कलाई की चोट के कारण पिछले साल करीब आधे सत्र तक टेनिस कोर्ट से बाहर रही सानिया मिर्जा का यह दर्द अमेरिकी ओपन से कुछ दिन पहले फिर से बढ़ गया है, लेकिन इस शीर्ष भारतीय स्टार को उम्मीद है कि वर्ष के अंतिम ग्रैंडस्लैम में यह उनके लिये परेशानी का कारण नहीं बनेगा.
सानिया को पूरा भरोसा है कि वह अमेरिकी ओपन के एकल और युगल स्पर्धा में खेलेगी, लेकिन हो सकता है कि वह मिश्रित युगल में भाग नहीं ले. इस पर हालांकि अंतिम फैसला टूर्नामेंट के दौरान ही किया जायेगा. यह दर्द उस समय उभरा है, जब सानिया के पास इस वर्ष ग्रैंड स्लैम की एकल स्पर्धा में खराब प्रदर्शन की निराशा को दूर करने का मौका था. अपने बचपन के दोस्त सोहराब मिर्जा से सगाई के बाद सानिया ने जुलाई में लेक्जिंगटन आईटीएफ चैलेंजर टूर्नामेंट में जीत से हार्डकोर्ट सत्र की तैयारियां शुरू कर दी थी.
सानिया अपनी शानदार फॉर्म के बूते अगले टूर्नामेंट वैंकुवर में फाइनल में पहुंचने में सफल रही, लेकिन उनकी कलाई ने दोबारा उन्हें परेशान करना शुरू कर दिया. उनके पिता और कोच इमरान मिर्जा ने कहा, ‘‘वैंकुवर में सेमीफाइनल मैच में सानिया को दर्द महसूस हुआ था. हर मैच के बाद यह और तेज होता गया. हमने सोचा था कि उसे अमेरिकी ओपन से पहले आराम और उपचार की जरूरत है. इमरान ने कहा, ‘‘वह अब पहले से बेहतर है, लेकिन दर्द पूरी तरह से खत्म नहीं हुआ है. वह हार्ड कोर्ट पर जैसा प्रदर्शन कर रही है, उसे पूरा भरोसा है कि कलाई उसके लिये समस्या नहीं बनेगी.’’ इस हैदराबादी खिलाड़ी ने इटली की फ्रांसेस्का शियावोन के साथ जोड़ी बनाकर सिनसिनाटी ओपन की युगल स्पर्धा में भाग लिया था. इससे पहले उन्होंने टोरंटो में एकल स्पर्धा में दो मैच खेले थे. हालांकि इस दर्द ने उन्हें इसके बाद के टूर्नामेंट में भाग लेने से रोक दिया और वह उपचार तथा आराम के लिये भारत लौट आयी.
इस वर्ष ग्रैंडस्लैम के एकल में सानिया का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन ऑस्ट्रेलियाई ओपन और विम्बलडन के दूसरे राउंड में पहुंचना रहा. वह फ्रैंच ओपन के पहले राउंड के आगे नहीं बढ़ सकी. सानिया ने युगल स्पर्धा में हालांकि कुछ सफलता हासिल की और वह हमवतन महेश भूपति के साथ ऑस्ट्रेलियाई ओपन में मिश्रित युगल में जीत दर्ज कर देश की पहली महिला खिलाड़ी बनी. सानिया अमेरिकी ओपन में अपने अभियान की शुरुआत विश्व की 64वें नंबर की खिलाड़ी बेलारूस की ओल्गा गोवोत्र्सोवा के खिलाफ करेगी. विश्व की 71वें नंबर पर काबिज सानिया और बेलारूस की खिलाड़ी के बीच जीत का रिकार्ड 1-1 है. अगर सानिया पहली बाधा पार कर लेती है तो वह दूसरे राउंड में 10वीं वरीय इटली की फ्लाविया पेनेटा से भिड़ सकती है.