'हमें अल्पसंख्यकों पर सलाह मिलती है, लेकिन दुनिया में क्या हो रहा...', बोले मोहन भागवत

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के प्रमुख मोहन भागवत ने गुरुवार को कहा कि भारत को अक्सर अपने अल्पसंख्यकों के मुद्दों पर ध्यान देने की सलाह दी जाती है, लेकिन अब हम देख रहे हैं कि अन्य देशों में अल्पसंख्यक समुदाय किस स्थिति का सामना कर रहे हैं.

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RSS चीफ मोहन भागवत. (फाइल फोटो) RSS चीफ मोहन भागवत. (फाइल फोटो)

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 19 दिसंबर 2024,
  • अपडेटेड 2:41 PM IST

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के प्रमुख मोहन भागवत ने गुरुवार को कहा कि भारत को अक्सर अपने अल्पसंख्यकों के मुद्दों पर ध्यान देने की सलाह दी जाती है, लेकिन अब हम देख रहे हैं कि अन्य देशों में अल्पसंख्यक समुदाय किस स्थिति का सामना कर रहे हैं.'हिंदू सेवा महोत्सव' के उद्घाटन के दौरान उन्होंने यह भी कहा कि विश्व शांति की बात करके प्रभुत्व स्थापित करने का प्रयास किया जा रहा है.

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क्या बोले मोहन भागवत

मोहन भागवत ने कहा, 'विश्व शांति के बारे में बड़े एलान किए जा रहे हैं. हम (भारत) को भी विश्व शांति के बारे में सलाह दी जा रही है, लेकिन वहीं युद्ध रुक नहीं रहे हैं. जबकि हमें अक्सर अपने देश में अल्पसंख्यकों के बारे में चिंता करने को कहा जाता है, हम देख रहे हैं कि बाहर अल्पसंख्यक किस प्रकार की स्थिति का सामना कर रहे हैं.'

हालांकि, RSS प्रमुख ने बांग्लादेश में हिंदू समुदाय के खिलाफ हिंसा का कोई संदर्भ नहीं दिया. लेकिन RSS ने शेख हसीना सरकार के पतन के बाद वहां के हिंदुओं की स्थिति को लेकर चिंता जताई थी.

यह भी पढ़ें: मोहन भागवत ने यूं ही नहीं दी 'हम 2 हमारे 3' की सलाह, क्यों है समय की जरूरत । opinion

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मोहन भागवत ने कहा, 'मानव धर्म (मानवता) सभी धर्मों का शाश्वत धर्म है, जो विश्व धर्म भी है और जिसे हिंदू धर्म भी कहा जाता है. हालांकि, दुनिया ने इस धर्म को भुला दिया है. उनके पास वही धर्म है लेकिन उन्होंने इसे भुला दिया और इसलिए आज हम विभिन्न प्रकार की समस्याओं का सामना कर रहे हैं, जैसे पर्यावरण और अन्य मुद्दे.'

उन्होंने कहा कि हमारे देश के बाहर बहुत से लोग मानते हैं कि बिना भारत की भूमिका के विश्व शांति संभव नहीं है. वे मानते हैं कि केवल भारत और इसकी समृद्ध परंपरा ही यह कर सकती है, जैसा कि 3,000 वर्षों से प्रदर्शित किया गया है. यह हमारी जिम्मेदारी है कि हम दुनिया की इस आवश्यकता को पूरा करें.

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