पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम के देहांत को अभी एक हफ्ता ही बीता है कि उनके नजदीकी और पुराने साथियों में उनकी आधिकारिक सोशल मीडिया अकाउंट्स संभालने को लेकर खींचातानी शुरू हो गई है.
कलाम के दफ्तर से बयान जारी
टाइम्स ऑफ इंडिया की खबर के मुताबिक, दिल्ली में कलाम के कार्यालय की तरफ से एक बयान जारी किया गया कि पूर्व राष्ट्रपति के साथ जुड़े हुए सृजन पाल सिंह को मीडिया और सोशल
नेटवर्क पर कलाम के नाम पर बयान नहीं देना चाहिए.
सृजन से खुश नहीं हैं कलाम के पुराने साथी
बयान में कहा गया कि सृजन पाल सिंह को डॉ. कलाम के नाम और उनकी याद में चल रहे सभी फेसबुक और ट्विटर अकाउंट डिएक्टिवेट करने की सलाह पहले ही दी चुकी है. सूत्रों के
मुताबिक, कलाम से आधिकारिक तौर पर जुड़े लोग सिंह से खुश नहीं है. सिंह कलाम के साथ दो किताबों में सह-लेखक थे. सिंह ने 27 जुलाई को कलाम के देहांत के बादा 'Last Eight
Hours with Kalam' शीर्षक से एक पोस्ट लिखी थी, जो सोशल मीडिया पर वायरल हो गई थी.
दो दशक तक कलाम के साइंटिफिक एडवाइजर रहे वी पोनराज ने कहा, 'एक छात्र के तौर पर कार्यालय कलाम के साथ के अनुभव बांटने के लिए सिंह के खिलाफ नहीं है. उन्हें ऐसा करने का पूरा हक है. लेकिन उन्हें सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर कलाम के ऑफिशियल पेज से चीजें शेयर करने का हक नहीं है.'