औली उत्तराखंड (Auli, Uttarakhand) राज्य के चमोली जिले में स्थित एक प्रसिद्ध हिल स्टेशन और स्कीइंग डेस्टिनेशन है. समुद्र तल से लगभग 2,800 से 3,000 मीटर की ऊंचाई पर बसा औली हिमालय की बर्फ से ढकी चोटियों, हरे-भरे घास के मैदानों और शांत वातावरण के लिए जाना जाता है. यहां से नंदा देवी, त्रिशूल, कामेट और हाथी पर्वत जैसी ऊंची हिमालयी चोटियों के मनमोहक दृश्य दिखाई देते हैं, जो पर्यटकों को मंत्रमुग्ध कर देते हैं.
औली को भारत की स्कीइंग राजधानी भी कहा जाता है. सर्दियों के मौसम में, खासकर दिसंबर से फरवरी के बीच, यहां भारी बर्फबारी होती है और देश-विदेश से स्कीइंग प्रेमी यहां आते हैं. उत्तराखंड पर्यटन विभाग और भारतीय स्कीइंग महासंघ द्वारा यहां समय-समय पर राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्कीइंग प्रतियोगिताएं भी आयोजित की जाती हैं. औली में स्कीइंग के साथ-साथ स्नोबोर्डिंग और रोपवे राइड का भी विशेष आकर्षण है.
औली का रोपवे एशिया के सबसे लंबे और ऊंचे केबल कार सिस्टम में से एक माना जाता है, जो जोशीमठ से औली तक लगभग 4 किलोमीटर की दूरी तय करता है. इस रोपवे से यात्रा करते हुए हिमालय की घाटियों और घने जंगलों का अद्भुत नजारा देखने को मिलता है. गर्मियों के मौसम में औली हरे-भरे बुग्यालों में बदल जाता है, जहां ट्रैकिंग और प्रकृति भ्रमण के शौकीन पर्यटक बड़ी संख्या में पहुंचते हैं.
औली न केवल प्राकृतिक सौंदर्य के लिए, बल्कि धार्मिक और सांस्कृतिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण है. इसके पास स्थित बद्रीनाथ धाम, विष्णुप्रयाग और जोशीमठ जैसे तीर्थ स्थल इसकी महत्ता को और बढ़ाते हैं. शांत वातावरण, स्वच्छ हवा और हिमालयी सुंदरता के कारण औली प्रकृति प्रेमियों और रोमांच चाहने वालों के लिए एक आदर्श पर्यटन स्थल है.
उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश के ज्यादातर इलाकों में इस बार बर्फबारी में काफी कमी देखने को मिली है. नए साल पर भी यहां खास बर्फबारी की उम्मीद नहीं है. केदारनाथ में अब तक एक भी बार बर्फ नहीं गिरी है. आइए जानते हैं नए साल में कहां ज्यादा बर्फबारी हो सकती है?