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विदेश जाकर 5-6 साल काम करो, जिंदगी बदल जाएगी... भारतीय ब्लॉगर का पोस्ट वायरल

सारिका यादव नाम की महिला ने इंस्टाग्राम पर भारत और अमेरिका के वेतन की हकीकत को लेकर एक पोस्ट किया है. जिसमें उन्होंने आर्थिक तंगी से जूझे रहे भारतीयों को कम से कम पांच से छह साल के लिए विदेश जाने पर विचार करने के लिए प्रोत्साहित किया है.

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भारतीय ब्लॉगर सारिका यादव ने भारतीय युवाओं को 5-6 साल विदेश जाकर काम जरूर करना चाहिए. ( (Photo: Instagram/ sarika_in_america)
भारतीय ब्लॉगर सारिका यादव ने भारतीय युवाओं को 5-6 साल विदेश जाकर काम जरूर करना चाहिए. ( (Photo: Instagram/ sarika_in_america)

अमेरिका में रहने वाली भारतीय ब्लॉगर सारिका यादव ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट डाली, जिसमें उन्होंने भारत और अमेरिका की कमाई और खर्चों का फर्क बताया. सारिका ने कहा कि अगर भारत में आपकी कमाई ठीक नहीं है, तो कम से कम 5-6 साल विदेश जाकर मेहनत करनी चाहिए. वहां कमाई ज्यादा होती है और आप पैसे बचाकर अपनी और परिवार की जिंदगी बदल सकते हैं.

उन्होंने अपनी पोस्ट में कहा कि कड़ी मेहनत करो, समर्पित रहो, पैसा कमाओ और उसे बचाओ. ऐसा करके आप अपनी और अपने परिवार की जिंदगी पूरी तरह से बदल सकते हैं. उन्होंने आगे बताया कि कई लोग अक्सर महंगे लाइफ स्टाइल या कंपटीशन का हवाला देकर विदेश जाने के विचार को टाल देते हैं. लेकिन ये बताएं कि कंपटीशन कहां नहीं है?"

भारत और अमेरिका में वेतन का फर्क
भारतीय ब्लॉगर सारिका यादव ने बताया कि भारत में अगर कोई 25 लाख रुपये सालाना कमाता है, तो टैक्स के बाद उसके पास लगभग 18 लाख रुपये बचते हैं. अमेरिका में अगर कोई 1 लाख डॉलर सालाना कमाता है, तो टैक्स के बाद उसके पास करीब 70,000 डॉलर रह जाते हैं. इंस्टाग्राम पर इस क्लिप को दो लाख से ज़्यादा बार देखा जा चुका है और इस पर मिली-जुली प्रतिक्रियाएं आ रही हैं. एक यूजर ने लिखा, "उनकी बात तो सही है, लेकिन हर कोई इतनी आसानी से विदेश नहीं जा सकता. 

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दोनों देशों में वेतन और खर्चों का बताया अंतर
ब्लॉगर ने दोनों देशों में वेतन और खर्चों के बीच असमानता को उजागर किया. उन्होंने बताया कि भारत में 25 लाख रुपये अमेरिका में 1 लाख डॉलर के बराबर हैं. सच कहूं तो, मैं इससे सहमत नहीं हूं. क्योंकि अगर भारत में कोई व्यक्ति 25 लाख रुपये सालाना कमाता है और एक मिड-साइज कार खरीदना चाहता है, तो उसकी कीमत कम से कम 15 से 18 लाख रुपये होगी. यानी लगभग पूरी साल की कमाई सिर्फ कार पर ही खर्च हो जाती है.

उन्होंने कहा, भारत में एक मध्यम आकार की कार की कीमत लगभग 30,000 डॉलर होती है, जो वेतन का केवल एक-तिहाई है. इसलिए कार खरीदने के बाद भी आपकी आय का एक बड़ा हिस्सा बच जाता है. इसकी तुलना में, भारत में, ऐसा लगता है कि हम कार की कीमत के लगभग बराबर ही टैक्स चुकाते हैं.

सोशल मीडिया पर रील वायरल
सारिका के पोस्ट पर कुछ लोग सहमत हुए और बोले कि विदेश में बचत आसान है. कुछ ने कहा कि विदेश जाना हर किसी के लिए आसान नहीं. कुछ ने ये भी लिखा कि भारत में 25 लाख कमाने वाले पहले से ही ऊंचे स्तर पर होते हैं, इसलिए सीधी तुलना सही नहीं. वहीं,  कुछ ने कहा कि विदेश में स्वास्थ्य और घर का खर्चा भी बहुत ज्यादा होता है. हालांकि, कुछ लोग इस बात से सहमत नहीं थे.  एक व्यक्ति ने टिप्पणी की, "अगर आप भारत में 25 लाख कमाते हैं, तो आप पहले से ही शीर्ष स्तर पर हैं, इसलिए इस तरह तुलना करना अनुचित है. एक अन्य ने कहा, "टैक्स के बारे में वह सही कह रही हैं, लेकिन विदेश में स्वास्थ्य सेवा और आवास, वेतन का अधिकांश हिस्सा खा जाते हैं.

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