
सोशल मीडिया पर दो लेस्बियन लड़कियों की लव स्टोरी सुर्खियों में है. पहले उन्होंने आपस में शादी रचाई और अब एक लड़की मां बनने वाली है. हालांकि, उनके लिए ये सब कुछ आसान नहीं रहा. उन्हें बच्चा पैदा करने के लिए दूसरे देश जाना पड़ा. अपने घर, परिवार और देश में जमकर आलोचना झेलनी पड़ी. इस लेस्बियन कपल ने अपनी आपबीती बयां की है. आइए जानते हैं कपल की कहानी, उन्हीं की जुबानी...
दरअसल, हम बात कर रहे हैं दक्षिण कोरिया में रहने वाली किम क्यू-जिन और किम से-योन नाम की लड़कियों की. दोनों लेस्बियन हैं और उन्होंने साल 2019 में शादी रचाई थी. लेकिन अब जब उन्हें बच्चा पैदा करना है तो देश का नियम-कानून आड़े आ रहा है.
दक्षिण कोरिया में उनकी शादी को मान्यता नहीं मिली
भले ही दक्षिण कोरिया ने अपनी जन्म दर को बढ़ावा देने के लिए अलग-अलग नीतियों पर अरबों डॉलर खर्च कर रहा है. लेकिन जब किम और उनकी पत्नी योन को बच्चा पैदा करना था, तो उन्हें बेल्जियम जाना पड़ा. क्योंकि, कानूनी तौर पर दक्षिण कोरिया में उनकी शादी को मान्यता नहीं मिली. सियोल शहर के अधिकारियों ने लेस्बियन कपल की शादी को रजिस्टर्ड करने से इनकार कर दिया. हालांकि, कपल की शादी अमेरिका के न्यूयॉर्क में रजिस्टर्ड है.

ऐसे में शादी के कुछ साल बाद जब किम और योन बच्चा पैदा करने के लिए तैयार हुए, तो उनके पास देश के अंदर विकल्प नहीं थे. दक्षिण कोरिया में लेस्बियन कपल को आमतौर पर बच्चा गोद लेने के लिए अयोग्य माना जाता है. स्पर्म बैंक भी उनके लिए नहीं हैं. इसीलिए जिन ने बेल्जियम का रुख किया और स्पर्म डोनर की मदद से प्रेग्नेंट हुईं. वो आईवीएफ (IVF) तकनीक से मां बनने वाली हैं. जिन अभी 8 महीने की प्रेग्नेंट हैं.
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कपल ने अपने देश में समलैंगिक पितृत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए सार्वजनिक रूप से बोलने का फैसला किया है. इसके लिए जिन दक्षिण कोरिया के उसी अस्पताल में बच्चे को जन्म देना चाहती हैं जहां उनकी पत्नी योन डॉक्टर के रूप में कार्यरत हैं. योन ने कहा- हमारा बच्चा खुश मांओं के साथ बड़ा होगा. हमारा मानना है कि इस बात की बहुत अधिक संभावना है कि बच्चा भी खुश होगा.
अधिक बच्चे पैदा करने के लिए प्रोत्साहित कर रही सरकार
एक आंकड़े के मुताबिक, दक्षिण कोरिया की जन्मदर प्रति महिला - 0.78% है, जो कि दुनिया में सबसे कम है. सरकार ने नागरिकों को अधिक बच्चे पैदा करने के लिए प्रोत्साहित करने के इरादे से अरबों डॉलर खर्च किए हैं लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ. पैरेंट्स को बोनस, फ्री इलाज, बच्चों की देखभाल के लिए पैसे देने जैसी तमाम तरह की छूट दी जा रही हैं लेकिन कोई असर नहीं हो रहा.
अपने अनुभव को शेयर करते हुए योन ने कहा कि दक्षिण कोरिया में जो लोग 'पारंपरिक प्रणाली के बाहर' माता-पिता बनने की कोशिश करते हैं, उन्हें बहुत दुखद आलोचना का सामना करना पड़ता है. उन्होंने कहा- लोग ट्रोल करते हुए कह रहे हैं कि लेस्बियन को बच्चे नहीं पैदा करने चाहिए.
मां बनने के बाद कानूनी समस्या
दक्षिण कोरिया में जिन और योन के पास अपने बच्चे पर कोई कानूनी अभिभावकीय (पैरेंटल) अधिकार नहीं होगा. वो मैटरनिटी लीव के लिए अयोग्य होंगे. मेडिकल इमरजेंसी जैसे मामलों में बच्चे के कानूनी अभिभावक के रूप में पेश नहीं किए जा सकते. ऐसे में कपल देश से बाहर रहने पर विचार कर रहा है. कपल ने कहा एक दिन समाज हमें समझेगा. मां-बाप भी मान जाएंगे. लेकिन ये नहीं पता कि तब तक कितना समय बीत चुका होगा.