पश्चिम बंगाल की राजनीति में एक नया विवाद खड़ा हो गया है. आसनसोल की जामुड़िया विधानसभा सीट से तृणमूल कांग्रेस (TMC) के विधायक हरेराम सिंह पर आरोप लगे हैं कि उनके पास अलग-अलग EPIC नंबर वाले दो वोटर आईडी कार्ड हैं. एक पश्चिम बंगाल से और दूसरा उत्तर प्रदेश से.
यूपी और बंगाल दोनों जगह वोटर!
रिपोर्ट्स के अनुसार, पश्चिम बर्दवान जिले की जामुड़िया सीट का प्रतिनिधित्व करने वाले हरेराम सिंह का नाम दो अलग-अलग जगहों की मतदाता सूची में दर्ज है. पहला कार्ड (पश्चिम बंगाल) आसनसोल के पांडवेश्वर निर्वाचन क्षेत्र के बहुला में उनका निवास स्थान दर्ज है. दूसरा कार्ड (उत्तर प्रदेश). कथित तौर पर उनका नाम उत्तर प्रदेश के बलिया जिले के सलेमपुर विधानसभा क्षेत्र में दर्ज है.
यह मामला तब सामने आया जब केंद्रीय मंत्री डॉ. सुकांता मजूमदार ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'X' पर इस मुद्दे को उठाया. उन्होंने चुनाव आयोग (EC) से इस मामले की जांच करने और उचित कार्रवाई करने की मांग की है.
बीजेपी ने उठाए सवाल, TMC विधायक ने किया किनारा
इस गंभीर आरोप पर बीजेपी की विधायक अग्निमित्रा पॉल ने तीखी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने कहा कि एक जनप्रतिनिधि के पास दो EPIC कार्ड होना चौंकाने वाला है. पॉल ने कहा, "मैंने सुना है कि हरेराम सिंह जी के पास दो वोटर कार्ड हैं. एक आसनसोल में और दूसरा उत्तर प्रदेश में. एक लोक प्रतिनिधि के पास दो वोटर आईडी क्यों होने चाहिए? मैं इस मुद्दे को यूपी सरकार के सामने उठाऊंगी, ताकि पता चल सके कि क्या उन्होंने वहां मतदान भी किया है."
अग्निमित्रा पॉल ने यह भी आरोप लगाया कि यह विवाद केवल हरेराम सिंह तक सीमित नहीं है, बल्कि यह टीएमसी में मौजूद अनैतिकता को दर्शाता है. उन्होंने दावा किया कि टीएमसी 2011 से फर्जी, मृत और अवैध मतदाताओं के आधार पर चुनाव जीतती रही है.
चुनाव आयोग की संभावित कार्रवाई
इस मामले पर फिलहाल टीएमसी विधायक हरेराम सिंह ने कोई विस्तृत टिप्पणी नहीं की है. उन्होंने संक्षेप में कहा कि अगर चुनाव आयोग यह मुद्दा उठाता है, तो वे इसकी जांच करेंगे.
चुनाव आयोग की ओर से अभी तक कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है. हालांकि, सूत्रों ने बताया कि विधायक का नाम दो सक्रिय मतदाता सूचियों में है या नहीं, इसकी शुरुआती पुष्टि की जा सकती है. यदि यह पुष्टि हो जाती है, तो इस मामले के कानूनी और राजनीतिक निहितार्थ काफी बड़े हो सकते हैं.