सोमवार को भी इंडिगो (IndiGo) की 400 से ज्यादा फ्लाइटें रद्द हो चुकी हैं, यात्री आज भी परेशान हैं, क्योंकि या तो उनकी फ्लाइटें रद्द हो रही हैं, या फिर उन्हें एयरपोर्ट पर घंटों इंतजार करना पड़ रहा है, सही सूचना नहीं दी जा रही है. इस बीच कंपनी में शेयरों में भी भूचाल देखने को मिल रहा है.
दरअसल, IndiGo के शेयर (Interglobe Aviation Share) पिछले 5 दिन में 16 फीसदी से ज्यादा टूट चुका है. लेकिन सबसे बड़ी गिरावट सोमवार को देखी जा रही है, सुबह 9.15 बजे करीब 4 फीसदी की गिरावट के साथ ओपनिंग हुई और IndiGo के शेयर करीब 9.40% तक गिर गए, जो लगातार 7वें सत्र में गिरावट है.
इंडिगो के शेयर में बड़ी गिरावट
सोमवार को कारोबार के दौरान इंडिगो के शेयर 4900 रुपये से नीचे फिसल गया है, शेयर की चाल देखें तो एक महीने में करीब 13 फीसदी गिरा है, और पिछले एक साल में करीब 8 फीसदी की तेजी देखी जा रही है. हालांकि इस शेयर ने पिछले 5 साल में मोटा पैसा बनाकर दिया है, करीब 180 फीसदी की तेजी देखी गई.
बता दें, पिछले कुछ दिनों में IndiGo ने बड़ी संख्या में उड़ानें रद्द कीं, रविवार को 650+ फ्लाइट्स रद्द होने की रिपोर्ट है. जबकि पिछले हफ्ते एक दिन में ही 1000 से अधिक उड़ानें रद्द हुई थीं, जिससे यात्रियों को भारी असुविधा हुई. हालांकि अब हालात धीरे-धीरे सुधर रहे हैं.
समस्या की जड़ है हाल ही में लागू हुए नए Flight Duty Time Limitation (FDTL) नियम, जिसने पायलटों और 'क्रू' के काम और विश्राम के समय में बदलाव किया. शिकायत ये है कि रोस्टर के हिसाब से IndiGo ने पर्याप्त पॉयलट नहीं भरे. FY25 में सिर्फ 418 पायलट जोड़े गए, जो FY20 के बाद सबसे कम बढ़ोतरी रही.
समस्या की क्या है वजह
एक्सपर्ट्स की मानें तो Indigo की समस्या सिर्फ नियमों का असर नहीं है, समय पर नियुक्ति न करने से भी एयरलाइंस की स्थिति ज्यादा खराब हुई. हालांकि IndiGo ने एक 'Crisis Management Group' (CMG) का गठन किया है, जिसमें बोर्ड के सदस्य और प्रबंधन शामिल हैं, ताकि रद्द उड़ानों, देरी समेत तमाम समस्याओं का तुरंत समाधान किया जा सके. कंपनी ने यात्रियों को माफी और रिफंड/री-शेड्यूलिंग की सुविधा देने की शुरुआत कर दी है.
देश की सबसे बड़ी एयरलाइंस कंपनी IndiGo है, जिसकी मार्केट में करीब 64 फीसदी हिस्सेदारी है. जिससे समस्या थोड़ी बड़ी हो गई. इस संकट ने निवेशकों का भरोसा हिला दिया है, कई ब्रोकरेज-हाउस ने IndiGo के लिए अपने Target Price घटाए हैं. जबकि कुछ ब्रोकरेज का कहना है कि अगर परिचालन जल्द सामान्य हुआ, तो शेयर में वापसी हो सकती है. हालांकि शेयर में निवेश से पहले वित्तीय सलाहकार की मदद जरूर लें.