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Film Review: कैसी है फिल्‍म 'सत्‍या 2'

रामगोपाल वर्मा पंद्रह साल बाद अपनी फिल्म सत्या का सीक्वेल लेकर आए हैं. आइए जानते है कैसी है यह फिल्म:

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सत्‍या 2
सत्‍या 2

रेटिंग: एक स्टार
रामगोपाल वर्मा की सत्या ने 1998 में जबरदस्त तहलका मचाया था और बॉलीवुड में अंडरवर्ल्ड के नए चेहरे को पेश किया था. इस फिल्म के बाद उन्होंने कंपनी और सरकार जैसी बेहतरीन फिल्में दीं. पिछले कुछ दिनों से उनकी सत्या-2 को लेकर सरगर्मियां थीं. लेकिन फिल्म रामू के नाम एक और असफलता जोड़ती नजर आती है. उन्होंने एक कोशिश की लेकिन अपनी पिछली सभी कोशिशों की तरह उन्होंने निराश किया. फिल्म किसी भी मायनों में अपनी पिछली फिल्म से कनेक्ट नहीं करती और दर्शकों को किसी भी तरह से खुद से जोड़ने का काम नहीं करती है. यह कहना गलता नहीं होगा कि सत्या अगर बॉलीवुड में मील का पत्थर थी, तो यह फिल्म ऐसी है, जिसे बॉलीवुड याद नहीं रखना चाहेगा. फिल्म देखकर तो यही कहा जा सकता है कि वह अपना जादुई स्पर्श खो बैठे हैं.

कहानी में कितना दम
एक युवा है, उसका अंडरवर्ल्ड पर छा जाने का ख्वाब है. बस वह अपने इस ख्वाब को पूरा करने के लिए आगे बढ़ता है और मुंबई आता है. लेकिन कहानी में इतने झोल हैं कि यह कहीं भी कनेक्ट नहीं करती है, और एक समय पर आकर बोझिल होती नजर आती है. फिल्म का एक भी सितारा कुछ कमाल नहीं करता है. पुनित सिंह कहीं-कहीं अच्छे बाकी जगह कुछ भी असर नहीं छोड़ते हैं. अनैका सोती भी यूजलेस ब्यूटी ही रही हैं. बाकी सब आते-जाते रहते हैं.

कमाई की बात

फिल्म का बजट लगभग 15-20 करोड़ रु. बताया जा रहा है. फिल्म में एक्स फैक्टर नाम की बातें बहुत कम हैं. रामू पूरी फिल्म में कुछ उलझे से नजर आते हैं, और कहानी कभी ट्रैक पर नहीं आ पाती है. इसलिए कमाई के मामले में फिल्म के बहुत सौभाग्यशाली रहने की उम्मीद कम ही है. यह कहना गलत नहीं होगा कि शोले का रीमेक बनाकर रामू ने खूब आलोचना झेली थी. अब उन्होंने 15 साल बाद सत्या का सीक्वेल बनाकर भी कुछ ऐसा ही कर दिखाया है.

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