Vinayak Chaturthi 2025: आज 28 जुलाई 2025 को पूरे देश में विनायक चतुर्थी मनाई जा रही है. ये त्योहार भगवान श्री गणेश को समर्पित होता है. श्री गणेश को विघ्नहर्ता (अर्थात् बाधाओं को दूर करने वाले), बुद्धि और विवेक के देवता और सभी शुभ कार्यों की शुरुआत के आराध्य माना जाता है. इस दिन भगवान गणेश की विशेष पूजा करने से जीवन में आने वाली परेशानियाँ दूर होती हैं, और मन को शांति व स्थिरता मिलती है.
आज के दिन भक्त उपवास रखते हैं. आज गणेश मंत्रों का जाप करने और भगवान गणेश को मोदक, दूर्वा और लाल फूल चढ़ाने से मनोकामनाएँ पूरी होती हैं और मानसिक शांति, समृद्धि और शुभता मिलती है. हालांकि, विनायक चतुर्थी के दिन चंद्रमा का दर्शन करना वर्जित होता है. चलिए आपको बताते हैं कि आप किस मुहूर्त में गणपति बप्पा की आराधना कर सकते हैं.
सावन विनायक चतुर्थी व्रत 2025 तिथि (Vinayak Chaturthi 2025 Tithi)
वैदिक पंचांग के अनुसार, सावन शुक्ल चतुर्थी तिथि की शुरुआत 27 जुलाई को रात 10:41 मिनट से होगी. वहीं, यह तिथि 28 जुलाई सोमवार को रात 11:24 मिनट पर समाप्त होगी. ऐसे में सावन विनायक चतुर्थी का व्रत 28 जुलाई को रखा जाएगा.
सावन विनायक चतुर्थी पर विशेष संयोग (Vinayak Chaturthi 2025 Sanyog)
इस बार विनायक चतुर्थी पर सावन का तीसरे सोमवार संयोग बना है. आज भगवान शिव, माता पार्वती के साथ श्री गणेश की पूजा की जाएगी. ऐसे में आज के दिन आप पूरे शिव परिवार का आशीर्वाद प्राप्त कर सकते हैं.
सावन विनायक चतुर्थी पूजा मुहूर्त (Vinayak Chaturthi 2025 Pujan Muhurat)
सावन विनायक चतुर्थी पर पूजा मुहूर्त 28 जुलाई को सुबह 11:06 मिनट से दोपहर 1:49 मिनट तक रहेगा. यानी आज विनायक चतुर्थी पूजा के लिए आपको 2 घंटे 43 मिनट का शुभ समय मिलेगा. सावन विनायक चतुर्थी पर रवि योग बना रहा है, जो कि 28 जुलाई को सुबह में 5:40 मिनट से लेकर शाम को 5:35 मिनट तक रहेगा. आप रवि योग में भी शिव परिवार की आराधना कर सकते हैं.
विनायक चतुर्थी पर भद्रा का साया (Vinayak Chaturthi 2025 Bhadra Timing)
आज विनायक चतुर्थी के दिन भद्रा का साया भी रहेगा, भद्रा सुबह 10:57 मिनट से रात 11:24 मिनट तक रहेगी. ऐसे में भद्रा के समय में शुभ कार्य नहीं होंगे, लेकिन गणेश जी की पूजा की जा सकती है.
चंद्र दर्शन करना वर्जित
आज के दिन चंद्रोदय 28 जुलाई को सुबह 8:55 मिनट पर होगा. वहीं चंद्रास्त रात 9:34 मिनट पर होगा. विनायक चतुर्थी के दिन चंद्रमा के दर्शन करना वर्जित होता है. इसलिए इस दौरान चंद्रमा को देखने से बचें.
विनायक चतुर्थी महत्व (Vinayak Chaturthi Significance)
यह चतुर्थी उन लोगों के लिए बहुत खास है जो अपने जीवन में किसी काम की शुरुआत कर रहे हों या फिर किसी परेशानी से बाहर निकलना चाहते हो. भक्त आज के दिन उपवास रखते हैं, गणेश जी के मंत्रों का जाप करते हैं, और उन्हें मोदक, दूर्वा घास और लाल फूल चढ़ाकर पूजा करते हैं. जो लोग हर महीने यह व्रत करते हैं, माना जाता है कि उनके जीवन से नकारात्मकता, आर्थिक तंगी, और मानसिक तनाव धीरे-धीरे दूर होने लगते हैं.
यह दिन खासतौर पर छात्रों के लिए ,व्यवसायियों के लिए ,और जो लोग नई शुरुआत कर रहे हों, उनके लिए बहुत शुभ माना जाता है. इस दिन की पवित्र ऊर्जा से जीवन में सौभाग्य, शांति, और आध्यात्मिक तरक्की आती है.