भले ही राजनेता एक-दूसरे को आतंकवाद पर सियासत ना करने की नसीहत देते हों पर वे ऐसा करने से बाज नहीं आते है. अब आईएम के आतंकी यासीन भटकल की गिरफ्तारी को ही ले लीजिए. गुरुवार को जब उसकी गिरफ्तारी की खबर आई तो सभी पार्टियों ने खुफिया एजेंसी को बधाई दी. पर अब नेताओं ने इसके लिए क्रेडिट लेना शुरू कर दिया है.
संसदीय कार्य राज्यमंत्री राजीव शुक्ला ने दावा किया है कि आतंक के मुद्दे पर बीजेपी कमजोर रही है, जबकि यूपीए सरकार सख्त. बीजेपी को इस देश और सरकार से माफी मांगनी चाहिए.
राजीव शुक्ला ने कहा, 'इस देश में ज्यादातर आतंकी हमले बीजेपी के कार्यकाल में हुए. चाहे संसद पर आतंकी हमला हो या फिर जम्मू-कश्मीर एसेंबली पर हमला. हमारे कार्यकाल में अब्दुल करीम टुंडा और यासीन भटकल जैसे वांटेड आतंकियों को गिरफ्तार किया गया. बीजेपी को इस देश और सरकार से माफी मांगनी चाहिए.'
राजीव शुक्ला ने आतंकियों की गिरफ्तारी का श्रेय लिया तो सीपीआई नेता गुरुदास दासगुप्ता ने उनकी और कांग्रेस पार्टी की तुलना मूर्खों से कर डाली.
उन्होंने कहा, 'कांग्रेस और राजीव शुक्ला इसका श्रेय कैसे ले सकते हैं. वे मूर्खों की तरह बयानबाजी कर रहे हैं. 2002 के संसद हमले के बाद खुफिया एजेंसी में सुधार आया. खुफिया विभाग किसी पार्टी विशेष के लिए काम नहीं करता. इन गिरफ्तारियों का श्रेय कोई और नहीं ले सकता है.'
गौरतलब है कि बुधवार रात को एनआईए और बिहार पुलिस की संयुक्त टीम ने इंडियन मुजाहिद्दीन के संस्थापक यासीन भटकल को बिहार-नेपाल बॉर्डर के पास से गिरफ्तार किया था. वहीं करीब 10 दिन पहले नेपाल बॉर्डर से ही लश्कर के आतंकी अब्दुल करीम टुंडा को गिरफ्तार किया गया था.