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New Labour Codes: सैलरी, ग्रेच्‍युटी और पेंशन... नए लेबर कोड में क्‍या-क्‍या बदला? जानिए 10 बड़े फायदे

नए लेबर कोड के तहत कई प्रमुख बदलाव किए गए हैं, जिसमें कामगारों के मिनिमम सैलरी, ग्रेच्‍युटी, पेंशन जैसे सामाजिक सिक्‍योरिटी के नियम बदल जाएगा. नए श्रम कानून 21 नवंबर से लागू हो चुके हैं.

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नए लेबर कोड के 10 बड़े फायदे. (Photo: File/ITG)
नए लेबर कोड के 10 बड़े फायदे. (Photo: File/ITG)

सालों से इंतजार किए जा रहे 4 नए श्रम कानूनों (New Labour Codes) को लागू कर दिया गया है, जिसके तहत कई बड़े बदला हुए हैं. 29 श्रम कानूनों को खत्‍म करके 4 नए कानून पेश किए गए हैं, जो सभी तरह के कर्मचारियों को कवर करते हैं. इस कानून के तहत  सैलरी, अनिवार्य नियुक्ति पत्र, सामाजिक सुरक्षा, ग्रेच्‍युटी और समान काम की समान सैलरी आदि जैसे बदलाव हुए हैं. आइए जानते हैं नए लेबर कोड के 10 बड़े फायदे... 

1. समय पर सैलरी और न्‍यूनतम सैलरी 
नए कानूनों के तहत कर्मचारियों को समय पर सैलरी दी जाएगी. देशभर में मिनिमम सैलरी का दायरा बढ़ेगा यानी कि बाकी क्षेत्र के कर्मचारियों को भी इसके अंतर्गत लाया जाएगा, ताकि कोई भी सैलरी इतना कम नहीं हो कि कर्मचारियों का जीवन-यापन कठिन हो. 

2. ग्रेच्‍युटी का लाभ
नए कानून के तहत अब ग्रेच्‍युटी पाने के लिए 5 साल का इंतजार नहीं करना होगा, बल्कि 1 साल की सर्विस पर ही ग्रेच्‍युटी दिया जाएगा. यह ग्रेच्‍युटी फिक्स्ड-टर्म कर्मचारी (FTE) और कॉन्‍ट्रैक्‍ट वर्कर्स को भी मिलेगा. इन कर्मचारियों को स्‍थायी कर्मचारियों के बराबर ही सभी फायदे जैसे छुट्टी, चिकित्सा और सामाजिक सुरक्षा भी दी जाएंगी. 

3. सोशल सिक्‍योरिटी
नए कानून के तहत एक और बड़ा बदलाव- सभी संगठित क्षेत्र के कर्मचारियों को नियुक्ति पत्र देने का किया गया है. इसके अलावा गिग वर्कर्स, प्‍लेटफॉर्म वर्कर्स ओर एग्रीगेटर्स को इन कानूनों के तहत पहली बार डिफाइन किया गया है. इन्‍हें भी आधार-लिंक्ड यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (UAN) से वेलफेयर बेनिफिट्स दिया जाएगा, जिसमें पीएफ से लेकर पेंशन तक का लाभ शामिल होगा. 

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4. फ्री में हेल्‍थ चेकअप
40 साल से ज्‍यादा उम्र के कर्मचारियों को सालाना फ्री हेल्‍थ चेकअप दिया जाएगा. केंद्र सरकार मजदूरों की बेहतर सुरक्षा के लिए राष्‍ट्रीय मानदंड बनाएगी. 

5. महिलाएं सभी जगह काम कर सकेंगी
महिलाएं सभी जगहों पर काम कर सकती हैं, जिसमें अंडरग्राउंड माइनिंग, भारी मशीनरी और खतरनाक काम शामिल हैं, जिससे सभी के लिए रोजगार के समान अवसर सुनिश्चित होंगे. हर साइट पर ऑन-साइट सेफ्टी मॉनिटरिंग के लिए जरूरी सेफ्टी कमेटी और खतरनाक रसायनों की सुरक्षित हैंडलिंग पक्का करना.

6. रोजगार मिलने की संभावना बढ़ेगी
फिक्स्ड-टर्म एम्प्लॉई (एफटीई) से रोजगार मिलने की संभावना बढ़ेगी और सामाजिक सुरक्षा, स्थायी कर्मचारी के बराबर फायदे जैसे कानूनी सुरक्षा पक्की होगी. कॉन्‍ट्रैक्‍ट पर काम करने वाले कर्मचारियों को समाजिक और स्‍वास्‍थ्‍य सुरक्षा मिलेगी. 

7. सभी को समान वेतन 
महिला-पुरूष भेदभाव कानूनी तौर पर नकार दिया गया है. महिला हो या पुरुष समान काम के लिए समान वेतन मिलेगा. महिलाओं को नाइट शिफ्ट में भी काम करने का अधिकार होगा. 

8. मिनिमम सैलरी की गारंटी
सभी कामगारों के लिए मिनिमम सैलरी की गारंटी होगी. सभी तरह के कर्मचारियों को ऑफर लेटर देना होगा, जिससे सामाजिक सुरक्षा, रोजगार विवरण और औपचारिक रोजगार को बढ़ावा मिलेगा. छुट्टी के दौरान मजदूरी देना अनिवार्य  किया गया है. मजदूरों को केंद्र सरकार की ओर से तय की गई फ्लोर वेज के हिसाब से वेतन दिया जाएगा. 

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9. सभी को बराबर सैलरी 
सभी प्रवासी कामगारों (डायरेक्ट, कॉन्ट्रैक्टर-बेस्ड और खुद माइग्रेटेड) को बराबर वेतन, वेलफेयर बेनिफिट और पीडीएस पोर्टेबिलिटी का लाभ दिया जाएगा. कामगार 3 साल तक लंबित बकाय के निपटारे के लिए दावा कर सकते हैं. 

10. पीएफ, पेंशन और बीमा का लाभ
सभी डॉक वर्कर्स के लिए प्रोविडेंट फंड, पेंशन और बीमा के लाभ तय कर दिया गया है, चाहे कॉन्‍ट्रैक्‍ट वर्कर हैं या अस्‍थायी कर्मचारी. 

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