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इंसानी खोपड़ी, 100 हड्डियां और नया गवाह... धर्मस्थल में 7वें दिन खुदाई के बाद हड़कंप, लड़की की मां ने बढ़ाया सस्पेंस

Dharmasthala Mass Burial Case: कर्नाटक के धर्मस्थल के जंगलों में चल रही खुदाई अभियान का सातवां दिन रोमांच, रहस्य और दहशत से भरा रहा. 4-5 अगस्त को स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (एसआईटी) ने शिकायतकर्ता सफाई कर्मचारी की निशानदेही पर साइट नंबर 11-11ए की खुदाई शुरू की तो हैरान रह गई.

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खुदाई अभियान का सातवां दिन रोमांच, रहस्य और दहशत से भरा रहा. (Photo: ITG)
खुदाई अभियान का सातवां दिन रोमांच, रहस्य और दहशत से भरा रहा. (Photo: ITG)

कर्नाटक के दक्षिण कन्नड़ जिले के धर्मस्थल के जंगलों में चल रही खुदाई अभियान का सातवां दिन रोमांच, रहस्य और दहशत से भरा रहा. 4-5 अगस्त को स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (एसआईटी) ने शिकायतकर्ता सफाई कर्मचारी की निशानदेही पर साइट नंबर 11-11ए की खुदाई शुरू की तो हैरान रह गई. इस दौरान करीब 100 इंसानी हड्डियां बरामद हुईं. पहली बार इंसानी हड्डियों के साथ खुदाई में एक इंसानी खोपड़ी भी मिली है.

इस खोपड़ी के अलावा जो हड्डियां मिली हैं, उनमें रीढ़, जांघ और जबड़े की हड्डियां शामिल हैं. सूत्रों की मुताबिक छोटी-छोटी हड्डियों के अलावा रीढ़ की दो लंबी हड्डियां भी मिली हैं. इस जगह खुदाई से इंसानी कंकाल के ये अवशेष मिले हैं, वहीं से एक लाल रंग की साड़ी भी मिली है. ये साड़ी एक पेड़ से 6 फीट की ऊंचाई पर बंधी हुई मिली है. हड्डियों की संख्या को देखते हुए ऐसा माना जा रहा है कि ये दो इंसानों की हो सकती हैं.

मंगलवार की सुबह 11 बजे एसआईटी, फॉरेंसिक एक्सपर्ट्स, सीन ऑफ क्राइम ऑफिसर्स और मजदूरों का पूरा लाव-लश्कर एक बार फिर जंगल की तरफ बढ़ा. इससें पहले साइट नंबर 11 की खुदाई सोमवार को ही होनी थई, लेकिन शिकायतकर्ता सफाई कर्मचारी के इशारे पर खुदाई करीब 100 मीटर आगे शिफ्ट कर दी गई. इस दौरान सामने आए नतीजों ने सबको सकते में डाल दिया था. यहां से कई बड़े सबूत मिले थे.

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सील कर दिए गए बरामद सबूत

4 अगस्त की शाम तकरीबन 7 घंटे की मशक्कत के बाद जब टीम जंगल से बाहर लौटी तो उनके हाथों में कई सील किए गए सबूत थे. कोई बाल्टी, कोई बकेट, कोई बड़े पॉलिथिन बैग और तो कोई सील पैक उपकरण. जंगल से बाहर निकलते ही एक-एक कर अफसर और मजदूर इन सामानों को पुलिस वैन में रख रहे थे. लोगों की भीड़ उस वैन की ओर टकटकी लगाए देख रही थी कि आखिर खुदाई में क्या मिला है.

अनन्या भट्ट की मां की उम्मीद

जैसे-जैसे लाशों की पहेली खुल रही है, वैसे-वैसे 22 साल पुराना गुमशुदगी का केस फिर से जिंदा हो गया है. साल 2003 में धर्मस्थल से एमबीबीएस फर्स्ट ईयर की छात्रा अनन्या भट्ट लापता हो गई थी. उसकी मां सुजाता भट्ट तब से अपनी बेटी को ढूंढ रही हैं. बेलथांगड़ी पुलिस ने उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट तक दर्ज नहीं की थी. सुजाता पर तो मंदिर से जुड़े बड़े लोगों के घर मदद मांगने जाने पर हमला भी हुआ था.

Dharmasthala Mass Burial Case

महिला का कंकाल भी बरामद?

इसके चलते वो महीनों अस्पताल में कोमा में रहीं. लेकिन अब शिकायतकर्ता सफाई कर्मचारी के सामने आने और खुदाई शुरू होने के बाद उन्हें दोबारा उम्मीद जगी है. इस बार उन्होंने वकील मंजूनाथ एम. के जरिए एसआईटी से औपचारिक शिकायत दर्ज कराई है. वकील ने दावा किया है कि सोमवार की खुदाई में कम से कम तीन लोगों के कंकाल बरामद हुए हैं, जिनमें एक महिला का कंकाल भी शामिल है. 

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केस में नए गवाह से हड़कंप

उन्होंने यह भी बताया कि खुदाई स्थल तक पहाड़ी चढ़ाई के दौरान कई लोग फिसलकर घायल भी हुए. इसी बीच धर्मस्थल का ही एक लोकल गवाह जयंत टी सामने आया. जयंत का दावा है कि करीब 15 साल पहले एक 13 से 15 साल की लड़की की संदिग्ध हालात में मौत हुई थी. उस समय उन्होंने पुलिस को शिकायत दी थी, लेकिन न तो एफआईआर दर्ज हुई और न ही पोस्टमार्टम कराया गया था. पुलिस ने लाश दफन करा दिया था.

Dharmasthala Mass Burial Case

साइट नंबर 12 से खाली हाथ

उसने एसआईटी से कहा है कि वह उस जगह को दिखा सकता है जहां लड़की को दफनाया गया था. उसका यह भी कहना है कि धर्मस्थल में कई हत्याएं हुई हैं, लेकिन डर के साए में लोग सामने आने की हिम्मत नहीं जुटा पाए. अब उसके बयान के बाद लोकल पुलिस को 15 साल पुराने इस मामले में भी एफआईआर दर्ज करनी पड़ी है. मंगलवार शाम साइट नंबर 12 की खुदाई भी पूरी हो गई. यहां से कोई खास सुराग नहीं मिला.

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