प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी G-20 समिट में हिस्सा लेने के लिए जापान के ओसाका पहुंच गए हैं. G-20 समिट के लिए रवाना होने से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मैं अन्य वैश्विक नेताओं के साथ हमारी दुनिया के सामने मौजूद प्रमुख चुनौतियों और अवसरों पर चर्चा करने के लिए उत्सुक हूं. महिला सशक्तीकरण, डिजिटलाइजेशन और जलवायु परिवर्तन जैसी प्रमुख वैश्विक चुनौतियों का समाधान हमारी इस बैठक का मुख्य मुद्दा होगा.
Prime Minister Narendra Modi arrives in Osaka, Japan. He will be attending the G20 summit here. pic.twitter.com/cdQgVarBz5
— ANI (@ANI) June 26, 2019
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि ओसाका शिखर सम्मेलन 2022 में जी-20 शिखर सम्मेलन में शामिल होना भारत के लिए एक महत्वपूर्ण कदम होगा. इस अवसर पर, मैं द्विपक्षीय और वैश्विक महत्व के मुद्दों पर अपने प्रमुख साझेदार देशों के नेताओं के साथ अहम मुद्दों पर चर्चा की आशा करता हूं.
PM @narendramodi emplanes for Osaka, Japan to attend the G-20 Summit. pic.twitter.com/l6eIyB0KFh
— PIB India (@PIB_India) June 26, 2019
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी-20 समिट में 10 द्विपक्षीय बैठकें करेंगे. इनमें पीएम मोदी की फ्रांस, जापान, इंडोनेशिया, अमेरिका और तुर्की के साथ वार्ता होगी. वहीं इसके अलावा BRICS (ब्राजील, रूस, भारत, चीन, दक्षिण अफ्रीका) और RIC (रूस, भारत और चीन) में शामिल देशों की वार्ता भी इस सम्मेलन में होगी.
इस दौरान रूस, भारत और चीन के बीच भी आपसी बैठक 28 जून को हो सकती है. इस बार जी-20 सम्मेलन की मेजबानी जापान कर रहा है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस सम्मेलन के दौरान जी-20 के सदस्य देशों के राष्ट्राध्यक्षों से भी मुलाकात कर सकते हैं.
अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया, ब्राजील, कनाडा, चीन, यूरोपीय संघ, फ्रांस, जर्मनी, भारत, इंडोनेशिया, इटली, जापान, मैक्सिको, रूस, सऊदी अरब, दक्षिण अफ्रीका, दक्षिण कोरिया, तुर्की, ब्रिटेन और अमेरिका जी-20 के सदस्य हैं.
पिछले साल अर्जेंटीना के ब्यूनस आयर्स में जी20 शिखर सम्मेलन से इतर भी भारत का दबदबा था. यहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जय (J A I- जापान, अमेरिका, इंडिया) का नारा दिया था. उनके मुताबिक जय का मतलब है सफलता. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यह मंत्र अर्जेंटीना के ब्यूनस आयर्स में दिया था. मौका था जापान-अमेरिका और भारत की पहली बार हुई त्रिपक्षीय मुलाकात का.