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'प्रेम की भाषा तभी समझी जाती है जब आपके पास शक्ति हो', बोले मोहन भागवत

'प्रेम की भाषा तभी समझी जाती है जब आपके पास शक्ति हो', बोले मोहन भागवत

राजस्थान के जयपुर में हुए कार्यक्रम में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने स्पष्ट किया कि विश्व स्तर पर प्रेम की भाषा तभी स्वीकार्य होती है जब उसके पीछे शक्ति हो. मोहन भागवत ने भारत की प्राचीन संस्कृति, इसके त्याग की परंपरा और विश्व कल्याण हेतु शक्ति की अनिवार्यता पर विशेष जोर दिया.

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