
यूपी सरकार गुंडे, माफिया और अवैध निर्माण के खिलाफ तेजी से कार्रवाई कर रही है. यूपी सरकार की ओर से प्रदेश स्तर पर की जा रही इन कार्रवाइयों की जद में अब आए हैं विपक्षी समाजवादी पार्टी के विधान परिषद सदस्य (एमएलसी) कमलेश पाठक. औरैया जिला प्रशासन ने सपा एमएलसी कमलेश पाठक के सदर कोतवाली क्षेत्र के बनारसीदास इलाके में स्थित इंटर कॉलेज पर बुलडोजर चलवा दिया.
बनारसीदास इलाके में स्थित सपा एमएलसी कमलेश पाठक के जनक दुलारी इंटर कॉलेज की बिल्डिंग बुलडोजर से जमींदोज करा जिला प्रशासन ने कब्जा मुक्त करा लिया. प्रशासन के मुताबिक जनक दुलारी इंटर कॉलेज का निर्माण नवींपरती और बंजर भूमि पर कब्जा कर कराया गया था. इंटर कॉलेज का भवन ध्वस्त किए जाते समय अपर जिलाधिकारी एस रेखा चौहान के साथ ही उप जिलाधिकारी (एसडीएम) सदर भी मौजूद थे.
कमलेश पाठक के परिजनों ने राजनीतिक द्वेष से इंटर कॉलेज पर बुलडोजर चलाए जाने का आरोप लगाया. एमएलसी पाठक के पुत्र तिलकराज पाठक ने कहा कि यह स्कूल उनकी दादी के नाम पर साल 1994 में स्थापित किया गया था. इसका शिलान्यास प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव ने किया था. उन्होंने कहा कि इस स्कूल की जमीन को लेकर कोई विवाद नहीं था. यह कार्रवाई राजनीतिक द्वेष के कारण की गई है.
एमएलसी पाठक के पुत्र तिलकराज पाठक ने आरोप लगाया कि प्रशासन ने इसके लिए रविवार का दिन इसलिए चुना, जिससे हन बंदी के कारण न्यायालय की शरण न ले सकें. प्रशासन की इस कार्रवाई के बाद परिवार के लोग दहशत में हैं. दूसरी तरफ, पाठक के परिवार के आरोप पर प्रशासन के अधिकारी केवल कोर्ट के आदेश की बात करते रहे. हर अधिकारी बोलने से बचता नजर आया.

प्रशासनिक अधिकारियों का कहना है कि इंटर कॉलेज का भवन जमींदोज करने की कार्रवाई सही तरीके से की गई है. यह बिल्डिंग गैरकानूनी थी. इसके मालिकाना हक को लेकर भी विवाद था. हालांकि, प्रशासन का कोई भी जिम्मेदार अधिकारी मीडिया के कैमरे के सामने कुछ बोलने को तैयार नहीं हुआ. बता दें कि सपा एमएलसी कमलेश पाठक अपने भाई के साथ वकील मंजुल चौबे और उनकी बहन सुधा की हत्या के मामले में जेल में बंद है.