प्रयागराज में इन दिनों कुंभ मेले की धूम है और बड़ी संख्या में दुनियाभर के श्रद्धालु इस मेले के जरिए भारतीय संस्कृति से रू-ब-रू हो रहे हैं. इन्हीं श्रद्धालुओं में से एक स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी से स्नातक करने वाली एक महिला भी प्रयागराज में आई है जो 'टॉयलेट कैफेटेरिया' के जरिए कुंभ मेले में स्वच्छता बनाए रखने को प्रोत्साहित कर रही है. बेहद खास अंदाज में बने कैफेटेरिया में बैठने के लिए कमोड स्टाइल में कुर्सियां बनाई गई हैं जिनके माध्यम से श्रद्धालुओं को खुले में शौच और पेशाब करने की जगह टॉयलेट के इस्तेमाल को बढ़ावा दिया जा रहा है.
इंडिया टुडे से बातचीत करते हुए इस अमेरिकी नागरिक ने कहा, 'मैं 1996 में ग्रेजुएशन पूरा करने के बाद पहली बार भारत आई थी. तब मैं ऋषिकेश गई थी और हिंदू धर्म और संस्कृति ने मुझे खासा प्रभावित किया. तब मैंने संन्यासी के रूप में काम करने का फैसला कर लिया था. मैं आपको अपना असली नाम नहीं बता सकती क्योंकि मैंने अपना पुराना नाम छोड़ दिया है और लोग अब मुझे साध्वी भगवती सरस्वती के नाम से जानते हैं.'
वह कुंभ मेले की तैयारी से खासी प्रभावित नजर आई. उनका कहना है कि राज्य सरकार ने सफाई व्यवस्था बनाए रखने के लिए बेहद शानदार काम किया है.
Prayagraj: Visuals of the ‘Toilet Cafeteria’ set up at #KumbhMela2019 pic.twitter.com/SVL3szPHxD
— ANI UP (@ANINewsUP) January 18, 2019
उन्होंने कहा, 'हमें शुद्धता और सफाई पर सबसे ज्यादा ध्यान देने की जरुरत है. यह बहुत जरुरी है कि हम टॉयलेट का इस्तेमाल करे और खुले में शौच नहीं करना चाहिए. साथ ही हाथ भी बेहद ढंग से धुलना चाहिए. हम टॉयलेट कैफेटेरिया के जरिए लोगों में शुद्धता के प्रति जागरुकता फैला रहे हैं.'
साध्वी सरस्वती ने बताया कि हर सुबह हम लोग खाली बैग लेकर कूड़ा इकट्ठा करने के लिए निकलते हैं लेकिन यह बहुत अच्छा है कि हमें इसके लिए संघर्ष करना पड़ता है क्योंकि राज्य सरकार ने लाखों की तादात में टॉयलेट की व्यवस्था की है.
अर्जेंटीना से पहली बार कुंभ मेला देखने आईं आई ग्रेस ने कहा कि सफाई पूरी दुनिया की सबसे बड़ी समस्या है. वह खुद भी टॉयलेट कैफेटेरिया के जरिए लोगों को सफाई रखने के बारे में जागरूक कर रही हैं. यहां का माहौल बेहद शानदार है और उसके देखे धार्मिक आयोजनों में यह अब तक का सबसे विशाल धार्मिक कार्यक्रम है.
कुंभ में मेले की सफाई को लेकर राज्य की योगी आदित्यनाथ सरकार बेहद सक्रिय है. सरकार ने 'स्वच्छ कुंभ, सुरक्षित कुंभ' के नारे के तहत कुंभ मेले में 1.22 लाख टॉयलेट बनवाएं हैं.