कृषि कानूनों को लेकर संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा भरोसा दिलाया गया है. लेकिन अभी भी इसको लेकर रार खत्म नहीं हुई है. अब पंजाब कांग्रेस के सांसद लोकसभा में कृषि कानूनों के खिलाफ प्राइवेट मेंबर बिल लाएंगे.
कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने मंगलवार को कहा कि हम इस बारे में स्पीकर के साथ चर्चा करेंगे. जिसके बाद इन बिलों को लाया जाएगा. सरकार और किसानों के बीच जो वार्ता हुई वो पूरी तरह से फेल हो गई है.
मनीष तिवारी ने कहा कि पंजाब के करोड़ों लोग खेती पर ही निर्भर हैं, ऐसे में इस मुद्दे का हल निकलना जरूरी है. कांग्रेस सांसद ने कहा कि प्रधानमंत्री की ओर से किसानों को भरोसा दिलाया गया, कई बातें कही गईं. लेकिन किसान सरकार के वादों से संतुष्ट नहीं हैं. कांग्रेस के सांसद रवनीत बिट्टू का कहना है कि जिन किसानों की आंदोलन के वक्त जान गई है, उन्हें मुआवजा दिया जाना चाहिए.
गौरतलब है कि कृषि कानूनों और किसान आंदोलनों को लेकर संसद से लेकर सड़क तक रार हो रही है. संसद के दोनों सदनों में विपक्ष द्वारा हंगामा किया गया है. हालांकि, राज्यसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर कई घंटों की चर्चा हुई, जिसमें कृषि कानून पर भी बात हुई.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी राज्यसभा में संबोधन के वक्त कृषि कानूनों पर बात की थी. पीएम मोदी ने कहा था कि वक्त के साथ बदलाव जरूरी है, विपक्ष के लोग पहले इसका समर्थन करते आए हैं लेकिन अब यूटर्न ले रहे हैं. साथ ही किसानों से पीएम मोदी ने आंदोलन खत्म करने और चर्चा करने की अपील की थी.
वहीं, लोकसभा में इस मसले पर कई दिनों तक हंगामा चलता रहा. हालांकि, अब सरकार और विपक्ष के बीच राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा करने की सहमति बनी है.