वनस्पति घी व तेल के उत्पादन में पूर्वांचल की सबसे बड़ी कंपनी झुनझुनवाला आयल मिल में शनिवार दोपहर लगी भीषण आग मध्यरात्रि तक नहीं बुझायी जा सकी थी. आसपास पास के जिलों से मंगायी गयी फायर ब्रिगेड की दर्जनों गाड़ियां आग बुझाने का प्रयास कर रही थीं. आग की विकरालता थोड़ी कम जरूर हुई थी लेकिन लपटें लगातार देखी जा सकती थीं.
अग्निशमन विभाग के अधिकारी सुभाष सिंह ने बताया कि तात्कालिक तौर पर आग से हुई क्षति का वास्तविक अंदाजा लगा पाना कठिन है. फिलहाल इससे करोड़ों की क्षति होने की संभावना है. झुनझुनवाला के तीन पुत्रों में से सबसे छोटे और कंपनी के अधिष्ठाता विश्वनाथ झुनझुनवाला भी आग से हुई क्षति के बारे में कुछ बताने की स्थिति में नहीं थे.
सारनाथ थाना क्षेत्र में आशापुर चौराहे के निकट स्थित मिल में दोपहर को आग लग गयी थी. रिफाइनरी प्लांट में चल रहे वेल्डिंग कार्य के दौरान छिटकी चिंगारियों से आग धान की भूसी की तरफ फैली और देखते ही देखते उसने भयावह रूप ले लिया. फायर ब्रिगेड की गाड़ियों के आने तक रिफाइनरी प्लांट, कैटल फीड प्लांट और गोदाम तक आग फैल चुकी थी. इस दौरान मिल परिसर में कुछ अंतराल पर धमाके के साथ पांच ऑयल टैंक फट गये. प्लांट से सौ मीटर दूर सड़क तक हजारों लीटर ब्रान आयल बह रहा था.
इससे मिल में ही सामने की ओर स्थित साल्वेंट प्लांट आग की चपेट में नहीं आया अन्यथा स्थिति और भी भयावह हो सकती थी. आग के चलते कई घंटे तक आवागमन भी लगभग ठप हो गया था, जो मध्यरात्रि के आसपास खोला गया. हालांकि सड़क पर फैले आयल के चलते दर्जनों वाहन सवार फिसलकर चोट खा बैठे.