पंजाब के अमृतसर में गुरुवार को थाने पर बंदूक-तलवार से हमला कर दिया गया था. इस घटना के बाद 'वारिस पंजाब दे' के प्रमुख अमृतपाल सिंह ने विवादित टिप्पणी की है. उसने कहा कि अजनाला की घटना हिंसक नहीं थी, असली हिंसा अभी दिखनी बाकी है. उसने पंजाब पुलिस से अजनाला मामले में कार्रवाई रोकने की बात कही है.
पंजाब के अमृतसर में गुरुवार को थाने पर बंदूक-तलवार से हमला कर दिया गया था. इस घटना के बाद 'वारिस पंजाब दे' के प्रमुख अमृतपाल सिंह ने विवादित टिप्पणी की है. उसने कहा कि अजनाला की घटना हिंसक नहीं थी, असली हिंसा अभी दिखनी बाकी है. उसने पंजाब पुलिस से अजनाला मामले में कार्रवाई रोकने की बात कही है.
शांति और सांप्रदायिक सौहार्द्र बिगाड़ने पर उतारू खालिस्तान का समर्थन करने वाला संगठन 'वारिस पंजाब दे' के मुखिया अमृतपाल सिंह ने जहर उगलते हुए खून खराबे की धमकी दी है, जिसे देश की सुरक्षा के लिए एक खतरा कहा जा सकता है. अमृतपाल ने अजनाला की घटना को हिंसक नहीं बताते हुए कहा कि असली हिंसा अभी बाकी है.
अजनाला में मीडिया से की बात, बोला- असली हिंसा बाकी
अमृतपाल सिंह ने अजनाला में मीडिया से बात करते हुए कहा कि आप नारे लगाने और झंडे फहराने (खालिस्तानी) को हिंसा के रूप में देख रहे हैं, आपने अब तक असली हिंसा नहीं देखी है. जब आप वह देखेंगे तो उसे क्या कहेंगे. अमृतपाल ने कहा कि दबे हुए लोग हिंसा चुनते हैं.
अमृतपाल ने कहा कि लोग कहते हैं कि हिंसा बहुत बुरी है, लेकिन हिंसा बहुत 'पवित्र' है. गुरु गोबिंद सिंह ने कहा है कि जब आपके पास कोई विकल्प नहीं है तो तलवार पकड़ना सही है. खालिस्तान समर्थक अमृतपाल ने संकेत दिया कि पंजाबी संस्कृति के कथित दमन और संसाधनों के दोहन का अंतिम परिणाम केवल हिंसा होगी.
भारत के खिलाफ उगला जहर, बोला- राष्ट्रवाद की डोर बहुत पतली
भारतीय पासपोर्ट और भारतीय नागरिक अमृतपाल के भड़काऊ बयानों से साफ है कि वह देश के दुश्मन और आईएसआई की कठपुतली की तरह व्यवहार कर रहा है. उसने कहा कि भारत की संस्कृति क्या है. भारत का पहनावा क्या है और भारतीय भोजन क्या है. कोई भारतीय भोजन नहीं है. यह कहना कि हम भारतीय हैं, फर्जी है. हमें क्यों कहना चाहिए कि हम भारतीय हैं. राष्ट्रवाद की डोर बहुत पतली होती है, यह कभी भी टूट सकती है.
पंजाब के डीजीपी के बयान से नाराज है अमृतपाल
अजनाला कांड में शामिल लोगों को बख्शे नहीं जाने के पंजाब के डीजीपी गौरव यादव के बयान को लेकर अमृतपाल नाराज है. इस बयान ने उसे झकझोर कर रख दिया है. इसी को लेकर अमृतपाल ने पुलिस को उन प्रदर्शनकारियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं करने की चेतावनी दी है, जिन्होंने अजनाला थाने पर धावा बोल दिया था. जिसमें छह पुलिसकर्मी घायल हो गए थे.

अमृतपाल ने कहा कि प्रशासन को कोई कार्रवाई करने से पहले अजनाला थाने पहुंचने वाले लोगों की ताकत का ध्यान रखना चाहिए. अमृतपाल ने एक बार फिर दावा किया है कि खालिस्तान आंदोलन को विफल करने के किसी भी कदम का कोई परिणाम नहीं निकलेगा. उसने कहा कि न तो केंद्र और न ही पंजाब सरकार हमें रोक सकती है.
उसने कहा कि हम राजनीतिक खेल नहीं खेलना चाहते हैं. कोई भी इसे रोक नहीं सकता है. सिकंदर इसे रोक नहीं सका, मुगल और अंग्रेज इसे कुचल नहीं सके. हिंदुस्तान भी इसे दबा नहीं सकता. पंजाब एक दिन आजाद होगा. अमृतपाल ने कहा कि खालिस्तान की विचारधारा और खालिस्तान शासन का सपना कभी नहीं मरेगा.
16 फरवरी को अमृतपाल व अन्य पर दर्ज किया गया था केस
अजनाला पुलिस ने 16 फरवरी को अमृतपाल के खिलाफ दंगा और अपहरण का केस दर्ज किया था. अब इस मामले का आरोपी अमृतपाल भ्रामक बयान जारी कर रहा है. पिछले हफ्ते अमृतपाल ने दावा किया था कि जांच एजेंसियों ने उससे पूछताछ की थी. शुक्रवार को एजेंसियों से चर्चा करने के लिए कहा गया था.
आप के प्रवक्ता बोले- नापाक मंसूबों वाली ताकतों से निपटा जाएगा
अजनाला कांड और अमृतपाल द्वारा दिए जा रहे भड़काऊ बयानों पर 'आप' के मुख्य प्रवक्ता मालविंदर सिंह कंग ने कहा है कि ऐसी ताकतों से सख्ती से निपटा जाएगा. उन्होंने एक ट्वीट में कहा कि पंजाब में शांति बनाए रखने के लिए मुख्यमंत्री भगवंत मान के दृढ़ संकल्प के बारे में कोई संदेह नहीं होना चाहिए. हम नापाक मंसूबों वाली ताकतों से अवगत हैं, जो पंजाब को काले दिनों में वापस भेजने की योजना बना रहे हैं. विभाजनकारी शक्तियों से सख्ती से निपटा जाएगा.