हाथरस की जिस जमीन पर 19 साल की लड़की की आवाज दबा दी गई- वो राजनीति के लिए काफी उपजाऊ हो गई है. अलग अलग नेता राजनीतिक फसल काटने के लिए इसी ज़मीन की तरफ देख रहे हैं लेकिन पुलिस सब को रोक रही है. पीड़ित लड़की के गांव में एंट्री पर पाबंदी है. मीडिया के जाने पर भी रोक लगाई गई है. पीड़ित पक्ष के वकील को भी पुलिसवालों ने रोक दिया. ये पाबंदियां क्या किसी डर से है? क्या हाथरस पर पर्दा डालकर जिम्मेदारी से बचने के अहसास में सिस्टम हदें लांघ रहा है? देखें खबरदार.