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घोटाला किया बंगाल में, गिरफ्तार हुआ कश्‍मीर से

शारदा ग्रुप द्वारा संचालित चिट फंड के प्रमोटर सुदीप्तो सेन को उसके दो सहयोगियों के साथ मंगलवार को जम्मू एवं कश्मीर के सोनमर्ग से गिरफ्तार कर लिया गया.

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शारदा ग्रुप द्वारा संचालित चिट फंड के प्रमोटर सुदीप्तो सेन को उसके दो सहयोगियों के साथ मंगलवार को जम्मू एवं कश्मीर के सोनमर्ग से गिरफ्तार कर लिया गया. जम्मू एवं कश्मीर पुलिस के एक अधिकारी ने कहा, ‘पश्चिम बंगाल पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के आधार पर मंगलवार को गंदरबल जिले में सोनमर्ग टूरिस्ट रिजॉर्ट से तीन लोगों को गिरफ्तार किया गया है.’

अधिकारी ने कहा, ‘गिरफ्तार किए गए तीनों लोगों को गंदरबल जिला मुख्यालय लाया गया, जहां पश्चिम बंगाल पुलिस से मंगलवार को आए एक अधिकारी ने उनकी पहचान पश्चिम बंगाल चिट फंड घोटाले के मुख्य आरोपी और दो सहयोगियों के रूप में की.’ अन्य दो की पहचान देबजानी मुखोपाध्याय और अरविंद सिंह चौहान के रूप में की गई.

पुलिस सूत्रों ने बताया कि पश्चिम बंगाल पुलिस के घोटाले की जांच कर रहे अधिकारियों का एक बड़ा दल गिरफ्तार आरोपियों को अपनी हिरासत में लेने के लिए बुधवार को यहां पहुंच रहा है.
चिट फंड घोटाले की जांच करेगी उच्चस्तरीय समिति
चिट फंड घोटाले की जांच के लिए पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा गठित उच्चस्तरीय समिति जल्द ही कार्य शुरू करेगी. यह बात मंगलवार को यहां एक वरिष्ठ मंत्री ने कही. राज्य मंत्रिमंडल ने कोलकाता उच्च न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधीश श्यामल सेन की अध्यक्षता में समिति गठित करने के फैसले को मंजूरी दी.

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समिति शारदा ग्रुप द्वारा संचालित चिट फंड में वित्तीय अनियमितता की जांच करेगी. चिट फंड घोटाले से छोटे शहरों और गांवों के लाखों निवेशक प्रभावित हुए हैं, जिन्होंने कड़ी मेहनत से कमाए पैसे कम्पनी में लगाए थे.

उद्योग मंत्री पार्था चटर्जी ने कहा, ‘समिति मुख्यत: शारदा ग्रुप और उसके जैसी अन्य कम्पनियों की गतिविधियों की जांच करेगी.’

मंत्री ने कहा, ‘इस बारे में अधिसूचना जल्द जारी किया जाएगा.’ मंत्री ने अपील की है कि जिन्हें भी समूह या अन्य कम्पनियों के विरोध में शिकायतें करनी है, वे समिति के पास पहुंचें. उन्होंने कहा, ‘समिति इस बारे में समाचार पत्रों में विज्ञापन भी प्रकाशित करेगी.’

समिति में चार और सदस्य होंगे, जिनमें से एक आईपीएस अधिकारी होगा. अन्य सदस्य कम्पनी जगत और नागरिक संगठन होंगे, जबकि एक अर्थशास्त्री होगा. समिति की घोषणा मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को की थी.

तृणमूल कांग्रेस सरकार पर शारदा ग्रुप से नजदीकी रखने का आरोप लग रहा है. तृणमूल कांग्रेस के एक राज्यसभा सदस्य कम्पनी में पहले मीडिया इकाई के प्रमुख थे. कुछ अन्य नेताओं की भी कम्पनी से नजदीकी रखने की बात कही जा रही है.

पैसे की वापसी नहीं होने पर हिंसक विरोध पैदा होने के बाद राज्य भर में पिछले कुछ सप्ताहों से कम्पनी के कार्यालयों का दरवाजा बंद पड़ा है. कई कार्यालयों को लूट लिया गया है और उनके एजेंटों की पिटाई की गई है. कम से कम तीन एजेंटों और निवेशकों ने कथित तौर पर आत्महत्या कर ली है.

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एजेंटों और वितरकों ने बनर्जी के दक्षिण कोलकाता आवास के बाहर, पार्टी के राज्य मुख्यालय और पार्टी के कुछ नेताओं तथा मंत्रियों के घर के बाहर प्रदर्शन किया है.

शेयर बाजार नियामक सेबी और केंद्रीय कम्पनी मामलों के मंत्रालय के गंभीर धोखाधड़ी जांच कार्यालय द्वारा चिटफंड के खिलाफ कानून तोड़ने के कारण कार्रवाई शुरू करने के बाद समूह की वित्तीय स्थिति दबाव में आ गई.

समूह में संकट जनवरी से ही चल रहा था, जिसके कारण उसे हाल ही में 2010 से शुरू किए गए या खरीदे गए 10 से अधिक समाचारपत्रों और टेलीविजन चैनलों को बंद करना पड़ा. इसके कारण 1,000 से अधिक पत्रकार और गैर पत्रकार बेरोजगार हो चुके हैं.

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