एजेंडा आजतक 2019 के दूसरे दिन सत्र 'ये रास्ते हैं रोजगार के' में सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी महाराष्ट्र की राजनीति पर बेबाकी बोले. महाराष्ट्र में अलग विचारधारा होने के बावजूद शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस की सरकार पर उन्होंने तंज कसा और कहा कि विचार भिन्नता से ज्यादा विचार शून्यता समस्या है. यह अवसरवाद की राजनीति है.
असल में उनसे पूछा गया था कि क्या उन्होंने शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस की सरकार बनाने में उद्धव ठाकरे की मदद की थी? नितिन गडकरी ने कहा कि मेरे सभी पार्टियों के साथ संबंध हैं. उद्धव ठाकरे ने सीएम बनने का आपसे आर्शीवाद तो नहीं मांगा? नितिन गडकरी ने कहा कि मेरा सबसे संबंध है. सब पार्टी के नेताओं से मेरी दोस्ती है. पार्टी की विचारधारा के प्रति मैं प्रतिबद्ध हूं. मैं अपनी पार्टी के हित को दरकिनार करके किसी मदद नहीं कर सकता है, और जो विकास का काम होता है उसमें राजनीति नहीं होती है. मेरे काम में राजनीति नहीं है.
महाराष्ट्र में गठबंधन सरकार कब तक चल पाएगी? इस सवाल पर नितिन गडकरी ने कहा कि आजकल टीवी पर भविष्य बताने वाले आते हैं. वही भविष्य बता पाएंगे. मैं चाणक्य भी नहीं हूं. मैंने एक बार टीवी शो में कहा था कि राजनीति में कभी भी कुछ भी हो सकता है. उस समय लोग बहुत हंस रहे थे. तब मुझे काफी जानकारियां थीं. उसी आधार पर मैंने यह बात कही थी.
अलग विचाराधारा होने के बावजूद शिवसेना का कांग्रेस के साथ सरकार बनाने पर नितिन गडकरी ने कहा, 'बस इस बात का दुख है कि जो एक दूसरे से मिलते नहीं थे, एक दूसरे को देखकर हंसते नहीं थे, जिनके विचारों का कोई तालमेल नहीं है, केवल अवसरवाद के आधार पर एक हो जाते हैं. एक हिंदी पिक्चर का गाना याद आता है...जब भी जी चाहे नई दुनिया बसा लेते हैं लोग...एक चेहरे पर कई चेहरे लगा लेते हैं लोग. ये समझ में नहीं आता कि एक-दूसरे के खिलाफ थे और फिर दोस्त बन गए. यानी विचार भिन्नता से ज्यादा विचार शून्यता हमारी समस्या है.'
'अमित शाह बता पाएंगे'
महाराष्ट्र में देवेंद्र फडणवीस के मुख्यमंत्री पद का शपथ लेने के बावजूद राज्य में भारतीय जनता पार्टी सरकार बनाने में नाकाम रही. महाराष्ट्र से आने वाले केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने मंगलवार को कहा कि उन्हें राज्य में सरकार गठन में कोई जिम्मेदारी नहीं मिली थी. नितिन गडकरी ने कहा कि महाराष्ट्र में बीजेपी सरकार गठन में क्यों कामयाब नहीं हो पाई, इसका जवाब देवेंद्र फडणवीस और अमित शाह दे पाएंगे.
एजेंडा आजतक 2019 के मंच पर पहुंचे नितिन गडकरी से जब पूछा गया कि महाराष्ट्र का एक्सिडेंट क्यों नहीं बचा पाए? नितिन गडकरी ने कहा, 'मेरे डिपार्टमेंट का सेफ्टी कानून उधर लागू नहीं होता है.' क्या आपको महाराष्ट्र की जिम्मेदारी नहीं दी गई थी? इस सवाल पर नितिन गडकरी ने कहा, 'ये बात सच है कि जिम्मेदारी का मेरे साथ कोई संबंध नहीं था. इसलिए मेरे करने का कोई सवाल नहीं उठता. देवेंद्र फडणवीस सक्षम हैं, वो कर रहे थे. जहां जरूरत पड़ती थी मुझसे बात करते थे.' जब उनसे पूछा गया कि पेच कहां फंस गया? इस पर नितिन गडकरी ने कहा कि ये तो देवेंद्र फडणवीस या अमित भाई बता पाएंगे. वो पार्टी के अध्यक्ष हैं और मुख्यमंत्री वही (फडणवीस) थे.
पार्टी के अध्यक्ष आप भी रहे, क्या आपको सीएम बनाया जा रहा था? बताया जा रहा था कि शिवसेना और संघ भी इस बात पर राजी थे कि नितिन गडकरी महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री होंगे? इस बात नितिन गडकरी ने कहा कि मैं पूर्व में अध्यक्ष था, अभी मैं मंत्री हूं. मैं अपना काम जानता हूं वो करता हूं.
उन्होंने कहा कि, 'मैं राजनीतिज्ञ नहीं हूं, जो बोलता हूं वो करता हूं. मैंने कभी डिप्लोमेसी नहीं अपनाई. बहुत साफ बात कहता हूं. मैं दिल्ली आना नहीं चाहता था. जब मेरे पास बीजेपी का अध्यक्ष बनने का प्रस्ताव आया, तब मैं दिल से दिल्ली आना नहीं चाहता था. अब मैं दिल्ली आया हूं. अब मैंने दिल्ली को डेस्टनी बनाया है. अब मैं दिल्ली को छोड़ना नहीं चाहता. इसलिए मेरे महाराष्ट्र में जाने का सवाल ही नहीं उठता है. न मुझे जाना है और न ही मुझे कोई भेज रहा है.'