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राहुल गांधी फिर गुजरात में, AAP ने भी कसी कमर - क्या दिल्ली जैसे मुकाबले की तैयारी है?

राहुल गांधी बिहार का ताबड़तोड़ तीन दौरा करने के बाद, तीसरे गुजरात दौरे पर अहमदाबाद पहुंच गये हैं - और, ध्यान देने वाली बात ये भी है कि आम आदमी पार्टी विसावदर उपचुनाव के लिए कमर कस चुकी है.

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राहुल गांधी का गुजरात पर भी बिहार जैसा ही जोर है, और दिल्ली की तरह निशाने पर अरविंद केजरीवाल हैं.
राहुल गांधी का गुजरात पर भी बिहार जैसा ही जोर है, और दिल्ली की तरह निशाने पर अरविंद केजरीवाल हैं.

बिहार चुनाव पर तेजस्वी यादव और  मल्लिकार्जुन खड़गे के साथ मीटिंग के बाद राहुल गांधी अहमदाबाद पहुंच गये हैं. वो दो दिन के गुजरात दौरे पर हैं. और खास बात ये है कि सवा महीने के अंतराल में राहुल गांधी का ये तीसरा गुजरात दौरा है. राहुल गांधी बिहार का भी ताबड़तोड़ तीन दौरा कर चुके हैं. 

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अभी हफ्ता भर पहले ही गुजरात में कांग्रेस का राष्ट्रीय अधिवेशन हुआ है, जिसमें आने वाले चुनावों के मद्देनजर कई फैसले लिये गये हैं. सबसे बड़ा फैसला कांग्रेस को जिला स्तर पर मजबूत करने के साथ ही जिलाध्यक्षों और जिला कमेटियों को ज्यादा अधिकार दिये जाने को लेकर है. 

जैसे बिहार में राहुल गांधी आरजेडी के प्रभाव से मुक्त होकर कांग्रेस को खड़ा करने की कोशिश कर रहे हैं, ठीक वैसे ही गुजरात में भी राहुल गांधी की कोशिश आम आदमी पार्टी का प्रभाव खत्म करने की है. 2022 के गुजरात विधानसभा में आम आदमी पार्टी ने 5 सीटें जीती थी, जबकि कांग्रेस 17 सीटों पर सिमट गई थी. आम आदमी पार्टी ने कांग्रेस के हिस्से की पांच सीटें तो जीती ही, पार्टी को बुरी तरह डैमेज भी किया था. 

अब राहुल गांधी की तैयारी आम आदमी पार्टी को कम से कम सीटों पर समेट देने की है, और कांग्रेस के लिए वो ये सुनिश्चित करना चाहते हैं कि सत्ता न मिले तो भी कम से कम 2017 जैसा प्रदर्शन तो देखने को मिले ही. 2017 के चुनाव में कांग्रेस को 77 सीटें मिली थीं. 

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कांग्रेस की तैयारी अपनी जगह है, लेकिन आम आदमी पार्टी भी जोर शोर से जुटी है. आम आदमी पार्टी की नजर अभी विसावदर उपचुनाव पर फोकस है. 

कांग्रेस की तैयारी, मिशन 2027 

कांग्रेस नेता राहुल गांधी गुजरात में जिलाध्यक्ष चुनने के पायलट प्रोजेक्ट की शुरुआत करने पहुंच गये हैं. 

कांग्रेस ने गुजरात के 33 जिलों और 8 बड़े शहरों में अध्यक्षों की नियुक्ति के लिए 42 केंद्रीय और 183 प्रदेश स्तर के पर्यवेक्षक नियुक्त किये हैं. ये जिला स्तर पर कांग्रेस कमेटियों और अध्यक्षों को ज्यादा अधिकार देकर मजबूत नींव रखने के अभियान का हिस्सा है. 

गुजरात कांग्रेस अध्यक्ष शक्तिसिंह गोहिल के मुताबिक, राहुल गांधी दो दिन के दौरे में अहमदाबाद में पर्यवेक्षकों के साथ बैठक करेंगे, और फिर अरवल्ली जिले के मोडासा में कांग्रेस कार्यकर्ताओं को संबोधित करेंगे. 

