साहित्य आजतक 2025 के मंच पर अपकमिंग सीरीज 'मेड इन इंडिया- अ टाइटन स्टोरी' के सितारों ने शिरकत की. लीड एक्टर जिम सरभ, नमिता दुबे के साथ शो के डायरेक्टर रॉबी ग्रेवाल भी नजर आए. सीरीज में नसीरुद्दीन शाह भी अहम रोल में दिखेंगे. ये शो इंडिया के टॉप वॉच ब्रैंड टाइटन के बनने और सफलता पाने की कहानी है. सीरीज में जिम ने जेरेक्सेस देसाई, नसीरुद्दीन शाह ने जेआरडी टाटा का रोल निभाया है. ये शो अगले साल फरवरी में रिलीज हो सकता है.
कैसे रही शो में जिम की जर्नी?
जिम ने कहा- मुझे सालों पहले ये शो ऑफर हुआ था. इसका आइडिया मुझे बहुत पंसद आया. ये इंडिया के पहले स्टार्टअप की तरह था. इन लोगों ने स्क्रैप से कंपनी की शुरुआत की थी. मुझे ये किरदार निभाने में मजा आया. शूटिंग का टाइट शेड्यूल होने के बावजूद सबने अच्छे से काम किया. शेड्यूल ग्रूलिंग था. मेरे लिए बहुत थकाऊ था.
बाल्ड होने का लिया फैसला
जिम ने जेरेक्सेस देसाई के रोल में सूटेबल दिखने के लिए बाल्ड होने का फैसला किया. हालांकि मेकर्स ने उन्हें प्रोस्थेटिक मेकअप के जरिए जेरेक्सेस देसाई के रोल में ढलने का ऑफर दिया था. लेकिन जिम ने ऐसा नहीं किया. इसकी वजह बताते हुए उन्होंने कहा- प्रोस्थेटिक को लगाने में हर दिन 2 घंटे लगते. फिर उसमें मैं अनईजी फील करता. प्रोस्थेटिक होता तो डिस्ट्रैक्शन होता. इसलिए मैंने बाल्ड होने फैसला किया, ये बेस्ट डिसीजन था. मैं बाल्ड होकर बस कुर्ता पहनता और किरदार में आ जाता. डायरेक्टर ने जिम के डिसीजन की तारीफ की. उन्होंने ये भी बताया कि 3 महीने के अंदर जिम के सिर के बाल वापस आ गए थे.
सीरीज बनाने से पहले रॉबी ने किया था मना
डायरेक्टर रॉबी ने कहा- ये कहानी मेरे प्रोड्यूसर के पास थी. वो मेरे पास इसे लेकर आए थे. ये शानदार कहानी थी. मैंने पहले इसे करने से मना किया था. क्योंकि मुझे डर था मैं ये नहीं कर पाऊंगा. ये मालूमी नहीं बल्कि टाटा-जेरेक्सेस की कहानी है. लेकिन इसे करना मेरी किस्मत में था. जब मैंने इसकी कहानी पढ़ी तो मैं इंप्रेस हो गया. तब मुझे लगा अगर मैं ये नहीं करता तो खुद पर शर्म आती. टाइटन की कहानी बताने लायक है. मुझे पहले इसका इतिहास नहीं पता था. हम लोग तब घड़ी की टेक्नॉलजी से दूर थे. उस वक्त जेआरडी टाटा और जेरेक्सेस देसाई ने विजन देखा कि उन्हें वर्ल्ड क्लास घड़ी बनानी है. मैं टाइटन को इंडिया का प्राइड मानता हूं.
हम अपने काम के साथ ईमानदार रहे. हमने शो में ड्रामा क्रिएट नहीं किया. आजकल लोगों को ये पसंद है. ये ईमानदारी से बनाया गया शो है. हमने रियल लॉकेशन पर ये शो शूट किया है. हम टाटा के लोगों से भी मिले. उनके लिए ये कहानी पर्दे पर लाना सरप्राइजिंग थी. उन्होंने हमारी कहानी में सेंसेबिलिटी देखी. उन्हें लगा कि हम अपनी कहानी बेचने के लिए नहीं बना रहे हैं.
रॉबी ने टाइटन के वर्कप्लेस की तारीफ की
डायरेक्टर ने कहा कि जब मैं पहली बार टाइटन फैक्ट्री में गया. वहां लोगों से मिला, सब मुझे खुश दिखे. एक कंपनी में 500 लोग खुश थे. सभी सालों से वहां पर काम कर रहे थे. मैंने उनसे पूछा आप सेम प्लेस पर सालों से क्यों हैं? उन्होंने कहा- यहां हमें पैसा अच्छा मिलता है, रिस्पेक्ट मिलती है, फैमिली है हमारी. वहां की कैंटीन का खाना बहुत अच्छा है. कैंटीन में सबको समान ट्रीटमेंट दिया जाता है. सबको इज्जत मिलती है. वो लोग फेलियर को सेलिब्रेट करते हैं.
नसीरुद्दीन संग काम का कैसा रहा एक्सपीरियंस?
जिम ने कहा- मैंने इससे पहले कभी नसीर जी के साथ काम नहीं किया था. मैंने उनका थियेटर वर्क देखा था. तब मैं उनसे काफी इंप्रेस हुआ था. हम पहले भी एक शो करने वाले थे. लेकिन बात नहीं बन पाई थी. लेकिन इस बार उनके साथ काम करने का मेरा सपना पूरा हुआ. वो बारीकी से काम करते हैं. वो चीजों को इग्नोर नहीं करते.