भारत ने इन हवाई हमलों के जरिए पहलगाम हमले का बदला लिया है. मिशन का नाम 'सिंदूर' सुनकर मैं बहुत भावुक हो गई. जब अमित शाह श्रीनगर में मृतकों को श्रद्धांजलि देने आए थे, तब जिन बहनों ने अपने पति खोए थे, वे गिड़गिड़ा रही थीं. मुझे लगता है कि इसी वजह से ऑपरेशन का यह नाम रखा गया.''
असावरी ने आगे कहा, ''पति और पिता का नुकसान व्यर्थ नहीं गया. भारत ने हमला करके पीड़ितों को वास्तविक श्रद्धांजलि दी है.। मैं 15 दिनों के भीतर न्याय दिलाने के लिए धन्यवाद देती हूं.''
यह कार्रवाई पहलगाम आतंकी हमले का बदला लेने और भारत में आतंकी हमलों की योजना बनाने व अंजाम देने वाले जैश-ए-मोहम्मद (JEM) और लश्कर-ए-तैयबा (LET) के नेताओं को निशाना बनाने के लिए की गई.
रक्षा मंत्रालय ने अपने बयान में कहा, ''कुछ समय पहले, भारतीय सशस्त्र बलों ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत जम्मू-कश्मीर में आतंकी ढांचे को निशाना बनाकर 'ऑपरेशन सिंदूर' शुरू किया, जहां से भारत के खिलाफ आतंकी हमलों की योजना बनाई और संचालित की जाती थी.''
बयान में आगे कहा गया, ''हमारी कार्रवाई केंद्रित, नपी-तुली, और गैर-उत्तेजक रही. किसी भी पाकिस्तानी सैन्य ठिकाने को निशाना नहीं बनाया गया. भारत ने लक्ष्यों के चयन और निष्पादन में काफी संयम दिखाया.''
न्यूज एजेंसी ने सूत्रों के हवाले से बताया कि भारतीय सशस्त्र बलों ने समन्वित अभियान में विशेष सटीक हथियारों का उपयोग कर 9 आतंकी ठिकानों पर सफलतापूर्वक हमला किया. इनमें पाकिस्तान के बहावलपुर, मुरीदके, और सियालकोट में 4 और पीओजेके में पांच ठिकाने शामिल हैं. यह अभियान भारतीय सेना, नौसेना, और वायुसेना द्वारा संयुक्त रूप से संचालित किया गया, जिसमें विभिन्न परिसंपत्तियों और सैनिकों को शामिल किया गया.
सूत्रों ने पुष्टि की कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रातभर 'ऑपरेशन सिंदूर' की निगरानी की. सभी 9 ठिकानों पर हमले सफल रहे. भारतीय बलों ने भारत में आतंकी गतिविधियों को प्रायोजित करने वाले जैश-ए-मोहम्मद और लश्कर-ए-तैयबा के शीर्ष नेताओं को निशाना बनाने के लिए इन स्थानों का चयन किया.