2027 के गुजरात विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटी कांग्रेस 'नूतन गुजरात-नूतन कांग्रेस' मुहिम चला रही है, जिसमें राहुल गांधी की खास दिलचस्पी देखी जा रही है. 

आम आदमी पार्टी की तैयारी

कांग्रेस के राष्ट्रीय अधिवेशन के बाद आम आदमी पार्टी ने भी राजनीतिक गतिविधियां तेज कर दी है. आम आदमी पार्टी का फोकस फिलहाल विसावदर उपचुनाव लग रहा है. 

23 मार्च को दिल्ली में आम आदमी पार्टी नेता अरविंद केजरीवाल गुजरात के नेताओं से मुलाकात की, और विसावदर उपचुनाव के लिए उम्मीदवार की भी घोषणा कर दी. 

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अरविंद केजरीवाल ने पार्टी के पूर्व प्रदेश प्रमुख गोपाल इटालिया को विसावदर से उम्मीदवार घोषित किया है. उपचुनाव की तारीख आने से पहले ही आम आदमी पार्टी ने पंजाब की लुधियाना वेस्ट सीट के लिए भी राज्यसभा सांसद संजीव अरोड़ा को कैंडिडेट घोषित कर दिया था. और, अरविंद केजरीवाल तो पहले से ही चुनाव कैंपेन भी शुरू कर चुके हैं. विपश्यना के लिए पंजाब गये अरविंद केजरीवाल ने लुधियाना में रैलियां भी कर डाली है. साथ ही, पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के साथ अरविंद केजरीवाल पंजाब में नशे के खिलाफ मुहिम भी चला रहे हैं. 

कांग्रेस जहां आने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारी कर रही है, आम आदमी पार्टी पंचायत और स्थानीय निकाय चुनावों में भी खुद को आजमाने की कोशिश कर रही है. 

गुजरात प्रदेश अध्यक्ष इसुदान गढ़वी का कहना है कि विसावदर उपचुनाव की घोषणा होते अरविंद केजरीवाल भी गुजरात का दौरा करेंगे. जाहिर है, लुधियाना की तरह विसावदर में भी जोर शोर से कैंपेन चलाया जाएगा.

गुजरात में कैसा होगा 2027 का मुकाबला

अभी तक तो ऐसा ही लग रहा है कि अगला गुजरात चुनाव भी कांग्रेस और आम आदमी पार्टी दिल्ली की ही तरह लड़ेंगे. बिल्कुल आमने सामने. एक-दूसरे के खिलाफ एक दूसरे को जेल भिजवाने पर आमादा. 

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आम आदमी पार्टी प्रवक्ता प्रियंका कक्कड़ तो फिर से सवाल उठा ही रही हैं, अभी राहुल गांधी की नेशनल हेरल्ड में गिरफ्तारी क्यों नहीं हुई? बिल्कुल वैसे ही जैसे दिल्ली चुनाव के दौरान अरविंद केजरीवाल पूछ रहे थे कि राहुल गांधी और उनका परिवार गिरफ्तार क्यों नहीं हुआ?

विसावदर उपचुनाव से भी ये तस्वीर बहुत हद तक साफ हो सकती है. ऐसा इसलिए भी लगता है क्योंकि उपचुनाव को लेकर कांग्रेस की तरफ से आम आदमी पार्टी जैसी तत्परता नहीं देखने को मिली है. 

सुनने में तो ये भी आ रहा है कि बीजेपी को कड़ी चुनौती देने के लिए हो सकता है कांग्रेस विसावदर उपचुनाव में कैंडिडेट उतारे ही नहीं. 

अगर ऐसा होता है, तो आगे चलकर कांग्रेस और आम आदमी पार्टी के साथ आने की संभावना भी बन सकती है - लेकिन हालिया ट्रैक रिकॉर्ड तो ऐसा कोई इशारा नहीं करता. 

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