राजस्थान में चित्तौड़गढ़ के मंगलवाड़ इलाके में युवक ने जहर पीकर सुसाइड की कोशिश की. जानकारी के मुताबिक युवक घर में अकेला था तभी मौका पाकर उसने जहर पी लिया. कुछ देर में जब उसका छोटा भाई घर आया तो बिष्णु तड़प रहा था भाई की हालत बिगड़ती देख उसे चित्तौड़गढ़ हॉस्पिटल लेकर गया. डॉक्टर ने हालत गंभीर होने पर उदयपुर के एमबी अस्पताल के लिए रेफर कर दिया. घटना चित्तौड़गढ़ के मंगलवाड़ थाना क्षेत्र में बुधवार रात करीब 8 बजे की है.
विष्णु ने बताया कि उसके पिता मुकेश मेनारिया स्विट्जरलैंड में एक एनआरआई बिजनेसमैन के यहां 7 साल से कुक का कार्य कर रहे थे. बिजनेसमैन ने पिता को इंडिया नहीं आने दिया और बंदी बनाकर रखा. सरकार की मदद से बड़ी मुश्किलों से पिता को नवंबर 2024 में वापस इंडिया लाए थे. 3 महीने बाद वहां की सरकार ने बुला लिया. इसके बाद हमने बिजनेसमैन पर किडनैपिंग का केस लगाया था. इस केस में अब पिता स्विटजरलैंड सरकार की कस्टडी में है और बिजनेसमैन के खिलाफ केस लड़ रहे है. बिष्णु ने बताया कि इसका बदला लेने के लिए बिजनेसमैन उस पर एक के बाद एक झूठे मुकदमे करवा रहा है.
जहर पीने से पहले विष्णु ने एक सुसाइड नोट भी लिखा. जिसमें उसने लिखा कि लगता है जिंदगी में कुछ नहीं बचा है. जिंदा लाश की तरह बना दिया है. झूठे केसों से बदनामी हो रही है. मैं सिर्फ 22 साल का हूं लेकिन लगता है , जिंदगी खत्म हो गई. आए दिन पुलिस का घर आना. हर दूसरे दिन दिल्ली में पेशी के लिए जाना. अब बर्दाश्त नहीं होता. मैंने कोई गुनाह नहीं किया. मेरे पापा को बिजनेसमैन ने लंबे समय तक बंदी बनाकर रखा था. मैंने इंटरपोल की मदद से उन्हें बचाया. पापा को छोड़ने के डेढ़ करोड़ रुपए के दो चेक मांगे गए. हमने 75-75 लाख के दो चेक दिए.
फिर चेक बाउंस हुए तो हम पर केस कर दिया. एक रेप केस, प्रॉपर्टी में धोखाधड़ी सहित अन्य झूठे केस लगाए गए. आए दिन धमकियां आती रहती है. ऐसे में और नहीं जी सकता. मुझे माफ करना. ये दुनिया छोड़कर जा रहा हूं.