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'संकट में भारत मदद करता है...ये डेड इकोनॉमी नहीं', ट्रंप के बयान पर बोले अमिताभ कांत

Amitabh Kant ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के भारत को डेड इकोनॉमी कहने पर पलटवार किया और भारत की तमाम उपलब्धियों को गिनाते हुए कहा कि ये Dead Economy नहीं है, बल्कि दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था है.

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अमिताभ कांत ने ट्रंप के डेड इकोनॉमी वाले बयान पर किया पलटवार (Photo: ITG)
अमिताभ कांत ने ट्रंप के डेड इकोनॉमी वाले बयान पर किया पलटवार (Photo: ITG)

जी-20 के पूर्व शेरपा और नीति आयोग के पूर्व सीईओ अमिताभ कांत (Amitabh Kant) ने शुक्रवार को बीटी इंडिया@100 शिखर सम्मेलन में शामिल होकर टैरिफ टेंशन और भारतीय अर्थव्यवस्था की तेज रफ्तार को लेकर बात की. उन्होंने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) के भारत को डेड इकोनॉमी कहने पर तीखी प्रतिक्रिया जाहिर करते हुए कहा कि भारत Dead Economy नहीं है, बल्कि दुनिया में सबसे तेजी से आगे बढ़ती हुई अर्थव्यवस्था है और तीसरी सबसे बड़ी इकोनॉमी बनने की ओर आगे बढ़ रही है.   

तीसरी बढ़ी इकोनॉमी बनने वाला है भारत!
अमिताभ कांत से जब टैरिफ वॉर के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति द्वारा दिए गए Dead Economy वाले बयान को लेकर सवाल पूछा गया, तो उन्होंने तमाम आंकड़े गिनाते हुए भारतीय अर्थव्यवस्था की मजबूती पर प्रकाश डाला. उन्होंने कहा कि, 'भारत मृत अर्थव्यवस्था बिल्कुल भी नहीं है, बल्कि आज सबसे तेजी से बढ़ने वाली बड़ी अर्थव्यवस्था है और दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की ओर आगे बढ़ रहा है.' 

'भारत के आगे बढ़ने का है समय'
नीति आयोग के पूर्व सीईओ ने भारत को एक सुधार संचालित महाशक्ति करार देते हुए कहा कि जब भी कोई संकट आता है, तो भारत हमेशा मदद ही करता है. ट्रंप के टैरिफ को लेकर मचे घमासान के बीच उन्होंने कहा कि, मेरे विचार से यह एक ऐसा अवसर है, जब हम बड़ी संख्या में मौजूदा नियमों, प्रक्रियाओं और विनियमों को समाप्त करने का कदम उठाकर आगे बढ़ सकते हैं. 

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कांत बोले- भारत ने जो किया, कोई न कर सका
Indian Economy की तेज रफ्तार का श्रेय उन्होंने व्यापक संरचनात्मक सुधारों, तेज डिजिटलाइजेशन और इंफ्रास्ट्रक्चर में ग्रोथ को दिया. अमिताभ कांत ने कहा कि हमने जीएसटी (GST) और दिवाला एवं शोधन अक्षमता संहिता (IBC) जैसे बड़े सुधार लागू किए हैं. भारत ने अपनी अर्थव्यवस्था का डिजिटलीकरण कुछ इस तरह किया है जैसा अभी तक किसी और देश ने नहीं किया.

1.5 अरब लोगों की डिजिटल पहचान
Amitabh Kant ने भारत में इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में विकास के प्रयासों के बारे में जिक्र करते हुए कहा कि विद्युतीकरण की बात हो या फिर सामूहिक आवास से लेकर देश में 88,000 किलोमीटर से ज्यादा सड़कों के निर्माण की, हाल के दिनों में किसी भी अन्य देश ने इतने बड़े पैमाने पर बुनियादी ढांचा विकसित नहीं किया है.

इसके अलावा उन्होंने डिजिटल भुगतान (Digital Payment) और पहचान के मामसे में भारत की अहम भूमिका के बारे में तस्वीर साफ की. उन्होंने कहा, 'दुनिया के किसी भी दूसरे देश में 1.5 अरब लोगों की डिजिटल पहचान नहीं है, हम तेज भुगतान के मामले में भी आगे हैं. इससे विकास को बहुत बढ़ावा मिलता है.'

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